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ग्लोबल संकेतों के बीच घरेलू शेयर बाजार में आज गिरावट जारी है। शुरुआती दौर में निफ्टी पर ट्रेंट, डॉ. रेड्डीज़ लैब्स, NTPC, ONGC, मैक्स हेल्थकेयर टॉप लूजर के तौर पर उभरे।
रुपये का अवमूल्यन लगातार चुनौती खड़ी कर रहा है, जो हाल ही में पहली बार 90 रुपये प्रति डॉलर के स्तर को पार कर गया है। ओपन सेल, सेमीकंडक्टर चिप्स और मदरबोर्ड का आयात इससे महंगा हो गया है, जिसका असर टीवी की कीमतों पर देखने को मिल सकता है।
वेकफिट इनोवेशंस आईपीओ को खुदरा निवेशकों से सबसे अधिक बोली मिली है। कंपनी इस आईपीओ के तहत ₹377.18 करोड़ का ताजा इश्यू और 4,67,54,405 इक्विटी शेयरों का ऑफर फॉर सेल (ओएफएस) हिस्सा पेश कर रही है, जो ₹912 करोड़ मूल्य का है।
कोविड-19 के कारण मार्च 2020 में आए भारी बाजार संकट के बाद भारतीय शेयर बाजार ने अभूतपूर्व वापसी की। इस अवधि में संपत्ति सृजन की सालाना वृद्धि दर 38% रही, जो सेंसेक्स की 21% CAGR से कहीं अधिक है।
जिस दिन किसी कंपनी के शेयर एक्स-डिविडेंड ट्रेड करते हैं, उस दिन खरीदे गए नए शेयरों पर डिविडेंड का लाभ नहीं मिलता है।
चेयरमैन सी. एस. शेट्टी ने दिसंबर की मॉनेटरी पॉलिसी में आरबीआई द्वारा रेपो रेट में 0.25 प्रतिशत की कटौती के बावजूद 3.00 प्रतिशत शुद्ध ब्याज मार्जिन (NIM) के लक्ष्य को हासिल करने को लेकर भरोसा जताया।
पीपीएफ स्कीम के तहत, एक साल में कम से कम 500 रुपये और ज्यादा से ज्यादा 1.50 लाख रुपये जमा किए जा सकते हैं।
विदेशी फंडों की लगातार निकासी और रुपये में तेज गिरावट ने निवेशकों के भरोसे पर भारी दबाव डाला है।
FPIs ने सितंबर में 23,885 करोड़ रुपये, अगस्त में 34,990 करोड़ रुपये और जुलाई में 17,700 करोड़ रुपये के इक्विटी बेचकर पैसे निकाले थे।
पिछले हफ्ते, बीएसई का बेंचमार्क इंडेक्स 444.71 अंकों (0.51) प्रतिशत की गिरावट के साथ बंद हुआ था।
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