22 अगस्त को तृणमूल कांग्रेस के उन नेताओं को जवाब जरूर मिल जाएगा जो बार-बार पूछ रहे थे कि अब CBI बताए कि उसने पांच दिन की जांच में क्या किया? क्या पता लगाया? कोलकाता पुलिस की जांच में कौन सी खामियां देखीं?
डॉक्टरों और पब्लिक को लगता है पहले इस केस को ढंकने छुपाने की कोशिश हुई,फिर मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल को बचाने की कोशिश की गई और फिर सबूत मिटाने की कोशिश की गई।
कल रात की घटना के बारे में कमिश्नर साहब कह रहे हैं कि डॉक्टरों को बचाने में पुलिस फोर्स ने जान लगा दी लेकिन जिन डॉक्टरों ने कल रात भीड़ के तांडव को देखा, उन्होंने कहा कि पुलिस तो कहीं थी ही नहीं।
संदीप घोष पर सवाल उठने की एक नहीं, कई वजहें हैं। मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल के तौर पर उन्होंने इस पूरे मामले को दबाने की कोशिश की, हत्या को आत्महत्या का रंग देने की कोशिश की।
पोस्टमॉर्टम करने वाले डॉक्टर का कहना है कि एक से ज्यादा लोग इस अपराध में शामिल थे। इस केस में ये भी लगा कि मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल को बचाने की कोशिश हुई।
बांग्लादेश के आर्मी चीफ ने शेख हसीना को डबल क्रॉस किया। जब उन पर यकीन करके शेख हसीना ने अपनी रैली कैंसिल कर दी, उसके बाद सेना ने जमात-ए-इस्लामी के लोगों को शहर में एंट्री दे दी।
वीडियो को सोशल साइट एक्स पर @ozgeppn नाम के यूजर ने शेयर किया है। यूजर ने वीडियो के कैप्शन में लिखा है - "भारत का स्ट्रीट फूड चखने वाला शख्स बता रहा है कि खाना कितना स्वादिष्ट है, वहीं इसके पीछे का 'राज' भी खुल चुका है।"
कांग्रेस ने 2013 में वक्फ एक्ट में जो बदलाव किए, वक्फ बोर्ड को जो ज्यादा अधिकार दिए, उसका असर ये हुआ कि वक्फ की प्रॉपर्टीज की संख्या 4 लाख 69 हजार से बढ़कर 8.5 लाख से ज्यादा हो गई।
डॉक्टर्स को अंदाजा था कि इससे विनेश का वजन डेढ़ किलो तक बढ़ेगा लेकिन विनेश का वजन दो किलो सात सौ ग्राम तक बढ़ गया। इसी से सारी दिक्कत हो गई।
कम से कम 34 मंदिरों पर हमला किया गया, 4 मंदिरों को जला दिया गया, 39 जिलों में हिन्दुओं के घरों में लूटपाट की गई। कई घरों में आग लगा दी गई। दो हिन्दू काउंसलर्स की हत्या कर दी गई। भारत सरकार ने इस बात पर सबसे ज्यादा चिंता जताई है।
शेख हसीना ने जमात-ए-इस्लामी के खिलाफ एक्शन लिया लेकिन जमात ने छात्र नेताओं को सामने कर दिया। इन सारे छात्र नेताओं के तार कट्टर इस्लामिक संगठन जमात-ए-इस्लामी से जुड़े हैं। इन संगठनों को पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI पैसे देती है।
अगर मोदी ने अपनी सरकार को समर्थन देने वालों को खुश किया तो इसमें बुराई क्या है? क्या कोई अपनी सरकार को समर्थन देने वालों को नाराज करने का प्रयास करेगा?
संसद के मानसून सत्र के पहले दिन पीएम मोदी ने विपक्ष पर करारा तंज कसा, उन्होंने कहा कि, पिछली बार ढाई घंटे तक उनकी आवाज़ को दबाने का प्रयास किया गया, लोकतांत्रिक परम्पराओं में इसका कोई स्थान नहीं को सकता और इन सब को लेकर (विपक्ष के मन में) पश्चाताप तक नहीं है।
पुलिस को ये बताने की जरूरत नहीं होती कि जिस मोबाइल फोन से वीडियो शूट किया गया हो उसे फॉरेन्सिक जांच के लिए जब्त किया जाता है। पुलिस ने ऐसा करने के बजाए वीडियो को CD पर ट्रांसफर लिया और फोन से वीडियो डिलीट कर दिया गया।
सहारनपुर के DIG अजय कुमार साहनी ने कहा कि कई बार दुकानदार दूसरे नामों से अपनी दुकान, ढाबे और होटल चलाते हैं, और बाद में जब असलियत का पता चलता है तो विवाद हो जाता है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के दखल के बाद जैसे ही मुख्य सचिव ने शिक्षक नेताओं से बात की, तो ग्राउंड रियलिटी समझ में आ गई और मसले के हल का रास्ता निकल आया।
सोमवार को जब कई इलाकों में पानी भरा तो महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे सीधे BMC के डिजास्टर कंट्रोल रूम पहुंचे जहां पूरे मुंबई शहर के 7 हजार CCTV कैमरों से शहर के हालात पर नजर रखी जाती है।
लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने अपने भाषण में कह दिया कि हिंदू हिंसा फैलाते हैं, नफरत फैलाते हैं, असत्य फैलाते हैं। उनके इस बयान पर संसद में काफी हंगामा हुआ। अब उनके इस बयान की चहुंओर निंदा हो रही है।
इस बात से कोई फर्क नहीं पड़ता कि जिस जगह हादसा हुआ, उसका उद्घाटन किसकी सरकार के वक्त हुआ था लेकिन हादसे की बजाय इसी बात को मुद्दा बनाया जा रहा है।
राष्ट्रपति ने विस्तार में बताया कि दस साल में सरकार ने कौन-कौन से बड़े काम किए हैं, किस तरह से जनहित की योजनाओं को लागू किया है, नौजवानों, महिलाओं, पिछड़ों, दलितों और आदिवासियों के हितों की रक्षा करने वाले फ़ैसले लिए हैं।
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