Tuesday, April 16, 2024
Advertisement

दुनिया के कई देश लॉकडाउन में दे रहे ढील, रूस और ब्रिटेन का संघर्ष अब भी जारी

अमेरिका से लेकर यूरोप और एशिया के देश कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए लागू लॉकडाउन में ढील दे रहे हैं जिससे अरबों लोग हफ्तों के बाद घरों से निकल रहे हैं।

IndiaTV Hindi Desk Edited by: IndiaTV Hindi Desk
Published on: May 03, 2020 22:37 IST
दुनिया के कई देश...- India TV Hindi
Image Source : AP दुनिया के कई देश लॉकडाउन में दे रहे ढील, रूस और ब्रिटेन का संघर्ष अब भी जारी 

रोम: अमेरिका से लेकर यूरोप और एशिया के देश कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए लागू लॉकडाउन में ढील दे रहे हैं जिससे अरबों लोग हफ्तों के बाद घरों से निकल रहे हैं। हालांकि, इस वैश्विक महामारी से अब भी कई देश बुरी तरह से प्रभावित हैं और लगातार संक्रमितों और इससे मरने वालों की तादाद बढ़ती जा रही है। भारत में रविवार को कोरोना वारयरस से संक्रमण के 2,600 से अधिक नये मामले सामने आए जो एक दिन में सबसे ज्यादा हैं जबकि रूस में पहली बार एक दिन में नये मामलों की संख्या 10 हजार के पार चली गई है। 

ब्रिटेन में कोरोना वायरस से मरने वालों की संख्या लगातार बढ़ रही है और यह संख्या यूरोप में महामारी के केंद्र रहे इटली में हुई मौतों की संख्या के करीब पहुंच गयी है। यह तब हो रहा है जब ब्रिटेन की आबादी इटली के मुकाबले युवा है और उसे महामारी से निपटने के लिए अधिक समय भी मिला। अफगानिस्तान से भी चिंतित करने वाली खबरें आ रही हैं जहां राजधानी काबुल में 500 लोगों का यादृच्छिक परीक्षण (बिना क्रम के) किया गया और करीब एक तिहाई लोगों में कोरोना वायरस के संक्रमण की पुष्टि हुई। 

चीन में केवल दो नये मामले सामने आए हैं और वहां भी मंगलवार से शुरू होने वाली पांच दिन की छुट्टी से पहले घरेलू यात्राओं में ढील और पर्यटक स्थलों को खोलने के बाद बाहर निकलने वाले लोगों की संख्या बढ़ रही है। चीन के मीडिया के मुताबिक अवकाश के पहले दो दिन में बीजिंग के पार्कों में करीब 17 लाख लोग आए जबकि शंघाई के पर्यटक स्थलों को दस लाख से अधिक लोगों ने इस अवधि में देखा। हालांकि, कई स्थानों पर क्षमता से केवल 30 प्रतिशत या कम लोगों को आने की अनुमति है ताकि सामाजिक दूरी का अनुपालन किया जा सके। 

इटलीवासी सोमवार का इंतजार कर रहे हैं जब पूरे देश में टहलने, जॉगिंग करने और साइकिल चलाने के लिए सार्वजनिक उद्यानों को खोला जाएगा लेकिन सूरज निकलने और गर्म मौसम होने की वजह से कई लोगों को रविवार को भी सड़कों पर टहलते और बातचीत करते हुए देखा गया। कई लोगों के चेहरे पर मास्क था लेकिन रोम में कुछ लोग मास्क हटाकर दोस्तों और पड़ोसियों से नजदीक से बातचीत करते हुए दिखे। इटली में लागू लॉकडाउन में ढील के बावजूद इटलीवासियों को एक मीटर की दूरी बनाकर रखनी होगी और पिकनिक मनाने की अनुमति नहीं होगी एवं न ही खेल के मैदान खोले जाएंगे। 

इटली के प्रधानमंत्री ग्यूसेप कोंटे ने चेतावनी दी है कि अगर संक्रमण की दर बढ़ी तो इस तरह की आजादी में कटौती की जा सकती है। स्पेन में 14 मार्च को शुरू हुए लॉकडाउन के बाद पहली बार इस सप्ताहांत कई लोग घरों से बाहर निकले। ब्रिटेन में प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन पर इस बात का खुलासा करने का दबाव है कि 23 मार्च से देश में लागू लॉकडाउन से कैसे बाहर निकला जाएगा। पाबंदियों के कम से कम बृहस्पतिवार तक लागू रहने की उम्मीद है लेकिन रोजाना सैकड़ों लोगों की कोविड-19 से हो रही मौतों को देखते हुए यह स्पष्ट नहीं है कि कैसे देश में सुरक्षित तरीके से पाबंदियों में ढील दी जाएगी। ब्रिटेन में गत दो दिनों से स्पेन और इटली के मुकाबले दोगुनी मौतें दर्ज की जा रही हैं। 

ब्रिटेन में कोरोना वायरस से सबसे अधिक मौतें होने की आशंका के बीच ब्रिटिश सरकार कड़ी आलोचना का सामना कर रही है। ब्रिटिश स्वास्थ्य कर्मियों ने भी स्पष्ट किया है कि कोविड-19 के मरीजों के इलाज के दौरान इस्तेमाल होने वाले व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण (पीपीई) किट की कमी है। मास्क दुनिया भर में व्यापक रूप से पहना जा रहा है फिर चाहे स्पेन में धावक हों या अमेरिका के दक्षिण में समुद्र तट पर जाने वाले लोग हों। न्यूयॉर्क शहर के सेंट्रल पार्क में, जॉगिंग करने वाले भी एक दूसरे से दूरी बनाकर जॉगिंग कर रहे हैं। न्यूयॉर्क के पड़ोसी न्यू जर्सी में सरकारी पार्क दोबारा खुल गए हैं। हालांकि, कई पार्कों ने पार्किंग क्षमता 50 फीसदी की सीमा पर पहुंचने के बाद लोगों को लौटा दिया। 

अमेरिका लॉकडाउन के मामले पर बंटा हुआ है। एक वर्ग चाहता है कि लॉकडाउन को खत्म किया जाए जबकि दूसरा वर्ग लॉकडाउन का दायरा कांग्रेस तक बढ़ाने की मांग कर रहा है। रिपब्लिकन पार्टी के बहुमत वाले सीनेट में सोमवार को कार्यवाही शुरू होगी जबकि डेमोक्रेटिक पार्टी के नियंत्रण वाली प्रतिनिधि सभा की कार्यवाही स्थगित रहेगी। सीनेट में बहुमत दल के नेता मिच मैक्कॉनेल ने 100 सीनेटरों की बैठक बुलाकर रिपब्लिकन राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के उस रुख का समर्थन किया है कि अमेरिका को स्वास्थ्य चिंताओं और जांच की कमी के बावजूद काम पर लौटना पड़ेगा। 

भारत में वायुसेना के हेलीकॉप्टरों ने रविवार को कोरोना वायरस की महामारी के खिलाफ अग्रिम पंक्ति में लड़ रहे चिकित्सकों,नर्सों और पुलिस कर्मियों को धन्यवाद ज्ञापित करने के लिए विभिन्न शहरों के अस्पतालों पर पुष्प वर्षा की। अमेरिकी नौसेना और वायुसेना के लड़ाकू विमानों ने स्वास्थ्य कर्मियों को सम्मानित करने के लिए अटलांटा, बाल्टीमोर और वाशिंगटन के ऊपर से शनिवार को उड़ान भरी थी। भारत में कोरोना वायरस से संक्रमण के कुल मामलों की संख्या 40 हजार के करीब पहुंच गई है। वहीं 130 करोड़ के देश में लॉकडाउन का 40वां दिन था। आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक भारत में 1,323 लोगों की मौत इस बीमारी से हो चुकी है। अफगानिस्तान के स्वास्थ्य मंत्रालय ने रविवार को बताया कि राजधानी काबुल में 500 लोगों की जांच की गई जिनमें से 156 के कोरोना संक्रमित होने की पुष्टि हुई। 

मंत्रालय के प्रवक्ता वाहिद मायार ने काबुल में संक्रमण के इन मामलों को चिंताजनक बताते हुए कहा कि अगर सरकार अधिक जांच करने में सफल हुई तो निश्चित तौर पर और अधिक मामले आएंगे। वहीं रूस के अधिकारियों ने बताया कि रविवार को कुल सामने आए 10,633 मामलों में आधे से अधिक मॉस्को से आए हैं। इससे यह चिंता बढ़ गई है कि कहीं मॉस्को की चिकित्सा सुविधाएं धराशायी न हो जाए। उल्लेखनीय है कि रूस में रिकॉर्ड 1,24,000 लोग कोरोना वायरस से संक्रमित हुए हैं जबकि 1,222 लोगों की मौत हो चुकी है। हालांकि, विशेषज्ञों का मानना है कि सरकार द्वारा घोषित संक्रमितों की संख्या वास्तविक संख्या से कहीं कम है। 

अमेरिका के जॉन्स हॉप्किन्स विश्वविद्यालय के अनुसार दुनिया में 34 लाख कोरोना वायरस से संक्रमित हुए हैं और 2,44,000 लोगों की मौत हुई है। इनमें से 66,000 से अधिक लोगों की मौत अकेले अमेरिका में हुई है। यूरोप में 1,39,000 से अधिक लोगों की कोरोना वायरस से मौत की पुष्टि हुई है। इनमें से इटली और ब्रिटेन में 28 हजार से अधिक मौतें हुई जबकि फ्रांस और स्पेन में 25 हजार से अधिक लोगों ने जान गंवाई है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि अगर असाधारण तरीके से जांच में वृद्धि नहीं की गई तो संक्रमण का दूसरा दौर आ सकता है। वहीं लॉकडाउन में ढील देने के लिए सरकारों पर भारी दबाव है क्योंकि हफ्तों लंबे लॉकडाउन की वजह से दुनिया भर में कारोबार पर विपरीत असर पड़ा है और वैश्विक अर्थव्यवस्था में 1930 की महामंदी के बाद सबसे बड़ी गिरावट आई है जिससे करोड़ों लोगों की नौकरियां चली गई हैं।

Latest World News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। Europe News in Hindi के लिए क्लिक करें विदेश सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement