Wednesday, December 11, 2024
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नीरज चोपड़ा ही नहीं, किशोर जेना भी मेडल के बड़े दावेदार; एक समय जैवलिन छोड़ने का था मन; पिता की सलाह ने बदला खेल

जैवलिन थ्रो के इवेंट में किशोर जेना पिछले कुछ समय से अच्छा प्रदर्शन कर रहे हैं। उन्होंने एशियन गेम्स 2023 में रजत पदक अपने नाम किया था। अब वह पेरिस ओलंपिक में भी मेडल जीतने के दावेदार हैं।

Written By: Govind Singh @GovindS48617417
Published : Jul 23, 2024 23:57 IST, Updated : Jul 24, 2024 6:28 IST
Neeraj Chopra And Kishore Jena- India TV Hindi
Image Source : GETTY Neeraj Chopra And Kishore Jena

Kishore Jena: पेरिस ओलंपिक 2024 का महाकुंभ अब से कुछ दिन बाद ही शुरू हो रहा है। इस बार भारत की तरफ से कुल 117 खिलाड़ी हिस्सा ले रहे हैं। एथलेटिक्स के जैवलिन थ्रो इवेंट में नीरज चोपड़ा ने टोक्यो ओलंपिक 2020 में गोल्ड मेडल अपने नाम किया था। इसके बाद पेरिस ओलंपिक में भी उनसे पदक की उम्मीद है। नीरज के अलावा किशोर जेना भी पदक जीतने की रेस में शामिल हैं। वह पिछले कुछ समय से शानदार फॉर्म में चल रहे हैं और उनसे पदक की आस बरकरार है। 

शुरुआत में किशोर जेना को पसंद था वॉलीबाल

किशोर जेना का जन्म ओडिशा के पुरी जिले में साल 1995 में हुआ था। जैवलिन थ्रो का खेल उनकी पहली पसंद नहीं था। वह वॉलीबाल में अपना करियर बना चाहते थे। फिर भुवनेश्वर में उनकी मुलाकात ओडिशा स्टेट चैंपियन लक्ष्मण बराल से हुई। लक्ष्मण ने उनकी प्रतिभा को पहचानकर उनका जैवलिन से परिचय करवाया और धीरे-धीरे उनकी जैवलिन में रूचि होती चली गई। फिर उन्होंने कॉलेज स्पर्धाओं में कई पदक जीते। जैवलियन के खेल ने ही उन्हें CISF में नौकरी दिलवाई, जो उस समय उनकी सबसे बड़ी जरूरत थी। वह आर्थिक रूप से परिवार को मदद करना चाहते थे। 

किशोर जेना अच्छा तो कर रहे थे, लेकिन वह 75 मीटर का मार्क क्रॉस नहीं कर पा रहे थे। CISF में थ्रोइंग इवेंट के कोच जगबीर सिंह ने किशोर जेना पर भरोसा दिखाया। तब जगबीर सिंह ने कहा था कि अगर 75 मीटर का बैरियर पार कर लेते हैं, तो वह उन्हें पटियाला के नेशनल कैम्प के लिए उनकी सिफारिश करेंगे। इसके बाद साल 2021 में जेना ने ओडिशा स्टेट चैंपियनशिप में 76 मीटर तक जैवलिन फेंका। 

पिता की सलाह ने बदल दिया खेल

किशोर जेना को अपने करियर में एक समय बड़े थ्रो फेंकने में कठिनाई हो रही थी और वह अच्छा नहीं कर पा रहे थे। सबकुछ करने के बाद भी वह 80 मीटर के पार थ्रो नहीं फेंक पा रहे थे। फिर उन्होंने निराश होकर वर्ल्ड चैंपियनशिप से ठीक पहले खेल को छोड़ने का फैसला किया था। लेकिन उन्हें पिता ने खेल जारी रखने की सलाह दी और इससे उनके करियर में एक नई जान फूंक दी। फिर उन्होंने विश्व चैंपियनशिप में भी अच्छा प्रदर्शन किया और 84.77 मीटर तक भाला फेंका। लेकिन वह पांचवें नंबर पर रहे। यहां पर स्वर्ण नीरज चोपड़ा के खाते में गया। 

पेरिस ओलंपिक 2024 में है मेडल की आस

किशोर जेना का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन आना बाका था। इसके बाद उन्होंने एशियन गेम्स 2023 में सिल्वर मेडल अपने नाम किया। यहां पर उन्होंने अपना सर्वश्रेष्ठ थ्रो फेंका। उन्होंने 87.54 मीटर तक जैवलिन फेंका था। इसी के साथ उन्होंने पेरिस ओलंपिक के लिए भी अपना टिकट कटा लिया। एशियन गेम्स 2023 में जैवलिन थ्रो इवेंट का गोल्ड मेडल भारत के ही नीरज चोपड़ा ने जीता था। अब पेरिस ओलंपिक के लिए किशोर अपने सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन में सुधार करना चाहते है और करोड़ों भारतवासी उन्हें ओलंपिक में मेडल जीतते हुए देखना चाहते हैं। 

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