
जब आप पढ़ाई करते हैं फिर अपना करियर शुरू करते हैं तो इसके बाद एक घर खरीदने के सपने को पंख लगने शुरू हो जाते हैं। ज्यादातर लोगों की ख्वाहिश होती है कि एक घर अपना हो। इसके लिए आपको काफी तैयारी करनी होती है। प्लानिंग करनी होती है। तब जाकर आप अपना घर खरीद पाते हैं। अगर आप अपना पहला घर खरीदने की सोच रहे हैं तो आपको इसके लिए पहले से कुछ तैयारियां करनी चाहिए, ताकि आगे आपके लिए किसी तरह की परेशानी न आए। इसके लिए आपको कुछ खास बातों पर गौर करना चाहिए।
अपनी वित्तीय क्षमता को समझें
पहला घर खरीदने के फैसले से पहले आपको अपनी वित्तीय क्षमता और अपनी वित्तीय सेहत का आकलन करना चाहिए। अपनी इनकम, खर्च और बचत तय करें। यह कैलकुलेट करें कि आप मासिक किस्त (ईएमआई) के लिए कितना फंड आराम से अलॉट कर सकते हैं। टाटा हाउसिंग के मुताबिक, सामान्य नियम यह है कि आपकी ईएमआई आपकी शुद्ध इनकम के 30% से अधिक नहीं होनी चाहिए।
डाउनपेमेंट के लिए बचत करें
घर खरीदते समय जितना संभव हो सके डाउनपेमेंट कर देना चाहिए और बाकी अमाउंट के लिए होम लोन लेना चाहिए। डाउन पेमेंट के लिए बचत करें। एक बड़ा डाउन पेमेंट आपके लोन की राशि और ब्याज के बोझ को काफी कम कर सकता है। संपत्ति के मूल्य का कम से कम 20-30% बचाने का टारगेट रखें। इस फंड को बनाने के लिए रेकरिंग डिपोजिट या सिस्टमैटिक इन्वेस्टमेंट प्लान (एसआईपी) जैसे ऑप्शन पर विचार कर सकते हैं।
होम लोन विकल्पों को तलाशें
अगर आपको पहला घर खरीदने के लिए डाउनपेमेंट की रकम के अलावा होम लोन लेने की जरूरत हो तो अलग-अलग बैंकों या उधारदाताओं पर शोध करें, और ब्याज दरों, अवधि विकल्पों और छिपे हुए शुल्कों की तुलना जरूर करें। प्रधान मंत्री आवास योजना जैसी सरकार समर्थित योजनाएं अतिरिक्त लाभ प्रदान कर सकती हैं।
छिपे हुए खर्च का जरूर रखें ध्यान
घर खरीदने में कई बार ऐसे खर्च आपके सामने आ सकते हैं जिसके बारे में आपको शायद पहले से पता न हो। इस वजह से छिपी हुई लागतों को ध्यान में रखें। पहली बार घर या प्रॉपर्टी की लागत और संपत्ति खरीदने के लिए किसी भी लोन के अलावा, कई खर्चे सामने आएंगे जैसे स्टाम्प ड्यूटी, रजिस्ट्रेशन शुल्क, प्रॉपर्टी टैक्स और मेंटेनेंस कॉस्ट आवश्यक विचार हैं। इनके लिए बजट बनाना वित्तीय आश्चर्यों से बचाएगा।
कानूनी विशेषज्ञ से सलाह कर सकते हैं
रियल एस्टेट डेवलपर्स और होम फाइनेंस की जटिल दुनिया में नेविगेट करना भारी पड़ सकता है। समझदारी इसमें भी है कि आप एक वित्तीय सलाहकार या कानूनी विशेषज्ञ से सलाह लें। वह मूल्यवान जानकारी प्रदान कर सकता है। वह आपको बाजार के रुझान, कानूनी निहितार्थ और कर लाभों को समझने में मदद कर सकते हैं।
(Disclaimer: यह न्यूज सिर्फ जानकारी के लिए है। निवेश से पहले अपने वित्तीय सलाहकार से सलाह जरूर लें।)