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दुल्हन बनकर आई थी पाकिस्तान की मीनल, CRPF जवान से की थी शादी; आज छोड़ना पड़ा पिया का घर

पहलगाम में आतंकी हमले के बाद पनपे हालात से देश भर में रह रहे पाकिस्तानी नागरिकों को पाकिस्तान वापस भेजने के फरमान केंद्र सरकार ने जारी किए हैं। इसकी कीमत जम्मू की बहू मीनल को भी चुकानी पड़ी है।

Edited By: Khushbu Rawal @khushburawal2
Published : Apr 29, 2025 19:57 IST, Updated : Apr 29, 2025 23:47 IST
minal khan
Image Source : INDIA TV मीनल खान और मुनीर खान।

जम्मू: केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) के एक जवान की पाकिस्तानी पत्नी को वापस पाकिस्तान भेजने के लिए जम्मू से वाघा बॉर्डर के लिए रवाना कर दिया गया है। अधिकारियों के मुताबिक, मीनल खान अपने पति और कश्मीर के घरोटा निवासी सीआरपीएफ जवान मुनीर खान के साथ जम्मू से पंजाब स्थित वाघा बॉर्डर के लिए रवाना हुई। मुनीर खान घरोटा इलाके के रहने वाले हैं। मंगलवार को वे अपनी पत्नी को लेकर अमृतसर के लिए रवाना हुए। यहां अटारी बॉर्डर के जरिए उनकी पत्नी को पाकिस्तान डिपोर्ट किया जाएगा।

ऑनलाइन हुआ था निकाह

मीनल और मुनीर की दोस्ती सोशल मीडिया के माध्यम से हुई थी और बाद में दोनों ने एक-दूसरे से शादी रचा ली थी। सीआरपीएफ जवान मुनीर खान ने 24 मई 2024 को ऑनलाइन निकाह किया था। मार्च में ही मीनल पाकिस्तान से जम्मू में अपने ससुराल पहुंची थी। घर पहुंचे ही बहू का ससुराल वालों ने बैंडबाजे के साथ स्वागत कर रिश्तेदारों को दावत दी थी। अब मीनल को पाकिस्तान की नापाक हरकत की वजह से भारत से जाना पड़ा है। 

हमलावरों को कड़ी सजा मिलनी चाहिए- मीनल

वाघा बॉर्डर के लिए रवाना होते समय मीनल ने भारत सरकार से देश में ब्याहे पाकिस्तानी नागरिकों को उनके बच्चों से जुदा न करने की अपील की। मीनल ने कहा, “हमें अपने परिवार के साथ रहने की इजाजत दी जानी चाहिए।” उसने यह भी कहा, “हम पहलगाम हमले में निर्दोष लोगों की बर्बर हत्या की निंदा करते हैं। हमलावरों को कड़ी सजा मिलनी चाहिए।” 

शौर्य चक्र विजेता की मां को भी जाना होगा पाकिस्तान

वहीं, आपको बता दें कि कश्मीर से निकाले जा रहे पाकिस्तानियों में शौर्य चक्र से सम्मानित शहीद पुलिस कर्मी की मां भी शामिल हैं, जिनकी आतंकवादी हमले में मौत हो गई थी। आतंकवादियों से लड़ते हुए मई 2022 में शहीद हुए विशेष पुलिस अधिकारी मुदासिर अहमद शेख की मां शमीमा अख्तर भी निर्वासित किए जा रहे लोगों में शामिल हैं। मुदासिर जम्मू-कश्मीर पुलिस की ‘अंडर कवर’ टीम का हिस्सा थे, जिसने विदेशी आतंकवादियों के एक समूह को रोका था।

अमित शाह ने की थी परिवार से मुलाकात

मुदासिर को मरणोपरांत शौर्य चक्र से सम्मानित किया गया। मई 2023 में दिल्ली में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से शमीमा ने अपने पति के साथ यह पुरस्कार लिया। इस घटनाक्रम से खुश नहीं दिख रहे मुदासिर के चाचा मोहम्मद यूनुस ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘मेरी भाभी पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर से हैं, जो हमारा क्षेत्र है। केवल पाकिस्तानियों को ही निर्वासित किया जाना चाहिए।’’ उन्होंने कहा कि मुदासिर की मृत्यु के बाद, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने परिवार से मुलाकात की थी और उपराज्यपाल भी दो बार परिवार से मिलने आए थे। 

60 पाकिस्तानियों को वापस भेजने की प्रक्रिया शुरू 

भारत ने 22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में लोकप्रिय पर्यटन स्थल बैसरन में हुए आतंकवादी हमले के बाद कुछ विशिष्ट श्रेणियों को छोड़कर, पाकिस्तानी नागरिकों को जारी सभी वीजा को रद्द कर दिया था। पहलगाम हमले में 26 लोग मारे गए थे, जिनमें से अधिकतर पर्यटक थे। पहलगाम हमले के बाद केंद्र ने कई कदमों की घोषणा की थी, जिनमें सिंधु जल संधि को निलंबित करना, इस्लामाबाद के साथ राजनयिक संबंधों को कमतर करना, तथा अल्पकालिक वीजा पर रह रहे सभी पाकिस्तानियों को 27 अप्रैल तक भारत छोड़ने या कार्रवाई का सामना करने का आदेश देना शामिल था। निर्वासित किए जा रहे 60 लोगों में अधिकतर पूर्व आतंकवादियों की पत्नियां और बच्चे हैं, जो पूर्व आतंकवादियों के लिए 2010 की पुनर्वास नीति के तहत घाटी में लौटे थे।

(रिपोर्ट- राही कपूर)

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