Friday, March 29, 2024
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दक्षिण अफ्रीका के चीफ जस्टिस ने कोरोना वैक्सीन को ‘शैतान का टीका’ बताया

दुनिया भर में कोरोना वायरस संक्रमण से बचाव के लिए टीके के इंतजार के बीच दक्षिण अफ्रीका के प्रधान न्यायाधीश मोगोइंग मोगोइंग ने टीके को ले कर एक विवादास्पद बयान दिया जिसमें उन्होंने कहा कि विश्व भर में जिस टीके से उत्साह का संचार हो रहा है वह ‘‘ शैतान के पास से आया है।’’

IndiaTV Hindi Desk Edited by: IndiaTV Hindi Desk
Published on: December 12, 2020 10:29 IST
दक्षिण अफ्रीका के चीफ जस्टिस ने कोरोना वैक्सीन को ‘शैतान का टीका’ बताया- India TV Hindi
Image Source : WEF दक्षिण अफ्रीका के चीफ जस्टिस ने कोरोना वैक्सीन को ‘शैतान का टीका’ बताया

जोहानिसबर्ग: दुनिया भर में कोरोना वायरस संक्रमण से बचाव के लिए टीके के इंतजार के बीच दक्षिण अफ्रीका के प्रधान न्यायाधीश मोगोइंग मोगोइंग ने टीके को ले कर एक विवादास्पद बयान दिया जिसमें उन्होंने कहा कि विश्व भर में जिस टीके से उत्साह का संचार हो रहा है वह ‘‘ शैतान के पास से आया है।’’ इस बयान के लिए प्रधान न्यायाधीश की काफी आलोचना हो रही है। 

सोशल मीडिया में एक वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है, जिसमें न्यायाधीश मोगोइंग एक गिरजाघर में प्रार्थना करते नजर आ रहे हैं और इस दौरान वह दावा करते हैं कि टीका लोगों के डीएनए को ‘‘खराब’’ कर देगा। उन्होंने अपनी प्रार्थना में कहा, ‘‘ जो आपकी (ईश्वर) तरफ से नहीं है, ऐसे किसी भी टीके से मैं खुद को दूर करता हूं। अगर कोई टीका है तो वह शैतान की तरफ से है, जिसका मकसद लोगों के जीवन में ‘ट्रिपल सिक्स’ (शैतान का चिह्न) लाना है और यह उनके डीएनए को खराब करेगा। ऐसा कोई भी टीका, हे ईश्वर, उसे यीशु मसीह के नाम पर अग्नि नष्ट से कर दे।’’

 मोगोइंग की इन बातों से वैज्ञानिकों और अन्य लोगों में गुस्सा है और उनका कहना है कि मोगोइंग जैसे प्रभावशाली व्यक्ति की तरफ से इस प्रकार की बातें टीके का इंतजार कर रहे लोगों को भ्रमित कर सकती हैं। विट्स विश्वविद्यालय में वायरोलॉजी के प्रोफेसर बैरी शउब ने कहा, ‘‘ यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है कि उनके कद का कोई व्यक्ति लोगों को गुमराह कर रहा है क्योंकि इस महामारी को नियंत्रित करने के लिए टीका एक अहम हिस्सा है। यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि इतना प्रभावशाली व्यक्ति इसे नियंत्रित करने के प्रयासों का विरोध कर रहा है।’’ 

मानवाधिकार संगठन ‘‘अफ्रीका4पैलस्टीन’’ ने भी मोगोइंग के इस बयान की निंदा की है। वहीं न्यायाधीश ने टीके पर उनकी टिप्पणी को ले हो रही आलोचनाओं को खारिज किया और शुक्रवार सुबह एक टेलीविजन कार्यक्रम में कहा कि उन्हें अपनी राय व्यक्त करने का अधिकार है। उन्होंने कहा,‘‘ यह आजाद मुल्क है। मुझे चुप नहीं कराया जा सकता। मुझे परिणामों की चिंता नहीं है।’’ 

इनपुट-भाषा

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