पीएम मोदी ने कहा कि भारत सेमीकंडक्टर मैन्युफैक्चरिंग प्लांट लगा रहा है और जल्द ही 'मेड इन इंडिया' चिप्स दुनिया भर में उपलब्ध होंगी।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी महाराष्ट्र के वाशिम जिले में एक समारोह में ₹20,000 करोड़ रुपये से अधिक की राशि डीबीटी (प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण) के जरिये ट्रांसफर करेंगे। कार्यक्रम में देश भर के लगभग 2.5 करोड़ किसान वेबकास्ट के माध्यम से इस कार्यक्रम में शामिल होंगे।
बिडकिन में पहले ही कई बड़े निवेशकों ने रुचि दिखाई है। इनमें एथर एनर्जी (100 एकड़), लुब्रीज़ोल (120 एकड़), टोयोटा-किर्लोस्कर (850 एकड़ के लिए एमओयू) और जेएसडब्ल्यू ग्रीन मोबिलिटी (500 एकड़) जैसी उल्लेखनीय कंपनियां इस क्षेत्र में निवेश के लिए प्रतिबद्ध हैं।”
मेक इन इंडिया भारत सरकार की एक पहल है जिसका उद्देश्य भारत में उत्पादों के विकास, निर्माण और असेम्बलिंग के लिए कंपनियों को प्रोत्साहित करना और विनिर्माण में समर्पित निवेश को प्रोत्साहित करना है।
सुंदर पिचाई ने कहा कि मीटिंग काफी सफल और अच्छी रही। प्रधानमंत्री भारत को डिजिटल इंडिया विजन के साथ पूरी तरह बदलने पर फोकस्ड हैं। पिचाई ने कहा कि पीएम मोदी लगातार मेक इन इंडिया, डिजाइन इन इंडिया पर जोर दे रहे हैं।
मीटिंग में गूगल के सीईओ पिचई, एडोब के सीईओ शांतनु नारायण, एक्सेंचर के सीईओ जूली स्वीट और NVIDIA के सीईओ जेन्सेन हुआंग सहित शीर्ष अमेरिकी टेक फर्मों के सीईओ शामिल हुए।
सुभद्रा योजना लाने के लिए विधानसभा और संसद के चुनावों से पहले भाजपा ने वादा किया था। इस योजना ने ओडिशा में 24 साल के बीजद शासन को समाप्त कर दिया और राज्य की 21 लोकसभा सीटों में से 20 पर भाजपा को जीत दिलाई।
भारत की सबसे बड़ी नवीकरणीय ऊर्जा कंपनी अदाणी ग्रीन एनर्जी ने 2030 तक 50 गीगावाट आरई क्षमता (वर्तमान में 11.2 गीगावाट परिचालन क्षमता) की प्रतिबद्धता जताई है।
पीएम मोदी ने कहा कि भारत की विविधता, पैमाने, क्षमता, संभावना और प्रदर्शन, सभी अद्वितीय हैं। केंद्रीय मंत्री प्रल्हाद जोशी ने प्रधानमंत्री के नेतृत्व की सराहना की, जिसने भारत को अक्षय ऊर्जा में वैश्विक नेता बनने में मदद की है।
भारत के सकल घरेलू उत्पाद (GDP) में बड़े बंदरगाहों को महत्वपूर्ण योगदान देते हैं। इसके पूरा होने पर, इससे देश में 12 लाख नौकरियां और लगभग 1 करोड़ अप्रत्यक्ष रोजगार के अवसर पैदा होने की उम्मीद है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत सबसे अधिक हवाई संपर्क वाले देशों में से एक बन जाएगा, और इसे वैश्विक विमानन केंद्र बनाने के प्रयास भी जारी हैं। भारत में 15 प्रतिशत पायलट महिलाएं हैं, जबकि वैश्विक औसत 5 प्रतिशत है।
दूसरे चरण की मेट्रो के लिए कुल परियोजना लागत 5,384 करोड़ रुपये है, जिसमें एएफडी (फ्रांस) और केएफडब्ल्यू (जर्मनी) जैसे अंतरराष्ट्रीय वित्तीय संस्थानों से ऋण के माध्यम से वित्त पोषण सुरक्षित है।
सेमीकंडक्टर इंडस्ट्री में ग्लोबल कोलैबोरेशन की दिशा में काम करने ग्लोबल एसोसिएशन 'सेमी' के प्रेसीडेंट व सीईओ अजीत मनोचा ने कहा कि यह अकल्पनीय होने के साथ अद्भुत है। सेमीकॉन कई देशों में आयोजित हो चुके हैं। मगर, भारत में यह पहला संस्करण है और अन्य देशों की तुलना में यह चार से पांच गुना ज्यादा बड़ा आयोजन है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि आज का भारत दुनिया में विश्वास जगाता है। जब मुश्किलें आती हैं, तो आप भारत पर दांव लगा सकते हैं। सेमीकंडक्टर विनिर्माण में 1.5 लाख करोड़ रुपये से अधिक का निवेश पहले ही किया जा चुका है और कई परियोजनाएं पाइपलाइन में हैं।
प्रधानमंत्री मोदी ने सेमीकंडक्टर क्षेत्र के प्रतिनिधियों को आश्वास्त किया कि सरकार एक अनुकूल और स्थिर नीतिगत व्यवस्था का पालन करेगी। उन्होंने कहा कि ‘मेक इन इंडिया’ और ‘मेक फॉर द वर्ल्ड’ पर ध्यान केंद्रित करते हुए सरकार हर कदम पर उद्योग को समर्थन देना जारी रखेगी।
पीएम मोदी ने ग्लोबल फिनटेक फेस्ट में कहा कि साइबर धोखाधड़ी रोकने तथा लोगों की डिजिटल समझ बढ़ाने के लिए और कदम उठाये जाने चाहिए। उन्होंने कहा कि भारत में वित्तीय प्रौद्योगिकी क्षेत्र द्वारा लाया गया बदलाव केवल प्रौद्योगिकी तक ही सीमित नहीं है, बल्कि इसका सामाजिक प्रभाव दूरगामी है।
साल 1991 के आर्थिक सुधारों को शुरू करने वाले संकट के साथ स्पष्ट तुलना करते हुए पीएम मोदी कहा, ‘‘हमारे सुधार किसी मजबूरी के कारण नहीं हैं। सुधार भारत और इसकी अर्थव्यवस्था को मजबूत बनाने के लिए हैं।"
प्रधानमंत्री ने लाल किले से अपने 11वें स्वतंत्रता दिवस संबोधन में यह भी कहा कि भारतीय पेशेवरों को उभरते वैश्विक गेमिंग उद्योग का नेतृत्व करना चाहिए। उन्होंने कहा कि सरकार का ध्यान कृषि से लेकर स्वच्छता तक हर क्षेत्र में व्यापक कौशल विकास पर है।
Financial Freedom: फाइनेंशियल फ्रीडम पाने के लिए सबसे पहले अपना लक्ष्य निर्धारित करें। आपको अपने जीवन लक्ष्यों और सामान्य लक्ष्यों को तय करना होगा और यह भी निर्धारित करना होगा कि आपको कितने पैसे की जरूरत है। फिर इसके अनुसार बचत और निवेश की प्लानिंग करनी होगी।
डेलॉइट के 'भारत आर्थिक आउटलुक' के अगस्त महीने के अपडेट में कहा गया है कि केंद्रीय बजट 2024-25 में कृषि उत्पादकता में सुधार, युवाओं के लिए रोजगार पैदा करने और विनिर्माण क्षेत्र में कई पहलों से उपभोक्ता खर्च को बढ़ाने में मदद मिलेगी।
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