Sunday, April 28, 2024
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चीन ने लबें समय तक किया गलत सूचना का इस्तेमाल

वाशिंगटन: व्हाइट हाउस के एक शीर्ष अधिकारी ने कहा कि अमेरिका दशकों तक कूटनीतिक स्तर पर इस गलत सूचना का शिकार रहा कि चीन कोई खतरा नहीं है जिसके कारण कम्युनिस्ट देश ने धौंस दिखाने

India TV News Desk India TV News Desk
Published on: February 15, 2017 16:13 IST
china has used strategic misinformation for a long time- India TV Hindi
china has used strategic misinformation for a long time

वाशिंगटन: व्हाइट हाउस के एक शीर्ष अधिकारी ने कहा कि अमेरिका दशकों तक कूटनीतिक स्तर पर इस गलत सूचना का शिकार रहा कि चीन कोई खतरा नहीं है जिसके कारण कम्युनिस्ट देश ने धौंस दिखाने की गतिविधियां शुरू कर दीं। व्हाइट हाउस में राष्ट्रपति के उप सहायक सेबेस्टियन गोर्का ने कहा, मुझे लगता है कि चीन ने लंबे समय तक कूटनीतिक स्तर पर गलत सूचना का इस्तेमाल किया। उन्होंने कहा, मुझे अपने करियर में बहुत जल्द इसका पता चल गया।

गोर्का ने शीर्ष अमेरिकी थिंक टैंक हेरिटेज फाउंडेशन के साथ बातचीत में यह बात कही। उन्होंने कहा कि गलत सूचना फैलाने का यह अभियान अमेरिकी नेतृत्व तक पहुंचने में सफल रहा। उन्होंने कहा, यह अमेरिकी सरकारों के शीर्ष नेतृत्व तक पहुंचा, एक के बाद एक आये प्रशासन ने कई बातें कहीं कि चीन कोई खतरा नहीं है और फिर वे अधिक से अधिक खतरा बनते गये, जब उन्होंने धौंस जमाने वाली गतिविधियां शुरू कीं, उनकी सैन्य गतिविधियों ने परेशानी खड़ी की तो इस रूख में थोड़ा सा बदलाव हुआ कि क्या हम एक मजबूत चीन चाहते हैं?

उन्होंने कहा, वह एक असली खतरा है और हमें इसे समझने की जरूरत है लेकिन एक बात से इसका जवाब दिया जाता है कि अगर चीन के साथ व्यापार किया गया तो इससे चीन के सुधार को बढ़ावा मिलेगा। गोर्का की यह टिप्पणी ऐसे समय में आयी है जब अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने यू टर्न लेते हुये एक चीन की नीति का समर्थन किया है। गौरतलब है कि दक्षिण चीन सागर में द्वीपों को लेकर चीन का कई दक्षिण एशियाई देशों के साथ विवाद चल रहा है। वियतनाम, फिलीपीन, मलेशिया, ब्रुनेई और ताइवान भी इन द्वीपों पर अपना दावा जताते हैं।

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