India's Moon Mission: इंडियन स्पेस रिसर्च आर्गेनाइजेशन (इसरो) ने एक ऐसी तकनीकि ईजाद की है जिससे कि अब हर अंतरिक्ष यानि की सुरक्षित लैंडिंग की जा सकेगी। इसरो के वैज्ञानिकों ने जुलाई 2019 में मिशन मून-2 की चंद्रमा पर लैंडिंग कराते समय लैंडर के भटक जाने के बाद सबक लेते हुए यह तकनीकि विकसित करने में सफलता पाई है।
NASA James Webb Telescope: फैंटम गैलेक्सी को आधिकारिक तौर पर M74 भी कहा जाता है। इस गैलेक्सी में बेहद खूबसूरत स्पाइरल दिखाई देते हैं। इसका मतलब है कि इसमें स्पाइरल आर्म्स हैं, जिन्हें नई जारी की गई तस्वीरों में घूमते हुए देखा जा सकता है।
Universe Sound: जब हम टेलीस्कोप के साथ यूनिवर्स का पता लगाते हैं, तो हम पाते हैं कि यह सितारों की सुपरनोवा मौतों, ब्लैक होल और न्यूट्रॉन सितारों के विलय सहित प्रलयकारी विस्फोटों से भरा है, जो गुरुत्वाकर्षण तरंगें पैदा करते हैं, और तीव्र विस्फोट करते हैं।
Solar Storm: सौर तूफान को जियोमैग्नेटिक स्टॉर्म और सोलर स्टॉर्म के नाम से भी पुकारा जाता है। यह सूर्य से निकलने वाला रेडिएशन होता है, जो पूरे सौर मंडल को प्रभावित करने की क्षमता रखता है। यह धरती के चुंबकीय क्षेत्र को प्रभावित कर सकता है।
Pink Light in Canada Sky: कनाडा में दक्षिण के कुछ हिस्सों में लोगों को आसमान में इस तरह की रोशनी दिखाई दी है। कनाडा में ये सौर तूफान या कहें, रोशनी वाला तूफान रविवार को देखा गया है। हालांकि ये रोशनी उतनी शानदार नहीं थीं, जितनी उत्तरी ध्रुव पर दिखाई देती है।
James Webb Space Telescope: जेम्स वेब स्पेस टेलीस्कोप को दो दशक की कड़ी मेहनत के बाद 25 दिसंबर, 2021 में लॉन्च किया गया था। इसे बनाने की लागत 10 बिलियन डॉलर थी। आज ये पृथ्वी से 1.6 मिलियन किलोमीटर दूर अंतरिक्ष में है।
Space Debris:अंतरिक्ष की कक्षाओं में छूट जाने वाले रॉकेट के टुकड़ों से अगले दशक में किसी मनुष्य के गंभीर रूप से घायल होने या उसकी मृत्यु होने की छह से 10 प्रतिशत आशंका है।
NASA Mars: जब अंतरिक्ष से मंगल पर एयरक्राफ्ट उतरता है, तो उसकी गति 19,312 किलोमीटर प्रति घंटा होती है। जो मंगल के वातावरण के कारण घर्षण की वजह से अत्यधिक गर्मी उत्पन्न करता है।
अमेरिकी सरकार ने बीते साल बकायदा यूएफओ को लेकर एक रिपोर्ट भी जारी की थी। वहीं इसी साल इसपर एक बैठक हुई, जिसमें अमेरिकी कांग्रेस के सदस्य टिम बुर्चेट शामिल हुए। उन्होंने बैठक से जुड़ी जानकारी छिपाने के लिए इसे मजाक बताया।
पुतिन के साथ अपनी चर्चा में खमेनेई ने रूस के साथ "दीर्घकालिक सहयोग" को मजबूत करने का आग्रह किया था। ईरान की आधिकारिक समाचार एजेंसी आईआरएनए के अनुसार, यह सैटेलाइट विभिन्न प्रकार की तस्वीरें ले सकती है।
ये गैलेक्सी स्पाइरल गैलेक्सी की तुलना में दुर्लभ होती हैं। जेम्स वेब स्पेस टेलीस्कोप की क्षमताओं ने खगोलविदों को नई उम्मीद दिखाई है। उन्हें पता चल पा रहा है कि कैसे गैलेक्सी के भीतर अलग-अलग सितारे और ब्लैक होल बनते हैं।
जेम्स वेब को किसी और काम के लिए बनाया गया था, लेकिन ठीक इसी समय उसने इस तरह की खोज की है। सुपरनोवा की बात करें, तो इन्हें ढूंढना मुश्किल काम है। क्योंकि इनमें विस्फोट कुछ सेकेंड तक ही रहता है।
क्रैश हुआ Long March 5B रॉकेट बीते हफ्ते चीनी अंतरिक्ष स्टेशन को लैबोरेटरी मॉड्यूल की डिलीवरी करने गया था। मलेशिया के सोशल मीडिया यूजर्स ने वीडियो साझा करते हुए बताया है कि चीनी रॉकेट का मलबा अंतरिक्ष से धरती पर आते हुए कैसा दिख रहा था।
ऐसी संभावना बहुत कम ही है कि मलब उस स्थान पर गिरे, जहां लोगों की बड़ी आबादी रहती है। लेकिन विशेषज्ञों को चिंता है कि चीन बेवजह दुनिया के लिए खतरा पैदा कर रहा है। चीन ने पिछले हफ्ते हैनान में वेनचांग लॉन्च साइट से एक रॉकेट को लॉन्च किया था।
अपने वीडियो में टिकटॉक यूजर ने चेतावनी दी है कि नवंबर 2022 में सूर्य धरती की तरफ एक दुर्लभ एनर्जी का विस्फोट करेगा, जो 10 लोगों को सुपरपावर देगी। ये दावा खुद को 'टाइम ट्रैवलर' बताने वाले एक टिकटॉक यूजर ने किया है।
रूस द्वारा पहली बार फरवरी में यूक्रेन पर आक्रमण करने के बाद से आईएसएस से संबंधित घटनाओं की श्रृंखला में वापसी की घोषणा नवीनतम है। रूस के जाने के फैसले का आईएसएस के दैनिक कामकाज पर खास असर नहीं पड़ना चाहिए।
आज तक, सैटेलाइट और रॉकेटों के मलबे से पृथ्वी की सतह (या वायुमंडल में हवाई यातायात) को नुकसान पहुंचने की संभावना को नगण्य माना गया है। ऐसे अंतरिक्ष मलबे के अधिकांश अध्ययनों ने निष्क्रिय सैटेलाइट द्वारा कक्षा में उत्पन्न जोखिम पर ध्यान केंद्रित किया है, जो कार्यशील सैटेलाइट के सुरक्षित संचालन में बाधा डाल सकता है।
बोरिसोव को इस महीने की शुरुआत में सरकार नियंत्रित अंतरिक्ष निगम Roscosmos का चीफ बनाया गया था।
मंगल पर मौजूद घाटी अमेरिका के ग्रैंड कैन्यन से 20 गुना बड़ी है। ग्रैंड कैन्यन की लंबाई 445 किलोमीटर है, जबकि इसकी चौड़ाई 28 किलोमीटर है। यूरोप के अल्प्स की पहाड़ियों पर मौजूद सबसे ऊंचा पहड़ा माउंट ब्लांक समुद्र तल से 15,000 फीट ऊंचा है।
ब्लैक होल अंतरिक्ष के ऐसे क्षेत्र होते हैं, जहां ग्रैविटी इतना तीव्र होती है कि प्रकाश सहित कोई भी चीज इनसे बच नहीं सकती है। ये हर चीज को निगल लेते हैं।
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