Friday, December 13, 2024
Advertisement
  1. Hindi News
  2. पैसा
  3. बिज़नेस
  4. चीन की लाइट को गोबर से जवाब देगा भारत, दिवाली पर बाजार में आएंगे 33 करोड़ गाए के गोबर से बने दिए

चीन की लाइट को गोबर से जवाब देगा भारत, दिवाली पर बाजार में आएंगे 33 करोड़ गाए के गोबर से बने दिए

दीयों के अलावा, आयेग गोबर, गौमूत्र और दूध से बने अन्य उत्पादों जैसे कि एंटी-रेडिएशन चिप, पेपर वेट, गणेश और लक्ष्मी की मूर्तियों, अगरबत्ती, मोमबत्तियों और अन्य चीजों के उत्पादन को बढ़ावा दे रहा है।

Edited by: India TV Paisa Desk
Updated : October 13, 2020 8:23 IST
33 cr cow dung diyas to hit mkt this Diwali to counter Chinese lights - India TV Paisa
Photo:FILE PHOTO

33 cr cow dung diyas to hit mkt this Diwali to counter Chinese lights

नई दिल्ली। चीन को जवाब देने के लिए भारत ने अब अपनी गाय के गोबर का सहारा लिया है। राष्‍ट्रीय कामधेनु आयोग अगले महीने दिवाली के दौरान चीनी उत्पादों का मुकाबला करने के लिए गाय के गोबर से बने 33 करोड़ पर्यावरण अनुकूल दीए  के उत्पादन करने का लक्ष्य तय कर रहा है। आयोग के अध्यक्ष वल्लभभाई कथीरिया ने सोमवार को यह जानकारी दी।

देश में स्वदेशी मवेशियों के संवर्धन और संरक्षण के लिए 2019 में स्थापित किए गए इस आयोग ने आगामी त्‍योहार के दौरान गोबर आधारित उत्पादों के उपयोग को प्रोत्साहित करने के लिए एक देशव्यापी अभियान शुरू किया है। कथीरिया ने यहां एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि चीन निर्मित दीओं को खारिज करने का अभियान प्रधानमंत्री के स्वदेशी संकल्पना और स्वदेशी आंदोलन को बढ़ावा देगा।

उन्होंने कहा कि 15 से अधिक राज्य, इस अभियान का हिस्सा बनने के लिए सहमत हुए हैं। उन्होंने कहा कि लगभग तीन लाख दीए पावन नगरी अयोध्या में जलाए जाएंगे, जबकि उत्तर प्रदेश के वाराणसी में एक लाख दीए जलाए जाएंगे। उन्होंने कहा कि विनिर्माण का काम शुरू हो गया है। हमने दिवाली से पहले 33 करोड़ दीयों को बनाने का लक्ष्य तय किया है। वर्तमान में भारत में प्रतिदिन लगभग 192 करोड़ किलो गोबर का उत्पादन होता है।

उन्होंने कहा कि गोबर आधारित उत्पादों की विशाल संभावनाएं मौजूद हैं। अयोग ने कहा कि हालांकि यह सीधे तौर पर गोबर आधारित उत्पादों के उत्पादन में शामिल नहीं है, लेकिन यह व्यवसाय स्थापित करने को इच्छुक स्वयं सहायता समूहों और उद्यमियों को प्रशिक्षण देने की सुविधा प्रदान कर रहे हैं। दीयों के अलावा, आयेग गोबर, गौमूत्र और दूध से बने अन्य उत्पादों जैसे कि एंटी-रेडिएशन चिप, पेपर वेट, गणेश और लक्ष्मी की मूर्तियों, अगरबत्ती, मोमबत्तियों और अन्य चीजों के उत्पादन को बढ़ावा दे रहा है।

कथीरिया ने कहा कि इस पहल से गाय आश्रयों (गौशालाओं) को मदद मिलेगी, जो वर्तमान में कोविड-19 महामारी के कारण वित्तीय मुसीबत में हैं। ये गौशालाएं ग्रामीण भारत में नौकरी के अवसर पैदा करने के अलावा लोगों को आत्मनिर्भर बनाने में मदद कर सकती हैं। उन्होंने कहा कि पूरे के पूरे रुख में बदलाव करने की जरुरत है तथा गाय आधारित कृषि और गाय आधारित उद्योग के बारे में लोकप्रिय धारणा को तत्काल दुरुस्त किए जाने की जरूरत है ताकि समाज का सामाजिक और आर्थिक कायाकल्प हो विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्र के गरीबों का जीवन बदले। उन्होंने कहा कि किसानों, गौशाला संचालकों, उद्यमियों को इस अभियान का हिस्सा बनने के लिए कई तरह के वेबिनार आयोजित किए जा रहे हैं।

Latest Business News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। Business News in Hindi के लिए क्लिक करें पैसा सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement