Thursday, May 16, 2024
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Madhya Pradesh Politics: क्या मध्य प्रदेश BJP के अंदरखाने में कुछ बड़ा पक रहा है? नेताओं की मेल-मुलाकात ने कयासों को दिए पंख

Madhya Pradesh Politics: मध्य प्रदेश में एक तरफ जहां नेताओं की मेल मुलाकात का दौर चल रहा है, इसी दौरान मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की दिल्ली यात्रा हो रही है। इस यात्रा को राज्य की सियासत के लिहाज से काफी अहम माना जा रहा है।

Khushbu Rawal Edited By: Khushbu Rawal @khushburawal2
Published on: August 30, 2022 17:05 IST
Jyotiraditya Scindia- India TV Hindi
Image Source : PTI Jyotiraditya Scindia

Madhya Pradesh Politics: मध्यप्रदेश में इन दिनों सत्ताधारी भारतीय जनता पार्टी (BJP) के नेताओं के बीच मेल मुलाकात की रफ्तार क्या तेज हुई कयासों को भी पंख लगने लगे हैं। अब तो राज्य की सियासत में बड़े बदलाव तक के चर्चे आम हो चले हैं। पिछले दिनों केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह का भोपाल दौरा हुआ, इस प्रवास के दौरान सरकारी कार्यक्रमों में तो वे शामिल हुए ही साथ ही पार्टी द्वारा आयोजित कार्यक्रम में भी उनकी हिस्सेदारी रही। इतना ही नहीं उन्होंने कई नेताओं के साथ बंद कमरे में अलग-अलग एक-एक व्यक्ति से बातचीत भी की।

विजयवर्गीय से बेहद गर्मजोशी से मिलते दिखे सिंधिया

केंद्रीय मंत्री अमित शाह के दिल्ली लौटने के बाद केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया का इंदौर दौरा हुआ और वे इस दौरान पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय आवास पर पहुंच गए। एक तरफ जहां सिंधिया ने इंदौर में विजयवर्गीय से मुलाकात की तो वे भोपाल में मुख्यमंत्री आवास पर सीएम शिवराज सिंह चौहान से भी मिलने जा पहुंचे। इंदौर से सियासी संकेत उस समय सामने आए जब सिंधिया अचानक कैलाश विजयवर्गीय से मिलने पहुंचे। प्रदेश की सियासत में लंबे समय विरोधी रहे कैलाश विजयवर्गीय से सिंधिया बेहद गर्मजोशी से मिलते दिखे। यहां तक कि वे अपने बेटे को भी साथ लेकर विजयवर्गीय के घर पहुंचे थे और उसे कैलाश विजयवर्गीय से आशीर्वाद लेने तक को कहा।

सिंधिया-विजयवर्गीय की मुलाकात के गहरे हैं मायने!
इसके बाद रविवार को प्रदेश भाजपा अध्यक्ष वीडी शर्मा भी कैलाश विजयवर्गीय से मिले। दोनों के बीच मुलाकात ने प्रदेश का सियासी पारी और भी चढ़ा दिया है। प्रदेश के दो कद्दावर मंत्रियों की लगातार दिल्ली में मौजूदगी का कारण भी प्रदेश में नए सियासी समीकरणों की पटकथा का हिस्सा माना जा रहा है। भाजपा संसदीय बोर्ड और केंद्रीय चुनाव समिति से शिवराज का बाहर होना भी इसी पटकथा से जोड़ा जा रहा है।

एक तरफ जहां सिंधिया की दो बड़े नेताओं के साथ मुलाकात हुई तो उसके बाद पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष विष्णु दत्त शर्मा का इंदौर दौरा हुआ और इस दौरान शर्मा की विजयवर्गीय से गुफ्तगू हुई। एक तरफ जहां नेताओं की मेल मुलाकात का दौर चल रहा है, इसी दौरान मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की दिल्ली यात्रा हो रही है। इस यात्रा को राज्य की सियासत के लिहाज से काफी अहम माना जा रहा है।

सियासी बदलावों की आहट!
शिवराज सिंह पिछले दो दिन बहुत व्यस्त रहे हैं। दतिया के पीताम्बरा पीठ पहुंचकर उन्होंने देवी आराधना की। फिर वाराणसी के मीरजापुर में विंध्यवासिनी देवी के दर्शन किए। काशी विश्वनाथ मंदिर परिसर में देवी अहिल्या बाई होलकर की प्रतिमा के सामने भी नमन किया। केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया से भी मुलाकात की और अब वह दिल्ली जा रहे हैं। उनके मंदिर दर्शनों और दिल्ली दौरे को सियासी बदलावों की आहट के तौर पर देखा जा रहा है।   राजनीतिक गलियारों में चर्चाएं गर्म है और कहा तो यहां तक जा रहा है कि राज्य में आगामी समय में मंत्रिमंडल विस्तार हो सकता है और निगम मंडलों की नियुक्तियां भी संभावित हैं। कुल मिलाकर आने वाले दिन राज्य की सियासत के लिहाज से काफी अहम माने जा रहे हैं।

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