भ्रष्टाचार अनुभव सूचकांक (Corruption Perceptions Index) में भारत का दुनिया के 180 देशों में 80वां स्थान है। ट्रांसपरेंसी इंटरनेशनल ने यहां विश्व आर्थिक मंच की सालाना बैठक के दौरान इस सूचकांक रपट को जारी किया।
वैश्विक संगठन ने कहा कि आगामी चुनावों से पहले भ्रष्टाचार सूचकांक में भारत की रैंकिंग में मामूली लेकिन उल्लेखनीय सुधार हुआ है।
इंडेक्स में बताया गया है कि 2017 के दौरान कौन सा देश भ्रष्टाचार को लेकर वैश्विक स्तर पर किस स्थान पर रहा। इंडेक्स में यह भी बताया गया है कि देश में 2016 के मुकाबले भ्रष्टाचार बढ़ा है और किसमें घटा है।
वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा कि 3 प्रमुख सुधारों आधार, नोटबंदी और GST से पारदर्शिता बेहतर हुई है और कम नकदी वाली अर्थव्यवस्था की ओर बढ़ने में मदद मिली है।
नोटबंदी की वजह से मकानों की बिक्री बुरी तरह प्रभावित हुई और उनके दाम नीचे आए लेकिन रियल एस्टेट सेक्टर को इसका काफी फायदा भी हुआ है।
अरुण जेटली ने सरकार के नोटबंदी के फैसले को गोपनीय रखने का बचाव करते हुए कहा कि इसकी घोषणा में यदि पारदर्शिता बरती जाती तो यह धोखाधड़ी की बड़ी वजह बनता।
जेटली ने कहा कि हमारी राजनीति में भ्रष्टाचार है तो यह राजनीतिक चंदे की व्यवस्था की वजह से है। चुनावी चंदे की कोई पारदर्शी व्यवस्था नहीं है।
यदि किसी सरकारी बैंक के लॉकर में जमा की गईं आपकी कीमती वस्तुएं चोरी हो जाती हैं तो इसके बदले बैंक से किसी तरह के मुआवजे की उम्मीद न ही करें तो अच्छा है।
केंद्रीय सूचना आयोग (CIC) ने कहा है कि नोटबंदी से जुड़े हर सरकारी विभाग की यह जवाबदेही है कि वह इस बड़े फैसले के पीछे के सभी तथ्यों की जानकारी दे।
सरकार एयरलाइंस द्वारा कुल सीटों से अधिक टिकटों की बुकिंग करने में पारदर्शिता सुनिश्चित करने को कदम उठा रही है।
सरकार ने सभी विभागों और मंत्रालयों से सरकारी ई-मार्केट प्लेस (जीईएम) से वस्तुओं और सेवाओं की ऑनलाइन खरीदारी को अनिवार्य कर दिया है।
एशिया प्रशांत क्षेत्र में रिश्वत के मामले में भारत शीर्ष पर है, जहां दो तिहाई भारतीय सार्वजनिक सेवाएं लेने के लिए किसी न किसी रूप में रिश्वत देते हैं।
भारत ने अमेरिकी वीजा प्रणाली में निश्चितता पर जोर दिया है। सीतारमण ने कहा कि इस मुद्दे पर अमेरिकी सांसदों के प्रतिनिधि मंडल के साथ विस्तार से चर्चा हुई है।
बजट निर्माण में जनता की भागीदारी प्रोत्साहित करने और बेहतर पारदर्शिता के लिए वित्त मंत्रालय ने 2017-18 के आम बजट के लिए आम जनता से सुझाव मांगे हैं।
TRAI ने फिक्स्ड ब्रॉडबैंड ऑपरेटरों को निर्देश दिया है कि फिक्स्ड ब्रॉडबैंड के मामले में स्पीड 512 kbps से कम किसी कीमत पर नहीं होनी चाहिए।
ट्रांसपेरेंसी इंटरनेशनल (टीआई) की रिपोर्ट “करप्शन परसेप्शंस इंडेक्स 2015” में दुनिया की दो-तिहाई देशों को 100 में से 50 अंक से भी कम दिया गया है।
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