Highlights
- ऋषभ पंत ने पहले दिन 146 रन की पारी खेली
- महज 89 गेंदों में जड़ा शतक
- जडेजा के साथ की 222 रन की साझेदारी
ऋषभ पंत ने इंग्लैंड के खिलाफ पांचवें टेस्ट के पहले दिन एक बार फिर से अपनी बल्लेबाजी का लोहा मनवाया। भारतीय विकेटकीपर उस वक्त बल्लेबाजी करने उतरे थे, जिस वक्त टीम इंडिया 64 के स्कोर पर तीन विकेट गंवाकर मुश्किल में थी। उनके आने के बाद विराट कोहली और श्रेयस अय्यर भी जल्दी ही पवेलियन लौट गए। लेकिन पंत अपनी जगह पर मजबूती से टिके रहे और रवींद्र जडेजा के साथ मिलकर पारी को आगे बढ़ाया। उन्होंने इंग्लिश गेंदबाजों को हावी नहीं होने दिया और ताबड़तोड़ बल्लेबाजी करते हुए महज 89 गेंदों में शतक जड़ दिया।
24 साल के बाएं हाथ के बल्लेबाज ने इंग्लैंड के किसी भी गेंदबाज को नहीं बख्शा और मैदान के चारों तरफ शॉट खेले। उन्होंने न सिर्फ टीम को शुरुआती झटकों से उबारा बल्कि उसकी मैच में वापसी भी कराई। पंत ने जडेजा के साथ मिलकर छठे विकेट के लिए 222 रनों की साझेदारी की। पंत ने अपनी पारी के दौरान कई रिकॉर्ड भी तोड़े। वह 111 गेंदों में 146 रन बनाकर आउट हुए, लेकिन तब तक टीम को एक मजबूत स्कोर तक पहुंचा चुके थे। पंत ने मैच के बाद कहा कि इंग्लैंड में सबसे महत्वपूर्ण है गेंदबाज की लय बिगाड़ना। ऐसा मेरा मानना है और इसलिए मैने गेंदबाजों को मानसिक रूप से परेशान करने की कोशिश की।
इंग्लैंड के कप्तान बेन स्टोक्स तेज गेंदबाज जेम्स एंडरसन ने पंत पर शॉर्टपिच गेंदों से हमला बोला लेकिन वह सहज होकर खेलते रहे। उन्होंने कहा कि मैने एक जैसे शॉट्स नहीं खेले बल्कि विविधता लाने की कोशिश की। कई बार बाहर निकला तो कई बार बैकफुट पर खेला। मैने क्रीज का बखूबी इस्तेमाल किया। गेंदबाज पर मानसिक दबाव बनाने की बात थी, कुछ पहले से तय नहीं था। मैने इसी पर फोकस रखा कि गेंदबाज क्या करने वाला है। पंत ने कहा कि उन्होंने अच्छी गेंदों का सम्मान किया और अपने डिफेंस को भी मजबूत रखा।
उन्होंने कहा कि मैने अपने डिफेंस पर काफी काम किया। मेरे कोच तारक सिन्हा सर ने मुझे बरसों पहले बताया था कि आप किसी भी गेंदबाज पर आक्रमण कर सकते हैं लेकिन डिफेंस पर उतना ही ध्यान देना जरूरी है। मैं कई बार अलग तरह के शॉट खेलता हूं लेकिन गेंद को पीटा जा सकता है तो पीछे नहीं हटता।