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निखिल गुप्ता ने अमेरिकी कोर्ट में खुद को बताया निर्दोष, पन्नू की हत्या की साजिश रचने और सुपारी देने का है आरोप

खालिस्तान समर्थक गुरपतवंत सिंह पन्नू की हत्या की साजिश रचने वाले निखिल गुप्ता को चेक रिपब्लिक से अमेरिका लाया गया है। न्यूयॉर्क की एक कोर्ट में उसके खिलाफ सुनवाई चल रही है। निखिल गुप्ता को 28 जून को होने वाली सुनवाई तक हिरासत में रखने का आदेश दिया गया है।

Edited By: Dhyanendra Chauhan @dhyanendraj
Published : Jun 18, 2024 8:59 IST, Updated : Jun 18, 2024 9:27 IST
खालिस्तान समर्थक गुरुपतवंत सिंह पन्नू- India TV Hindi
Image Source : AP खालिस्तान समर्थक गुरुपतवंत सिंह पन्नू

अमेरिका में खालिस्तान समर्थक गुरपतवंत सिंह पन्नू की हत्या की साजिश रचने के आरोपी निखिल गुप्ता ने कोर्ट में खुद को निर्दोष बताया है। 52 वर्षीय भारतीय नागरिक निखिल गुप्ता को शुक्रवार (14 जून) को चेक रिपब्लिक से अमेरिका लाया गया था। सोमवार को उसे न्यूयार्क की फेडरल कोर्ट में पेश किया गया। जहां उसने मजिस्ट्रेट जज जेम्स कॉट के सामने खुद को निर्दोष बताया।

चरमपंथी पन्नू की हत्या कराने के लिए एडवांस में दिए पैसे

सोमवार को गुप्ता के वकील जेफरी चैब्रोवे ने उसकी ओर से कोर्ट में दोषी नहीं होने की दलील पेश की। कोर्ट के अंदर उस पर आरोप लगा कि गुप्ता ने पन्नु की हत्या के लिए एक सुपारी किलर को काम पर रखा है। गुप्ता ने 15,000 अमेरिकी डॉलर एडवांस में दिए हैं। कोर्ट में गुप्ता ने अपने वकील के माध्यम से इन आरोपों से साफ इनकार किया है। गुप्ता के वकील ने कहा कि ये सब उन पर बेकार के आरोप लगाए गए हैं।

10 साल की हो सकती है अधिकतम सजा

पन्नू की हत्या की साजिश रचने वाले गुप्ता को ब्रुकलिन हिरासत केंद्र में रखा गया है। गुप्ता पर खालिस्तानी समर्थक पन्नू की हत्या के लिए पैसे देने और जान से मारने की साजिश रचने का आरोप है। अगर वह न्यूयार्क की कोर्ट में दोषी पाया जाता है, तो उसे प्रत्येक आरोप के लिए अधिकतम 10 साल की जेल की सजा हो सकती है। कोर्ट में इस मामले में अगली सुनवाई 28 जून को है। सोमवार को कोर्ट में पेशी के दौरान गुप्ता के वकील ने जज को बताया कि उसका मुवक्किल शाकाहारी है। उसे हिरासत केंद्र में शाकाहारी खाना नहीं दिया गया था।

न्याय की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम

वहीं, इस पूरे मामले पर अमेरिकी अटॉर्नी जनरल मेरिक गारलैंड ने एक बयान में कहा कि गुप्ता को न्यूयार्क लाए जाने से यह स्पष्ट हो जाता है कि न्याय विभाग अमेरिकी नागरिकों को चुप कराने या उन्हें नुकसान पहुंचाने के प्रयासों को बर्दाश्त नहीं करेगा। वहीं, उप अटॉर्नी जनरल लिसा मोनाको ने गुप्ता को अमेरिका लाए जाने को न्याय की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बताया है। साथ ही कहा कि वह इस मामले में चेक रिपब्लिक के भागीदारों की सहायता के लिए आभारी भी हैं।

पिछले साल हुआ था गिरफ्तार

बता दें कि भारतीय नागरिक निखिल गुप्ता को पिछले साल चेक रिपब्लिक में अमेरिकी सरकार के अनुरोध पर न्यूयॉर्क में खालिस्तानी समर्थक गुरपतवंत सिंह पन्नू की हत्या की साजिश में शामिल होने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। खालिस्तानी समर्थक गुरपतवंत सिंह पन्नू के पास अमेरिका और कनाडाई की दोहरी नागरिकता है। वह भारत के खिलाफ कई बार जहर उगल चुका है। 

पीटीआई के इनपुट के साथ

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