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RBI की ब्याज दरों में वृद्धि पर रोक से रियल एस्टेट और होम बायर्स को मिली बड़ी राहत, बढ़ेगी प्राॅपर्टी की मांग: विशेषज्ञ

नारेडको नेशनल के वाइस चेयरमैन डॉ. निरंजन हीरानंदानी ने प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा कि रेपो रेट में बढ़ोतरी पर विराम देने के लिए भारतीय कंपनियां RBI के फैसले की सराहना करता है।

Alok Kumar Edited By: Alok Kumar @alocksone
Updated on: April 06, 2023 14:23 IST
रियल एस्टेट- India TV Paisa
Photo:FILE रियल एस्टेट

भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने सबसे को चौंकाते हुए आज मौद्रिक पाॅलिसी ऐलान करते हुए रेपो रेट में बढ़ोतरी नहीं करने का फैसला सुनाया। इसकी उम्मीद शायद ही किसी को रहेगी होगी क्योंकि खुदरा महंगाई छह फीसदी से ऊपर बनी हुई है। ऐसे में तमाम एक्सपर्ट रेपो रेट में 25 आधार बढ़ोतरी की उम्मीद कर रहे थे लेकिन आरबीआई ने ऐसा नहीं किया। आरबीआई ने कहा कि महंगाई को कम करना चुनौती है। जब तक महंगाई कम नहीं होती है, तब तक केंद्रीय बैंक की इसके खिलाफ लड़ाई जारी रहेगी। आरबीआई द्वारा रेपो रेट में नहीं बढ़ोतरी से फौरी तौर पर लाखों होम बायर्स को फायदा हुआ है। ईएमआई और नहीं बढ़ेगी। साथ ही नए घर खरीदने की तैयारी कर रहे लोगों को भी राहत मिली है। उनके ऊपर ईएमआई का बोझ नहीं बढ़ेगा। इसका सीधा फायदा रियल एस्टेट सेक्टर को मिलेगा। घर की मांग आगे भी बनी रहेगी। इससे रियल एस्टेट में जो तेजी आई है, वह जारी रहेगी। इसका फायदा भारतीय अर्थव्यवस्था और रियल एस्टेट से जुड़े तमाम सेक्टर को होगा।

घरों की मांग में और तेजी आएगी।

रियल एस्टेट कंपनी अंतरिक्ष इंडिया के सीएमडी राकेश यदाव ने इंडिया टीवी को बताया कि हमने मौद्रिक पाॅलिसी से पहले रेपो रेट नहीं बढ़ाने का अनुरोध किया था। हम आरबीआई को धन्यवाद देते हैं कि उन्होंने ब्याज दरों का बोझ नहीं बढ़ाया है। आरबीआई के इस फैसले से देशभर के लाखों होम बायर्स को बड़ी राहत मिलेगी। उनके ऊपर ईएमआई का बोझ नहीं बढ़ेगा। नए खरीदरों को भी बचत होगी। इसका फायदा प्राॅपर्टी बाजार को मिलेगा। घर की मांग में और तेजी आएगी। इसका फायदा भारतीय अर्थव्यवस्था को भी होगा क्योंकि रियल एस्टेट सेक्टर से करीब 200 उद्योग जुड़े हुए हैं। रोजगार के अवसर भी बढ़ेंगे क्योंकि रेलवे के बाद रियल एस्टेट सबसे अधिक जाॅब मुहैया कराता है।

घर खरीदारों में विश्वास बहाल करेगा

नारेडको नेशनल के वाइस चेयरमैन डॉ. निरंजन हीरानंदानी ने प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा कि रेपो रेट में बढ़ोतरी पर विराम देने के लिए भारतीय कंपनियां आरबीआई के फैसले की सराहना करता है। आरबीआई का यह कदम घर खरीदारों में विश्वास बहाल करेगा और मांग में तेजी को बढ़ावा देगा। स्टर्लिंग डेवलपर्स के अध्यक्ष और एमडी, रमानी शास्त्री दरों को बनाए रखने के आरबीआई के फैसले का स्वागत है। इससे खरीदारों का विश्वास बढ़ेगा, खासकर बार-बार बढ़ोतरी के बाद उनकी अधिग्रहण लागत पहले ही बढ़ चुकी थी।" हाल के दिनों में रेपो दरों में वृद्धि के कारण होम लोन की ब्याज दरें पहले से ही 9.5 प्रतिशत और उससे अधिक के खतरनाक उच्च स्तर पर हैं। एक और बढ़ोतरी आवास ऋण की ब्याज दरों को दोहरे अंकों में ले जाती।

एक स्वागत योग्य निर्णय

एलआईसी हाउसिंग फाइनेंस के एमडी और सीईओ वाई विश्वनाथ गौड़ ने कहा कि रेपो दरों को समान रखना एक स्वागत योग्य निर्णय है। आज के इस कदम से आम लोगों के बीच सकारात्मक संकेत जाएगा और सेंटीमेंट में सुधार होगा। नए वित्त वर्ष में हम उम्मीद करते हैं कि इस सकारात्मक फैसले का असर रियल एस्टेट समेत दूसेर सेक्टर पर होगा। घर खरीदने की तैयारी कर रहे होम बॉयर्स आज के बाद एक बार फिर अपने सपने को पूरा करना चाहेंगे।

आरबीआई के फैसले का स्वागत करते हैं: क्रेडाई

अध्यक्ष क्रेडाई एनसीआर एवं गौड़ समूह के सीएमडी मनोज गौड़ ने कहा, “हम रेपो दरों को अपरिवर्तित रखने के आरबीआई के फैसले का स्वागत करते हैं। नीतिगत दरों में पिछले 6 बार से लगातार वृद्धि संभावित खरीदारों पर नकारात्मक प्रभाव पैदा कर रही थी। अगर ब्याज दरों को कम से कम 2 तिमाहियों के लिए स्थिर रखा जाता है तो रियल एस्टेट बाजार को प्रोत्साहन मिलेगा क्योंकि इससे खरीदारों को कोई वित्तीय चिंता नहीं होगी और होम लोन पर अधिक ब्याज का भुगतान करने का डर भी नहीं होगा। स्थिर रेपो दर निवेशकों को अपने पैसे को और सुविधाजनक तरीकों से विकास कार्यों में लगाने की मदद करेगा।“

अध्यक्ष क्रेडाई (पश्चिमी यूपी) एवं काउंटी समूह के निदेशक अमित मोदी ने कहा, हाल की बढ़ोतरीयों ने निवेशकों को एक तरह से हतोत्साहित कर दिया था। दरों को स्थिर रखने से रियल एस्टेट क्षेत्र फलेगा-फूलेगा क्योंकि मध्यम-आय वर्ग को आवास ऋण पर उच्च ब्याज का भार नहीं पड़ेगा और यह निवेश उन्हें निवेश के लिए प्रोत्साहित करेगा। गुणवत्तापूर्ण सुविधाओं के कारण, आवासीय और व्यावसायिक दोनों क्षेत्रों में मांग असाधारण रूप से अधिक रही है। रेपो रेट स्थिर रहने पर निवेशक परियोजनाओं में और भी आसानी से निवेश कर सकते हैं। एसकेए समूह के निदेशक संजय शर्मा ने कहा “एसकेए समूह के निदेशक संजय शर्मा ने रिजर्व बैंक द्वारा नीतिगत दरों को स्थिर रखने की सराहना करते हुए कहा कि यह कदम रियल एस्टेट क्षेत्र के लिये बड़ा बदलाव लाने वाला। रियल एस्टेट सेक्टर के साथ अन्य उद्योग भी दरों को स्थिर रखने की मांग कर रहे थे। इस मांग का आरबीआई द्वारा समर्थन करना निवेशकों और घर खरीदारों को प्रोत्साहित करेगा।“

आरबीआई ने लिया साहसिक निर्णय

महागुन समूह के निदेशक अमित जैन ने कहा “एक वर्ष में, ब्याज दरों में काफी वृद्धि हुई है। भले ही दुनिया की शीर्ष अर्थव्यवस्थाओं ने ब्याज दरों में वृद्धि जारी रखी है, लेकिन वर्तमान स्थिति को देखते हुए आरबीआई ब्याज दरों को अपरिवर्तित रखने का साहसी निर्णय लिया गया है। यह निवेशकों और उन लोगों के लिए एक अच्छा विकल्प प्रस्तुत करता है जो घर खरीदना या निवेश करना चाहते हैं। ब्याज दर को स्थिर रखने से, भारतीय बाजार वैश्विक स्तर पर काफी अधिक प्रतिस्पर्धी और आकर्षक हो जायेगा। इससे भारत में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (FDI) में वृद्धि हो सकती है।“

आवास की मांग में तेजी आएगी

जतिन लोहिया, निदेशक, एलआईडी(लायन इन्फ्रा डेवलपर्स) ने कहा, "लगातार उच्च मुद्रास्फीति की स्थिति में रेपो रेट को 6.50% पर बनाए रखने का आरबीआई का निर्णय ग्रोथ और प्राइस स्टेबिलिटी के बीच बैलेंस बनाने के इरादे से एक सतर्क मुद्रा को दर्शाता है। हालांकि, इस महीने की शुरुआत में सरकार की विकास-केंद्रित राजकोषीय बजट घोषणा को देखते हुए, आशावादी बाजार भावनाओं के साथ-साथ, यह स्पष्ट है कि आने वाले महीनों में आवास की मांग में तेजी आएगी।” वहीं संतोष अग्रवाल, अल्फा कॉर्प के सीएफओ और कार्यकारी निदेशक ) ने कहा, आखिरकार कई वृद्धियों के बाद, रेपो दर को स्थिर बनाए रखने के लिए आरबीआई का निर्णय एक स्वागत योग्य राहत साबित होगा। यह घोषणा निस्संदेह केंद्रीय बजट के बाद  बाजार को बढ़ावा देगा, साथ ही रियल एस्टेट को भी बढ़ावा देगा। रियल एस्टेट क्षेत्र ने पिछले कुछ समय के दौरान महत्वपूर्ण वृद्धि का अनुभव किया है।  समायोजन की स्थिति को बनाए रखने से बैंकों को वर्तमान दर पर ऋण देना जारी रखने की अनुमति मिलेगी, इसके साथ ही यह होमबॉयर्स और डेवलपर्स के लिए समान रूप से बहुत उत्साहजनक है।

RBI रियल एस्टेट सेक्टर की उम्मीदों को बरकरार रखा 

सारांश त्रेहान, मैनेजिंग डायरेक्टर, त्रेहान ग्रुप ने कहा, आरबीआई ने अपने रुख में बदलाव किया है और रेपो रेट को 6.5% पर स्थिर किया है। यह घर खरीदारों और रियल एस्टेट के लिए एक बड़ी राहत है। वो भी उस समय मे जब प्रॉपर्टी के दामों में और बैंक लोन में भारी उछाल देखा गया है।  आरबीआई के इस निर्णय से घरों की आसमान छूती कीमतों में लोन के इंटरेस्ट रेट पर विशेष ध्यान होना अनिवार्य है। इससे घर खरीदारों को अपने घरों में निवेश करने में प्रोत्साहन मिलेगा।

सुलेख जैन, चेयरमैन, डीपीएल होम्स ने कहा, आरबीआई ने रेपो रेट में बढ़ोतरी नही करके रियल एस्टेट सेक्टर की उम्मीदों को बरकरार रखा है, ऐसे में सबसे बड़ा फायदा होम बायर्स को होगा। बीते समय में जिस तरह से रेपो रेट में बढ़ोतरी हो रही थीं, उसमें कहीं ना कहीं होम बायर्स के जेब पर असर पड़ रहा था। इस बार की बढ़ोतरी ना होना रियल एस्टेट सेक्टर के लिए तेजी असर दिखाएगा, जो होमबॉयर्स  ब्याज दरों की बढ़ोतरी से प्रोपर्टी मार्केट से दूर थे,  वो अब घर खरीदने पर विचार कर सकते हैं।

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