Tuesday, April 23, 2024
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एक-दूसरे से 'रेस' लगाती रेलगाड़ियां? देश के इस रेलवे स्टेशन पर दिखा ये नजारा

तमिलनाडु के कोयम्बटूर जिले में बुलवुवनपट्टी पर्वतमाला में एक शानदार नजारा देखने को मिला जब मेल और मेन लाइन इलेक्ट्रिक मल्टीपल यूनिट (एमईएमयू) ट्रेनें एक साथ पटरी पर दौड़ती दिखी।

IndiaTV Hindi Desk Edited by: IndiaTV Hindi Desk
Updated on: August 22, 2020 11:14 IST
Mail and MEMU trains moving together at Ettimadai, Tamil Nadu- India TV Hindi
Image Source : INDIAN RAILWAY Mail and MEMU trains moving together at Ettimadai, Tamil Nadu

तमिलनाडु के कोयम्बटूर जिले में बुलवुवनपट्टी पर्वतमाला में एक शानदार नजारा देखने को मिला जब मेल और मेन लाइन इलेक्ट्रिक मल्टीपल यूनिट (एमईएमयू) ट्रेनें एक साथ पटरी पर दौड़ती दिखी। भारतीय रेल ने इसकी एक फोटो साझा की है। 

रेलवे ने रद्द किया 44 सेमी हाईस्पीड वंदे भारत ट्रेन बनाने का टेंडर, बोली में चीनी कंपनी भी शामिल थी

रेलवे ने शुक्रवार को कहा कि उसने 44 सेमी-हाई स्पीड वंदे भारत ट्रेनों के निर्माण की निविदा रद्द कर दी है जो पिछले साल आमंत्रित की गई थी। पिछले महीने जब निविदा खोली गई तो 16 डिब्बे वाली इन 44 ट्रेनों के इलेक्ट्रिकल उपकरणों एवं अन्य सामान की आपूर्ति के लिए छह दावेदारों में से एक चीनी संयुक्त उद्यम (सीआरआरसी-पायनियर इलेक्ट्रिक (इंडिया) प्राइवेट लिमिटेड) एकमात्र विदेशी के रूप में उभरकर सामने आया। 

वर्ष 2015 में चीनी कंपनी सीआरआरसी योंगजी इलेक्ट्रिक कंपनी लिमिटेड और गुरुग्राम की पायनियर इलेक्ट्रिक (इंडिया) प्राइवेट लिमिटेड के बीच यह संयुक्त उद्यम बना था। रेल मंत्रालय ने एक ट्वीट में कहा, '' 44 सेमी-हाई स्पीड ट्रेनों (वंदे भारत) के निर्माण की निविदा रद्द कर दी गई है। संशोधित सार्वजनिक खरीद (''मेक इन इंडिया'' को वरीयता) आदेश के अंतर्गत एक सप्ताह के भीतर ताजा निविदा आमंत्रित की जाएगी।'' हालांकि, रेलवे ने निविदा रद्द करने के पीछे किसी खास कारण का उल्लेख नहीं किया। 

सूत्रों ने कहा कि रेलवे यह सुनिश्चित करना चाहता है कि एक पूर्ण घरेलू इकाई निविदा हासिल करे और जैसे ही यह महसूस किया गया कि चीनी संयुक्त उद्यम दौड में सबसे आगे है तो इसे निरस्त कर दिया गया। चेन्नई की रेलवे कोच फैक्ट्री ने 10 जुलाई को 44 सेमी-हाई स्पीड वंदे भारत ट्रेनों के निर्माण के लिए निविदा आमंत्रित की थी। 

इससे पहले, लद्दाख में चीन-भारत के बीच सीमा पर जारी गतिरोध के बीच भी रेलवे ने कोविड-19 निगरानी के लिए थर्मल कैमरा की आपूर्ति के लिए उस समय निविदा रद्द कर दी थी जब एक भारतीय कंपनी ने निविदा विनिर्देशों को चीनी कंपनी के पक्ष में होने का आरोप लगाया था। सूत्रों ने कहा कि कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) ने भी रेल मंत्री पीयूष गोयल को पत्र लिखकर इस निविदा को समाप्त करने का आग्रह किया था।

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