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घर खरीदारों ने भरा राज्यों का सरकारी खजाना, दो लाख करोड़ रुपये की हुई बंपर कमाई

रिपोर्ट कहती है कि भारतीय रियल एस्टेट क्षेत्र का आकार वर्ष 2047 तक 12 गुना से ज्यादा होकर 5,800 अरब डॉलर होने का अनुमान है, जो पिछले साल 477 अरब डॉलर था।

Edited By: Alok Kumar @alocksone
Published : Sep 09, 2023 11:07 IST, Updated : Sep 09, 2023 11:07 IST
Real estate - India TV Paisa
Photo:FILE रियल एस्टेट

कोरोना महामारी के बाद भारतीय रियल एस्टेट सेक्टर में शानदार तेजी बनी हुई है। कोरोना ने हर किसी को घर की अहमियत समझया है। इसके चलते घरों की मांग बनी हुई है। इससे न सिर्फ रियल एस्टेट को फायदा मिला है बल्कि राज्य और केंद्र सरकारों की भी बंपर  राजस्व मिला है। इससे सरकारी खजाना भरने में मदद मिली है। आपको जानकार आश्चर्य होगा कि वित्त वर्ष 2022-23 के दौरान राज्यों एवं केंद्रशासित प्रदेशों के राजस्व में सबसे ज्यादा योगदान करने वाले क्षेत्रों में से एक रियल एस्टेट रहा है। घर की बिक्री बढ़ने से राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को स्टाम्प शुल्क समेत विभिन्न तरीकों से लगभग दो लाख करोड़ रुपये की कमाई हुई। नारेडको नाइट-फ्रैंक इंडिया की रिपोर्ट से यह जानकारी मिली है। 

राजस्व में योगदान देने वाला अहम सेक्टर 

रिपोर्ट के अनुसार, रियल एस्टेट की हिस्सेदारी पिछले वित्त वर्ष में देश के सभी राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों द्वारा अर्जित कुल राजस्व का 5.4 प्रतिशत है। वित्त वर्ष 2022-23 में भारत के सभी राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों द्वारा स्टांप शुल्क, पंजीकरण शुल्क और भूमि राजस्व से लगभग दो लाख करोड़ रुपये जुटाए गए थे। रियल एस्टेट क्षेत्र के निकाय नारेडको और संपत्ति सलाहकार नाइट फ्रैंक इंडिया ने हाल ही में एक रिपोर्ट ‘इंडिया रियल एस्टेट: विजन 2047’ जारी की है। 

रियल एस्टेट क्षेत्र का आकार 12 गुना बढ़ेगा

रिपोर्ट कहती है कि भारतीय रियल एस्टेट क्षेत्र का आकार वर्ष 2047 तक 12 गुना से ज्यादा होकर 5,800 अरब डॉलर होने का अनुमान है, जो पिछले साल 477 अरब डॉलर था। यह क्षेत्र 2047 में देश के कुल आर्थिक उत्पादन में 15 प्रतिशत से अधिक का योगदान देगा, जो अभी 7.3 प्रतिशत है। भारत 2047 में अपनी आजादी का शताब्दी वर्ष मनाएगा। उस समय भारतीय अर्थव्यवस्था का आकार 33-40 लाख करोड़ डॉलर हो जाने का अनुमान है। रिपोर्ट के अनुसार, आवासीय रियल एस्टेट बाजार का आकार 2047 में बढ़कर 3,500 अरब डॉलर होने का अनुमान है, जो पिछले साल 299 अरब डॉलर था। वहीं, कार्यालय रियल एस्टेट का बाजार 40 अरब डॉलर से बढ़कर 473 अरब डॉलर होने की संभावना है। 

5 ट्रिलियन की इकोनॉमी में रियल एस्टेट की होगी अहम भूमिका

रियल एस्टेट कंपनी अंतरिक्ष इंडिया ग्रुप के सीएमडी राकेश यादव ने इंडिया टीवी को बताया कि भारत को 5 ट्रिलियन डॉलर की इकोनॉमी बनाने के लक्ष्य हासिल करने में रियल एस्टेट सेक्टर की अहम भूमिका होगी। ऐसा इ​सलिए कि भारत के रियल एस्टेट क्षेत्र ने निजी इक्विटी से बड़ा निवेश आकर्षित कर रहा है। इसके अलावा, रियल इन्वेस्टमेंट ट्रस्ट (आरईआईटी) में विदेशी निवेशक बड़ा निवेश कर रहे हैं। यह भारतीय अर्थव्यवस्था को तेजी से बड़ा बनाने में मदद कर रहा है। रेरा आने से रियल एस्टेट सेक्टर में पारदर्शिता बढ़ी है। वहीं, रियल एस्टेट क्षेत्र भारत के दो सबसे बड़े रोजगार प्रदाता में से एक है। यानी भारत को विश्व की तीसरी अर्थव्यवस्था बनाने में रियल एस्टेट का अहम योगदान होने जा रहा है। इस बात को सरकार भी समझ रही है। इसलिए इंफ्रास्ट्रक्चर समेत कई कदम तेजी से उठा रही है। 

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