कोलकाता में सब्जियों की बढ़ती कीमतों ने आम आदमी का जीना मुहाल किया हुआ है और हालात का अंदाजा आप इसी बात से लगा सकते हैं कि मटर और अदरक जैसी चीजों की कीमतें आसमान छू रही हैं।
पिछले दिनों घरेलू एलपीजी (LPG gas cylinder prices) की कीमतों में 200 रुपये प्रति सिलेंडर की कटौती कर दी गई। इससे एलपीजी की मुद्रास्फीति सितंबर में घटकर (-) 12.7 प्रतिशत हो गई। अगस्त में यह 4.2 प्रतिशत थी।
आजकल मार्केट में आसानी से हरी सब्जियां मिल जाती है। क्या आपको पता है कि ये सभी सब्जियां जहरीली हो गई है। हां सही पढ़ रहे हैं। आपके घरों में बनने वाली सब्जियां अब जहरीली बन चुकी है।
इस बार त्योहारी सीजन में सब्जियों की कीमतों में कमी आने की उम्मीद कम है। रिजर्व बैंक ने अपनी मौद्रिक नीति में आशंका जताई है कि सर्दियों की सप्लाई शुरू होने तक सब्जियों की कीमतें ऊपरी स्तर पर बनी रह सकती हैं।
थोक मूल्य सूचकांक पर आधारित मुद्रास्फीति आगामी महीनों में और नीचे आएगी। 2018 में यह औसतन 2.8 प्रतिशत पर रहेगी। नोमूरा ने यह अनुमान जताया गया है।
राष्ट्रीय बागवानी बोर्ड द्वारा जारी किए गए आंकड़े दर्शाते हैं कि महाराष्ट्र के एपीएमसी में नवंबर माह के दौरान सब्जियों की कीमतों में भारी गिरावट आई।
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