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पत्नी का सिर काटकर ले गया था थाने, बांदा की अदालत ने सुनाई मौत की सजा

बांदा जिले की एक अदालत ने पत्नी की हत्या करने और उसका सिर काटकर थाने ले जाने वाले शख्स को मौत की सजा सुनाई है। बता दें कि चार साल पहले फरसे से हमला करके शख्स ने अपनी पत्नी विमला की हत्या कर दी थी।

Edited By: Avinash Rai @RaisahabUp61
Published : Aug 01, 2024 6:30 IST, Updated : Aug 01, 2024 6:30 IST
Banda court death sentenced to whom who beheaded his wife and taken her to the police station- India TV Hindi
Image Source : FILE PHOTO प्रतीकात्मक तस्वीर

बांदा जिले की एक अदालत ने अपनी पत्नी की हत्या करने के जुर्म में एक व्यक्ति को बुधवार को मौत की सजा सुनाई। दोषी अपनी पत्नी का सिर काटकर थाने ले गया था। लोक अभियोजक विजय बहादुर सिंह परिहार ने बताया कि अभियोजन और बचाव पक्ष की दलीलें सुनने के बाद जिला एवं सत्र अदालत के न्यायाधीश डॉ बब्बू सारंग ने करीब चार साल पहले फरसे से हमलाकर अपनी पत्नी विमला की हत्या करने के मामले में दोषी पाए जाने पर पति किन्नर यादव (39) को मौत की सजा सुनाई और उस पर 10 हजार रुपये जुर्माना लगाया है। 

पत्नी का कटा हुआ सर लेकर पहुंचा था थाने

उन्होंने बताया कि घटना की प्राथमिकी मृत महिला के पिता रामशरण यादव ने दर्ज करवाई थी। प्राथमिकी में आरोप लगाया गया था कि बबेरू कस्बे के नेता नगर मोहल्ले में रहने वाले किन्नर यादव को शक था कि उसकी पत्नी का पड़ोस में रहने वाले व्यक्ति से अवैध संबंध है और उसने नौ अक्टूबर 2020 को पड़ोसी को घर बुलाया और फिर फरसे से हमलाकर उसका एक कान काट दिया। इसमें कहा गया था कि जब उसे बचाने के लिए विमला आई तो यादव ने उस पर भी हमला कर दिया और उसका सिर धड़ से अलग कर दिया। उन्होंने बताया कि यादव उसका कटा हुआ सिर बबेरू थाने ले गया था। परिहार ने बताया कि इस मामले में अभियोजन पक्ष की ओर से 11 गवाह अदालत में पेश किए गए। 

दुष्कर्म के दोषी की उम्रकैद

बता दें कि इससे पहले इलाहाबाद हाईकोर्ट ने तीन साल की बच्ची से दुष्कर्म और हत्या के दोषी को मौत की सजा को 30 साल की उम्रकैद में बदल दिया। कोर्ट ने कहा कि उसका ना पहले से कोई आपराधिक रिकॉर्ड था और न ही वह पहले से दोषी था। उसके सुधार की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता है। इसलिए फांसी की सजा कम की जानी चाहिए। बता दें कि फतेहपुर की जिला एवं सत्र अदालत ने उसे दोषी करार देते हुए मौत की सजा सुनाई थी, जिसे बदलकर अब उम्रकैद कर दिया गया है। बता दें कि घटना उत्तर प्रदेश के फतेहपुर की थी।

(इनपुट-भाषा)

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