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विदेशों में जारी किए जाने वाले सरकारी बांड पर वित्त मंत्रालय करे अध्ययन: PMO

कई विशेषज्ञों द्वारा चिंता जताए जाने को देखते हुए प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) ने वित्त मंत्रालय से कहा है कि वह विदेशों में जारी किए जाने वाले सरकारी बांड पर एक विस्तृत अध्ययन करे।

India TV Business Desk Written by: India TV Business Desk
Updated on: July 26, 2019 7:37 IST
Foreign sovereign bonds- India TV Paisa
Photo:TWITTER

Foreign sovereign bonds

नयी दिल्ली। कई विशेषज्ञों द्वारा चिंता जताए जाने को देखते हुए प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) ने वित्त मंत्रालय से कहा है कि वह विदेशों में जारी किए जाने वाले सरकारी बांड पर एक विस्तृत अध्ययन करे। पीएमओ के अनुसार, पूर्व बैंकरों और अर्थशास्त्रियों द्वारा इस संबंध में उठाए गए मसलों की जांच करने के बाद ही बजट के प्रस्ताव को लागू करने पर अंतिम फैसला किया जाना चाहिए। पीएमओ ने वित्त मंत्री को किसी योजना पर आगे बढ़ने से पहले हितधारकों से परामर्श करने को कहा है।

सूत्रों ने जानकारी दी कि प्रधानमंत्री कार्यालय ने वित्त मंत्रालय से इसे लेकर भारतीय रिजर्व बैंक के पूर्व गवर्नरों और डिप्टी गवर्नरों द्वारा जतायी गयी चिंता का विश्लेषण करने के लिए कहा है। वित्त मंत्रालय के अधिकारियों ने बताया कि सरकार सॉवरेन बांड के जरिए प्रस्तावित 7.1 लाख करोड़ रुपये उधारी का करीब 10-15 फीसदी इस वित्त वर्ष में जुटा सकती है। प्रस्तावित बांड के निर्माता पूर्व वित्त सचिव सुभाष चंद्र गर्ग थे। मुख्य आर्थिक सलाहकार कृष्णमूर्ति सुब्रमणिन ने कहा था कि यह अच्छा मौका है कि भारत को विदेशी सॉवरेन बांड से काफी सस्ती दर पर कर्ज जुटाना चाहिए। हालांकि गर्ग का तबादला ऊर्जा मंत्रालय में हो गया है।

उल्लेखनीय है कि वित्त वर्ष 2019-20 के बजट में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने घोषणा की थी कि सरकार अपने कर्ज का एक हिस्सा विदेशी मुद्रा में सरकारी बांड विदेशी बाजारों में जारी कर जुटाएगी। इसका कई अर्थशास्त्रियों, विशेषज्ञों और यहां तक कि राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की आर्थिक शाखा स्वदेशी जागरण मंच ने भी विरोध किया है।

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