
दूरसंचार कंपनी वोडाफोन आइडिया को जोरदार झटका लगा है। दूरसंचार विभाग यानी DoT ने कंपनी को कहा कि वह 2015 में अधिग्रहित स्पेक्ट्रम के लिए किए गए कुल भुगतान में कमी के लिए 6,090.7 करोड़ रुपये की बैंक गारंटी जमा कराए या 5,493.2 करोड़ रुपये नकद जमा कराए। पीटीआई की खबर के मुताबिक, कंपनी ने कहा कि हालांकि, कंपनी इक्विटी के माध्यम से बकाया राशि का भुगतान करने के लिए DoT के साथ चर्चा कर रही है।
कंपनी ने कही ये बात
वोडाफोन आइडिया के गैर-कार्यकारी निदेशक हिमांशु कपानिया ने गुरुवार को कहा कि हर स्पेक्ट्रम नीलामी के लिए कंपनी द्वारा किया गया कुल भुगतान 2015 की नीलामी को छोड़कर स्पेक्ट्रम के आनुपातिक उपयोग से अधिक है, जहां एक बार आंशिक कमी हुई थी और दूरसंचार विभाग ने या तो एक वर्ष के लिए 60,907 मिलियन रुपये (6,090.7 करोड़ रुपये) की बैंक गारंटी प्रदान करने या 10 मार्च, 2025 तक 54,932 मिलियन रुपये (5,493.2 करोड़ रुपये) का नकद भुगतान करने का अनुरोध किया है।
समूह की कुल बकाया राशि
खबर के मुताबिक, 2024 तक, समूह का बैंकों से बकाया ऋण 2,345 रुपये है। समूह की कुल बकाया राशि 2.27 लाख करोड़ रुपये से अधिक है। कपानिया ने कहा कि कंपनी दूरसंचार विभाग के साथ लगातार चर्चा कर रही है और उसने दूरसंचार सुधार पैकेज 2021 में परिकल्पित इस जरूरत के लिए सॉल्यूशन निकालने का अनुरोध किया है। वोडाफोन आइडिया (वीआईएल) पर बैंकों से 1,200 करोड़ रुपये का कर्ज और 31 दिसंबर, 2025 तक स्पेक्ट्रम बकाया के रूप में 2,188.6 करोड़ रुपये चुकाने का दायित्व है।
इक्विटी में बदल दिया जाएगा
स्पेक्ट्रम से संबंधित किस्तें और समायोजित सकल राजस्व (एजीआर) किस्त जो वित्त वर्ष 2026 के दौरान देय हैं और 2015 की स्पेक्ट्रम नीलामी से संबंधित कमी कुल मिलाकर 32,723.5 करोड़ रुपये है। कपानिया ने कहा कि अगर सरकार को भुगतान में कोई कमी होती है तो कंपनी को उम्मीद है कि इसे इक्विटी में बदल दिया जाएगा। 31 दिसंबर, 2024 तक 23.15 प्रतिशत हिस्सेदारी के साथ सरकार वोडाफोन आइडिया में सबसे बड़ी एकल शेयरधारक है। वोडाफोन आइडिया के प्रमोटर- आदित्य बिड़ला समूह और वोडाफोन समूह - के पास कंपनी में क्रमशः 14.76 प्रतिशत और 22.56 प्रतिशत हिस्सेदारी है।
वोडाफोन आइडिया ने मंगलवार को दिसंबर तिमाही के दौरान घाटे को कम करके 6,609. 3 करोड़ रुपये करने की सूचना दी, क्योंकि कर्ज में डूबी इस दूरसंचार कंपनी ने ARPU में क्रमिक वृद्धि हासिल की। तिमाही के दौरान परिचालन से राजस्व 11,117. 3 करोड़ रुपये रहा, जो पिछले साल की इसी अवधि की तुलना में 4 प्रतिशत अधिक है।