बद्रीनाथ धाम के कपाट आज सुबह 6.15 बजे श्रद्धालुओं के लिए खोल दिए गए। इस दौरान भगवान बद्री विशाल के दर्शन के लिए काफी संख्या में श्रद्धालु वहां मौजूद रहे। पूरे विधि-विधान, मंत्रोच्चार और सेना बैंड की धुनों के साथ भगवान के कपाट खोले गए।
चारधाम यात्रा अभी यात्रा शुरू भी नहीं हुई है, मगर यात्रा रूट पर लगे सभी वाहन फुल हो गए हैं। यहां तक कि जीएमवीएन के ज्यादातर गेस्ट हाउस भी बुक हो चुके हैं। पर्यटकों को वाहनों की बुकिंग के लिए 15 दिन बाद का समय दिया जा रहा है।
इस साल तो केदारनाथ धाम में भी परिसर से बर्फ हटाने की जरूरत ही नहीं पड़ी, क्योंकि यहां जमी बर्फ पिघल चुकी है। इसके अलावा गंगोत्री और यमुनोत्री में नाममात्र की बर्फ रह गई है। मौसम वैज्ञानिकों का कहना है कि अगर बारिश नहीं हुई और इसी तरह गर्मी पड़ती रही तो ऊंची चोटियां भी बर्फविहीन हो जाएंगी।
भगवान बद्रीनाथ धाम के कपाट बंद होने की तिथि घोषित कर दी गई है। साथ ही चारधाम यात्रा के समापन की जानकारी भी दी गई है।
दिल्ली से आये हौंडा परिवार को गुरुवार को बद्रीनाथ से मात्र 14-15 किलोमीटर पहले पाण्डुकेश्वर में रोक दिया गया।
बदरीनाथ धाम के कपाट शीतकाल के लिए 19 नवंबर को बंद किए जाएंगे। इसके साथ ही, उत्तराखंड में इस वर्ष की चारधाम यात्रा का समापन हो जाएगा।
चमोली की जिलाधिकारी स्वाति भदौरिया की अध्यक्षता मे सोमवार को हुई एक बैठक में मंदिर व्यवस्था से जुड़े लोगों ने एकमत से यह निर्णय लिया।
प्रधानमंत्री की ओर से यह पूजा विश्व शांति और विश्व को निरोग बनाने की प्रार्थना के साथ की गई।
देवभूमि उत्तराखंड में स्थित बद्रीनाथ धाम लोगों की प्रमुख आस्था का केंद्र है। दो पर्वतों के बीच स्थित ये मंदिर अपनी अनोखी छटा के लिए काफी प्रसिद्ध है।
15 मई को बद्रीनाथ मंदिर के द्वार खोले जाएंगे और मंदिर में मुख्य पुजारी सहित कुल 27 लोगों को अनुमति दी जाएगी।
इन लोगों ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री के स्वर्गीय पिता के पितृ कार्य के लिए बद्रीनाथ धाम जाने का हवाला देकर यात्रा पास हासिल किया था।
आपको बता दें कि बदरीनाथ और केदारनाथ के कपाट पहले अप्रैल में खुलने वाले थे, लेकिन अब इनकी तिथि आगे बढ़ा दी गई है। जानें किस दिन खुल रहे है कपाट।
महाशिवरात्रि के खास अवसर में केदरानाथ धाम और बद्री नाथ धाम के कपाट खुलने की तिथि सामने आ गई है।
उत्तराखंड के उच्च हिमालयी क्षेत्र में स्थित विश्व प्रसिद्ध बदरीनाथ धाम के कपाट रविवार को शीतकाल के लिये श्रद्धालुओं के दर्शन हेतु बंद कर दिये गये।
दीवाली के बाद एक बार फिर से बाबा केदारनाथ के साथ-साथ बद्रीनाथ, मद्महेश्वर के साथ अन्य धामों के कपाट बंद कर दिए जाएंगे।
Chandra Grahan 2019: शास्त्रों के अनुसार चंद्रग्रहण का सूतक ग्रहण से 9 घंटे पहले शुरू हो जाता है। जिसके साथ भी कोई भी शुभ काम करने के अलावा मंदिरों की पूजा होना बंद हो जाती है।
उत्तराखंड के चार धाम यात्रा के दौरान चमोली-बद्रीनाथ हाइवे पर कई किलोमीटर लंबा जाम लग गया है। कार, मिनी से लेकर बड़ी बसों के जमावड़े के चलते शनिवार को घाटी से पहाड़ी तक लंबा जाम लगा हुआ है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को केदारनाथ मंदिर में पूजा अर्चना करने के बाद कहा कि भगवान केदारनाथ का आशीर्वाद भारत और संपूर्ण मानव जाति पर बना रहे।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने केदारनाथ के बाद रविवार को बद्रीनाथ मंदिर में भगवान बदरी विशाल के दर्शन किये और पूजा अर्चना की। सुबह केदारनाथ के दर्शन करने के बाद प्रधानमंत्री बद्रीनाथ पहुंचे।
केदारनाथ मंदिर में पूजा अर्चना के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ध्यान गुफा पहुंचे और ध्यान में लीन हो गए। पीएम नरेंद्र मोदी देश की सुख-समृद्धि के लिए ध्यान साधना कर रहे हैं। ध्यान गुफा में पहुंचने के लिए पीएम नरेंद्र मोदी बारिश के बीच ही करीब 2 किलोमीटर पैदल चले।
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