भारत सरकार के नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने मंगलवार को इंडिगो के खिलाफ एक बड़ा एक्शन लिया। नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने इंडिगो द्वारा ऑपरेट की जाने वाली कुल फ्लाइट्स में से 10 प्रतिशत फ्लाइट्स कम करने का आदेश दिया है। सरकार के इस आदेश के बाद इंडिगो अब पहले से तय की गई सभी फ्लाइट्स ऑपरेट नहीं कर पाएगा। देश की सबसे बड़ी एयरलाइन कंपनी ने पिछले 7-8 दिनों में पायलट और क्रू रोस्टर की खराब प्लानिंग की वजह से 2000 से भी ज्यादा फ्लाइट्स कैंसिल की थीं। नागरिक उड्डयन मंत्रालय का ये आदेश ऐसे समय में आया है जब एविएशन रेगुलेटर DGCA ने मंगलवार को एयरलाइन कंपनी से अपने ऑपरेशन्स में 5% की कटौती करने के लिए कहा था।
केंद्रीय मंत्री राम मोहन नायडू ने दी कार्रवाई की जानकारी
केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री किंजरापु राम मोहन नायडू ने मंगलवार को कहा, "मंत्रालय इंडिगो के सभी रूट्स को कम करना जरूरी समझती है, जिससे एयरलाइन के ऑपरेशन्स को स्टेबल करने में मदद मिलेगी और कैंसिलेशन कम होंगे। 10% की कटौती का ऑर्डर दिया गया है। इसका पालन करते हुए, इंडिगो पहले की तरह अपने सभी डेस्टिनेशन्स को कवर करती रहेगी। इंडिगो को सरकार के सभी निर्देशों का पालन करने का निर्देश दिया गया है, जिसमें बिना किसी छूट के किराये की लिमिट और पैसेंजर की सुविधा के उपाय शामिल हैं।"
इंडिगो ने किया ऑपरेशन में स्थिरता का दावा
DGCA ने सर्दियों के मौसम के लिए हर हफ्ते इंडिगो की 15,014 फ्लाइट्स को मंज़ूरी दी थी। ये वो समय होता है जब भारत में ट्रैवल डिमांड बढ़ जाती है। लेकिन, एयरलाइन कंपनी ने नवंबर में पूरे महीने के लिए मंजूर की गई 64,346 फ्लाइट्स में से 951 फ्लाइट्स को कैंसिल कर दिया था। इंडिगो ने मंगलवार को दावा किया कि एयरलाइन फिर से पटरी पर आ गई है और ऑपरेशन स्थिर हैं, इसके साथ ही वो ग्राहकों की सभी जरूरतों को पूरा कर रही है। कंपनी ने कहा कि सोमवार तक एयरलाइन अपने नेटवर्क में सभी 138 डेस्टिनेशन पर दोबारा फ्लाइट्स ऑपरेट कर रही थी और इंडिगो का ऑन-टाइम परफॉर्मेंस भी नॉर्मल हो गया था।



































