Saturday, April 20, 2024
Advertisement

जापान में आया शक्तिशाली भूकंप, रिक्टर स्केल पर मापी गई इतनी तीव्रता

वहीं इससे पहले 24 मार्च शुक्रवार को भी जापान के इजू आइलैंड्स में भूकंप के झटके महसूस किये गए थे। रिक्टर स्केल भूकंप के इन झटकों की तीव्रता 4.6 दर्ज की गई थी।

Sudhanshu Gaur Written By: Sudhanshu Gaur @SudhanshuGaur24
Updated on: March 28, 2023 15:59 IST
Japan- India TV Hindi
Image Source : INDIA TV जापान में आया शक्तिशाली भूकंप,

Japan: उत्तरी जापान में भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए हैं। जानकारी के अनुसार यह भूकंप दोपहर 2 बजकर 48 मिनट पर आया। रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 6.1 दर्ज की गई।   भूकंप आने के बाद लोग घरों और दफ्तर से निकलकर बाहर भागने लगे, ताकि उनकी जान बच सके। हालांकि अभी किसी तरह के जान-माल के नुकसान की खबर नहीं है।

शुक्रवार को भी आया था भूकंप 

वहीं इससे पहले 24 मार्च शुक्रवार को भी जापान के इजू आइलैंड्स में भूकंप के झटके महसूस किये गए थे। रिक्टर स्केल भूकंप के इन झटकों की तीव्रता 4.6 दर्ज की गई थी। इजू द्वीप जापान के इजू प्रायद्वीप से दक्षिण और पूर्व में फैले ज्वालामुखीय द्वीपों का एक समूह है। यूएसजीएस ने बताया कि भूकंप 12 बजकर 6 मिनट पर आया। 

प्लेट्स के टकराने से आता है भूकंप

यह धरती मुख्य तौर पर चार परतों से बनी हुई है, जिन्‍हें इनर कोर, आउटर कोर, मैन्‍टल और क्रस्ट कहा जाता है। क्रस्ट और ऊपरी मैन्टल को लिथोस्फेयर कहा जता है। ये 50 किलोमीटर की मोटी परतें होती हैं, जिन्हें टैक्‍टोनिक प्लेट्स कहा जाता है। ये टैक्‍टोनिक प्लेट्स अपनी जगह से हिलती रहती हैं, घूमती रहती हैं, खिसकती रहती हैं। ये प्‍लेट्स अमूमन हर साल करीब 4-5 मिमी तक अपने स्थान से खिसक जाती हैं। ये क्षैतिज और ऊर्ध्वाधर, दोनों ही तरह से अपनी जगह से हिल सकती हैं। इस क्रम में कभी कोई प्लेट दूसरी प्लेट के निकट जाती है तो कोई दूर हो जाती है। इस दौरान कभी-कभी ये प्लेट्स एक-दूसरे से टकरा जाती हैं। ऐसे में ही भूकंप आता है और धरती हिल जाती है। ये प्लेटें सतह से करीब 30-50 किमी तक नीचे हैं।

भूंकप का केंद्र और तीव्रता

भूकंप का केंद्र वह जगह होती है, जिसके ठीक नीचे प्लेटों में हलचल से भूगर्भीय ऊर्जा निकलती है। इस स्थान पर भूकंप का कंपन ज्यादा महसूस होता है। कंपन की आवृत्ति ज्यों-ज्यों दूर होती जाती है, इसका प्रभाव कम होता जाता है। इसकी तीव्रता का मापक रिक्टर स्केल होता है। रिक्‍टर स्‍केल पर यदि 7 या इससे अधिक तीव्रता का भूकंप आता है तो आसपास के 40 किमी के दायरे में झटका तेज होता है। लेकिन यह इस बात पर भी निर्भर करता है कि भूकंपीय आवृत्ति ऊपर की तरफ है या दायरे में। यदि कंपन की आवृत्ति ऊपर की तरफ होती है तो प्रभाव क्षेत्र कम होता है। भूकंप की जितनी गहराई में आता है, सतह पर उसकी तीव्रता भी उतनी ही कम महसूस की जाती है।

Latest World News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। Asia News in Hindi के लिए क्लिक करें विदेश सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement