
India's weapons procurement from the US jumps to USD 3.4 billion in 2020
वाशिंगटन। भारत द्वारा अमेरिका से खरीदे जाने वाले हथियारों में ट्रंप प्रशासन के अंतिम साल में जोरदार बढ़ोतरी हुई और आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक यह आंकड़ा 2020 में 62 करोड़ अमेरिकी डॉलर से बढ़कर 3.4 अरब डॉलर तक पहुंच गया। अमेरिका की डिफेंस सिक्योरिटी को-ऑपरेशन एजेंसी (डीएससीए) के अनुसार भारत को अमेरिकी हथियारों की बिक्री में उछाल ऐसे समय में आया है, जबकि अमेरिका से दूसरे देशों को हथियारों की कुल बिक्री 2020 में घटकर 50.8 अरब डॉलर रह गई।
अमेरिका ने दूसरे देशों को 2019 में 55.7 अरब डॉलर के हथियार बेचे थे, जबकि 2017 में यह आंकड़ा 41.9 अरब डॉलर था। आंकड़ों के मुताबिक 2020 में अमेरिकी हथियारों के प्रमुख खरीदार भारत (2019 के 62 करोड़ डॉलर के मुकाबले 2020 में 3.4 अरब डॉलर), मोरक्को (1.24 करोड़ डॉलर से बढ़कर 4.5 अरब डॉलर), पोलैंड (67.3 करोड़ डॉलर से बढ़कर 4.7 अरब डॉलर), सिंगापुर (13.7 करोड़ डॉलर से बढ़कर 1.3 अरब डॉलर), ताइवान (87.6 करोड़ डॉलर से बढ़कर 11.8 अरब डॉलर) और यूएई (1.1 अरब डॉलर से बढ़कर 3.6 अरब डॉलर) थे।
हालांकि, इस दौरान कई देशों द्वारा अमेरिका से हथियारों की खरीद में कमी हुई, जिसमें सउदी अरब, अफगानिस्तान, बेल्जियम, इराक और दक्षिण कोरिया शामिल हैं। अमेरिका के हिस्टोरिकल सेल्स बुक के 2020 संस्करण के अनुसार भारत ने 2017 में 75.44 करोड़ डॉलर, 2018 में 28.2 करोड़ डॉलर के हथियार खरीदे थे।
आंकड़ों के मुताबिक 1950 और 2020 के बीच अमेरिका ने विदेशी सैन्य बिक्री (एफएमएस) के तहत भारत को 12.8 अरब अमेरिकी डॉलर के हथियार बेचे। आंकड़ों के मुताबिक ट्रंप प्रशासन द्वारा पाकिस्तान को किसी भी तरह की सैन्य और सुरक्षा सहायता में रोक लगाने के बावजूद उसे एफएमएस के तहत हथियार बेचे गए। पाकिस्तान ने 2020 में अमेरिका से 14.6 करोड़ डॉलर के हथियार खरीदे।