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शिंदे सरकार ने विधानसभा चुनाव से पहले चले कई दांव, मीटिंग कर दी 38 फैसलों को मंजूरी

महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव से पहले राज्य सरकार ने अपनी आखिरी बैठक कर ली है। इस बैठक में उन्होंने कुल 38 प्रस्तावों को पास किया है।

Edited By: Shailendra Tiwari @@Shailendra_jour
Published : Oct 11, 2024 16:31 IST, Updated : Oct 11, 2024 16:31 IST
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Image Source : PTI शिंदे सरकार ने विधानसभा चुनाव से पहले चले कई दांव

राज्य में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं, ऐसे में आचार संहिता लागू होने से पहले संभवतः अपनी अंतिम बैठकों में से महाराष्ट्र मंत्रिमंडल ने अन्य पिछड़ा वर्ग, आदिवासियों, अल्पसंख्यकों और यहां तक ​​कि पत्रकारों को भी खुशखबरी दी है। सरकार ने कैबिनेट मीटिंग में रिकॉर्ड 80 निर्णय लिए और उनमें से 38 को कैबिनेट ने मंजूरी दे दी।

ओबीसी वर्ग के लिए बढ़ाई लिमिट

इनमें अन्य पिछड़ा वर्ग को लुभाने के लिए राज्य मंत्रिमंडल ने केंद्र से ओबीसी वर्ग के लिए नॉन-क्रीमी लेयर की लिमिट ₹8 लाख से बढ़ाकर ₹15 लाख करने की सिफारिश की है। आदिवासी समुदाय के लिए शबरी आदिवासी वित्त निगम ने राज्य सरकार की गारंटी को 50 करोड़ से बढ़ाकर 100 करोड़ कर दिया है।

अल्पसंख्यकों के लिए भी कई रियायतें

इतना ही नहीं मंत्रिमंडल ने अल्पसंख्यकों के लिए भी कई रियायतें दी हैं। सरकार ने मौलाना आज़ाद अल्पसंख्यक वित्तीय विकास निगम का बजट भी 700 करोड़ से बढ़ाकर 1,000 करोड़ कर दिया गया है। साथ ही मदरसा शिक्षकों (जिनके पास बैचलर ऑफ़ एजुकेशन और डिप्लोमा इन एजुकेशन की डिग्री है) के वेतन को दोगुना से भी ज़्यादा करने का फ़ैसला लिया। डीएड वाले शिक्षकों को अब ₹6,000 का भुगतान किया जा रहा है, उन्हें अब ₹16,000 का भुगतान किया जाएगा, जबकि बीए, बीएड शिक्षकों को अब ₹8,000 से बढ़ाकर ₹18,000 मिलेंगे।

समुदायों के लिए अलग-अलग निगम

राज्य ने वाणी-वाणी, लोहार, शिम्पी, गावली और नाथ पंथ जैसे समुदायों के लिए अलग-अलग निगम बनाने की भी घोषणा की है। राज्य ने इन निगमों के लिए 50 करोड़ रुपये आवंटित भी किए हैं। राज्य ने सरकारी परियोजनाओं के कारण विस्थापित लोगों के पुनर्वास की देखभाल के लिए एक निगम बनाने का भी फैसला किया है। साथ ही राज्य ने आंगनवाड़ियों में 345 शिशुगृह बनाने का भी फैसला लिया है।

पत्रकारों को दी ये सुविधा

इसके अलावा सरकार ने पत्रकारों को लुभाने के लिए भी एक निगम बनाने का भी फैसला किया है, जबकि अखबार हॉकरों के लिए एक और निगम बनाया गया है। इसके अलावा बांद्रा में सरकारी कर्मचारियों को घर के लिए जमीन भी दी जाएगी। राज्य सरकार ने इसके अलावा, उद्योग रत्न पुरस्कार में रतन टाटा का नाम जोड़ने का भी फैसला किया है। बता दें कि उद्योग रत्न पुरस्कार उन लोगों को दिया जाता है जो देश के आर्थिक विकास में योगदान देते हैं।

रतन टाटा को भारत रत्न देने की मांग

साथ ही मीटिंग में कैबिनेट ने एक प्रस्ताव भी पारित किया जिसमें केंद्र से रतन टाटा को देश के सर्वोच्च नागरिक सम्मान भारत रत्न से सम्मानित करने का आग्रह किया गया। बन रहे उद्योग भवन का नाम भी दिवंगत उद्योगपति के नाम पर रखा जाएगा।

शायद आखिरी मीटिंग- गिरीश महाजन

वहीं, कैबिनेट बैठक के बाद बीजेपी मंत्री गिरीश महाजन ने कहा, "लंबे समय से सीमा बढ़ाने की मांग की जा रही थी। यह जायज मांग थी क्योंकि कीमतें बढ़ गई हैं। मुझे लगता है कि यह किसी को खुश करने के लिए नहीं है, बल्कि यह तथ्यात्मक स्थिति पर आधारित है।" उन्होंने कहा कि गुरुवार की कैबिनेट बैठक शायद आखिरी है क्योंकि अगले चार दिनों में आचार संहिता लागू हो जाएगी।

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