Tuesday, April 30, 2024
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योगी सरकार ने बच्चों के लिए इंग्लिश रीडिंग प्रोग्राम को किया लॉन्च

योगी आदित्यनाथ की सरकार अंग्रेजी माध्यम वाले सरकारी स्कूलों में बच्चों के लिए एक रीडिंग प्रोग्राम की शुरुआत कर रही हैं, ताकि पढ़ने की क्षमता को बेहतर बनाने में उनकी मदद हो सकें। इस योजना के तहत, 12 जिलों में 820 प्राथमिक विद्यालयों के कम से कम 1.25 लाख बच्चे लाभान्वित होंगे।

IndiaTV Hindi Desk Edited by: IndiaTV Hindi Desk
Published on: August 26, 2020 18:04 IST
Yogi Sarkar launches English reading program for children- India TV Hindi
Image Source : FILE Yogi Sarkar launches English reading program for children

लखनऊ। योगी आदित्यनाथ की सरकार अंग्रेजी माध्यम वाले सरकारी स्कूलों में बच्चों के लिए एक रीडिंग प्रोग्राम की शुरुआत कर रही हैं, ताकि पढ़ने की क्षमता को बेहतर बनाने में उनकी मदद हो सकें। इस योजना के तहत, 12 जिलों में 820 प्राथमिक विद्यालयों के कम से कम 1.25 लाख बच्चे लाभान्वित होंगे। बेसिक शिक्षा राज्य मंत्री सतीश कुमार द्विवेदी बुधवार को वर्चुअली इस कार्यक्रम का उद्घाटन करेंगे।

बच्चों में अंग्रेजी पढ़ने के कौशल में सुधार करने और उन्हें इसके लिए प्रोत्साहित करने के लिए दुनिया भर के विद्यालयों में बड़े पैमाने पर इस्तेमाल किए जाने वाले एक एजुकेशनल टूल, स्कॉलिस्टिक शॉर्ट रीड कार्ड का उपयोग बच्चों में पढ़ने की क्षमता को बेहतर बनाने की दिशा में किया जाएगा। स्कॉलिस्टिक एक अमेरिकी कंपनी है, जो पिछले 50 सालों से बच्चों के लिए किताबों के प्रकाशन में कार्यरत है।

सामान्यत: शहरों के बड़े-बड़े स्कूलों में इस्तेमाल में लाए जाने वाले इस कार्ड में तमाम तस्वीरें, काल्पनिक कहानियां, नॉन-फिक्शन शैलियां रहती हैं, और इसी के साथ टीचर्स के लिए कुछ इंस्ट्रक्शंस भी रहते हैं और इनके अलावा कुछ ऐसी गतिविधियां भी रहती हैं जिनसे पढ़ने की क्षमता को बेहतर बनाया जा सकता है।

बेसिक शिक्षा के निदेशक सरवेंद्र विक्रम सिंह ने कहा, "विद्यालयों में इस्तेमाल किए जाने वाले इस सेट के कुछ कार्डो को विशेषज्ञों का एक पैनल दोबारा परिभाषित करेगा, जिससे कि इनमें प्रान्तीय पहलुओं को जोड़ा जा सके।" बेसिक शिक्षा विभाग के अधिकारियों ने कहा कि सभी 820 स्कूलों के लिए स्कॉलिस्टिक कॉर्ड्स को एचसीएल फाउंडेशन समुदाय प्रोजेक्ट को प्रायोजित कर रहा है। जिन जिलों में इस कार्यक्रम को पेश किया जाएगा, उनमें बुलंदशहर (60 विद्यालय), लखीमपुर खीरी (75), सिद्धार्थ नगर (65), हरदोई (319), सोनभद्र (40), श्रावस्ती (25), चित्रकूट (25), वाराणसी (40), गोरखपुर (95), गौतम बुद्ध नगर (20), लखनऊ (40) और बाराबंकी (16) शामिल हैं।

शिक्षाविदों का मानना है कि ये कार्यक्रम समय की मांग है, खासकर अगर बात एएसईआर की रिपोर्ट की करें, तो इसमें दिखाया गया था कि उत्तर प्रदेश में कक्षा 1 से 3 तक के लगभग एक तिहाई विद्यार्थियों को पढ़ने में काफी दिक्कत रहती है। जानी-मानी शिक्षाविद अमृता दास ने कहा, "रीडिंग से बच्चों में कई और महत्वपूर्ण कौशल जागृत होते हैं। इनमें भाषा की समझ, रचनात्मकता, गंभीर सोच, भावनाओं को अभिव्यक्त करने की ताकत शामिल है, और इन सभी के साथ दिमाग का भी विकास होता जाता है।"

 

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