Sunday, December 15, 2024
Advertisement
  1. Hindi News
  2. पैसा
  3. बिज़नेस
  4. चीन का दामन छोड़ फिर पुराने दोस्तों की शरण में पाकिस्तान, ​इन 4 देशों के हवाले कर सकता है देश के 28 प्रोजेक्ट

चीन का दामन छोड़ फिर पुराने दोस्तों की शरण में पाकिस्तान, ​इन 4 देशों के हवाले कर सकता है देश के 28 प्रोजेक्ट

स्वीकृत योजनाएं खाद्य, कृषि, सूचना प्रौद्योगिकी, खान और खनिज, पेट्रोलियम और बिजली क्षेत्रों से संबंधित हैं। इनमें पशु फार्म; 10 अरब डॉलर की सऊदी अरामको रिफाइनरी; चगाई में तांबे और सोने की खोज; और थार कोयला रेल संपर्क योजना भी शामिल है।

Written By: Sachin Chaturvedi @sachinbakul
Published : Jul 31, 2023 8:18 IST, Updated : Jul 31, 2023 8:18 IST
Pakistan- India TV Paisa
Photo:FILE Pakistan

बीते एक दशक से सिर्फ चीन के आर्थिक गलियारे पर फोकस कर रहा पाकिस्तान अब अपने पुराने दोस्तों से भी मदद मांगने निकल पड़ा है। पाकिस्तान ने खाड़ी के चार देशों के आगे देश में निवेश करने के लिए अपने दरवाजे खोल दिए हैं। पाकिस्तान ने सैद्धांतिक रूप से अरबों डॉलर की 28 परियोजनाओं को मंजूरी दे दी है। कर्ज और आयात पर निर्भरता कम करने के लिए पाकिस्तान खाड़ी देशों को निवेश के लिए इन परियोजनाओं की पेशकश करेगा। 

इन चार देशों से मांगा निवेश 

देश को वित्तीय संकट से निकालने के लिए नवगठित विशेष निवेश सुविधा परिषद (एसआईएफसी) आर्थिक विकास को तेज करने के अभियान की अगुवाई कर रही है। यह परिषद एक मिलाजुला नागरिक-सैन्य मंच है। स्वीकृत परियोजनाओं की सूची से पता चलता है कि यदि सभी योजनाओं को कतर, सऊदी अरब, संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) और बहरीन आदि देशों द्वारा ले लिया जाता है, तो एसआईएफसी में निवेश चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारे (सीपीईसी) के तहत 28 अरब डॉलर के निवेश से अधिक रह सकता है। 

इन क्षेत्रों में निवेश आमंत्रित

स्वीकृत योजनाएं खाद्य, कृषि, सूचना प्रौद्योगिकी, खान और खनिज, पेट्रोलियम और बिजली क्षेत्रों से संबंधित हैं। इनमें पशु फार्म; 10 अरब डॉलर की सऊदी अरामको रिफाइनरी; चगाई में तांबे और सोने की खोज; और थार कोयला रेल संपर्क योजना भी शामिल है। सीपीईसी 2013 से पूरे पाकिस्तान में निर्माणाधीन बुनियादी ढांचा और अन्य परियोजनाओं का एक मंच है। एसआईएफसी के कामकाज को कानूनी सुरक्षा देने के लिए संसद ने पहले ही पाकिस्तान सेना अधिनियम और निवेश बोर्ड (बीओआई) अध्यादेश में कई संशोधनों को मंजूरी दे दी है। कार्यवाहक सरकार के कार्यकाल के दौरान इन योजनाओं पर काम की निरंतरता सुनिश्चित करने के लिए चुनाव अधिनियम में संशोधन भी पेश किया गया है। ये कानून शुरुआत में स्वीकृत अरबों डॉलर की निवेश परियोजनाओं में तेजी लाएंगे। इसमें निर्णय लेने वालों को विभिन्न भ्रष्टाचार रोधक निकायों से किसी भी तरह की जांच की छूट भी होगी।

Latest Business News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। Business News in Hindi के लिए क्लिक करें पैसा सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement