
सरकारी कंपनियों ने पिछले कुछ सालों में निवेशकों को मालामाल करने का काम किया है। आपको बता दें कि पिछले आठ वर्षों में लिस्टेड 18 सरकारी कंपनियों में 15 ने बंपर रिटर्न दिया है। इनमें मझगांव डॉक शिपबिल्डर्स सबसे ऊपर है, जिसने निवेशकों को 37 गुना तक रिटर्न दिया है। मझगांव डॉक शिपबिल्डर्स, रेल विकास निगम लिमिटेड (आरवीएनएल), गार्डन रीच शिपबिल्डर्स एंड इंजीनियर्स लिमिटेड और भारतीय रेलवे खानपान और पर्यटन निगम (आईआरसीटीसी) ने आईपीओ निवेशकों को 1,000 प्रतिशत से अधिक का रिनर्ट दिया।
रेलवे और शिपिंग कंपनियां रहीं टॉपर
सेक्टर वाइज विश्लेषण से पता चलता है कि रेलवे और शिपिंग क्षेत्र की सरकारी कंपनियों ने अन्य क्षेत्रों के सरकारी कंपनियों से बेहतर प्रदर्शन किया है। मझगांव डॉक 2020 में 145 रुपये के निर्गम मूल्य पर शेयर बाजारों में सूचीबद्ध हुआ था। दिसंबर 2024 में शेयर विभाजन के बावजूद 22 अप्रैल, 2025 को यह 5,510.2 रुपये प्रति शेयर पर कारोबार कर रहा था। गार्डन रीच शिपबिल्डर्स 2018 में 118 रुपये के निर्गम मूल्य पर शेयर बाजारों में सूचीबद्ध हुआ था। इस समय शेयर की कीमत 1,733.9 रुपये प्रति शेयर है। कोचीन शिपयार्ड 2017 में सूचीबद्ध हुआ था। इसका शेयर 432 रुपये के आईपीओ निर्गम मूल्य से बढ़कर 2,979.7 रुपये पर है। यह रिटर्न शेयर विभाजन के बावजूद है।
RVNL 1,866 प्रतिशत का रिटर्न दिया
रेलवे सीपीएसई में, RVNL ने 1,866 प्रतिशत का रिटर्न दिया। कंपनी का शेयर 2019 में 19 रुपये के आईपीओ मूल्य से बढ़कर इस समय 373.6 रुपये पर पहुंच गया है। इसी तरह आईआरसीटीसी के शेयर 2019 में 320 रुपये से बढ़कर 3,872.75 रुपये प्रति शेयर पर पहुंच गए। रक्षा क्षेत्र के सीपीएसई - हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स (HAL) और भारत डायनेमिक्स (BDL) ने आईपीओ निवेशकों को क्रमशः 605 प्रतिशत और 558 प्रतिशत का रिटर्न दिया। भारतीय नवीकरणीय ऊर्जा विकास एजेंसी (इरेडा) के शेयर 2023 में 32 रुपये के निर्गम मूल्य पर सूचीबद्ध हुए और 458 प्रतिशत बढ़कर 178.6 रुपये प्रति शेयर पर पहुंच गए हैं।
बीमा कंपनियों ने कराया नुकसान
विश्लेषण से पता चलता है कि बीमा कंपनियों को छोड़कर, मई 2017 से सूचीबद्ध सभी केंद्रीय सार्वजनिक क्षेत्र के उद्यमों (सीपीएसई) ने निवेशकों को पॉजिटिव रिटर्न दिया। वहीं, न्यू इंडिया एश्योरेंस, लाइफ इंश्योरेंस कॉरपोरेशन और जनरल इंश्योरेंस कॉरपोरेशन (जीआईसी) के शेयरों में गिरावट हुई। इससे इनके निवेशकों को नुकसान हुआ।