Friday, April 26, 2024
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ज्येष्ठ माह की विनायक चतुर्थी पर बन रहा 3 शुभ संयोग, यूं करें पूजा, गणपति-संकटमोचन की साथ बरसेगी कृपा

Vinayaka Chaturthi 2023: भगवान गणेश को खुश करने के लिए आपको कैसे पूजा करनी चाहिए जानिए आचार्य इंदु प्रकाश से। साथ ही जानिए शुभ मुहूर्त, खास संयोग और महत्व।

Sushma Kumari Edited By: Sushma Kumari @ISushmaPandey
Published on: May 23, 2023 8:36 IST
Vinayaka Chaturthi 2023- India TV Hindi
Image Source : PIXABAY Vinayaka Chaturthi 2023

Vinayaka Chaturthi 2023:  प्रत्येक महीने के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को संकष्टी श्री गणेश चतुर्थी और शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि को वैनायकी श्री गणेश चतुर्थी का व्रत किया जाता है और आज शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि है। ऐसे में आज ही वैनायकी श्री गणेश चतुर्थी व्रत किया जाएगा। सबसे खास बात यह है कि आज मंगलवार का दिन भी है और किसी भी पक्ष की चतुर्थी तिथि जब मंगलवार के दिन पड़ती है, तो अंगारकी चतुर्थी होती है। यानि कि 23 मई को अंगारकी वैनायकी श्री गणेश चतुर्थी है। 

अंगारकी चतुर्थी कर्ज से छुटकारा पाने के लिए बड़ी ही प्रशस्त है।  दरअसल, अंगारकी चतुर्थी अंगारक शब्द से बनी है और अंगारक मंगल का ही एक नाम है और मंगल का सीधा संबंध कर्ज से है। साथ ही व्यक्ति की ऊर्जा और बल से है। ऐसे में भगवान गणेश को खुश करने के लिए आपको कैसे पूजा करनी चाहिए जानिए आचार्य इंदु प्रकाश से। साथ ही जानिए  शुभ मुहूर्त, खास संयोग और महत्व 

विनायक चतुर्थी 2023 पूजा शुभ मुहूर्त

  • हिंदू पंचांग के अनुसार ज्येष्ठ माह के शुक्ल पक्ष की विनायक चतुर्थी प्रारंभ - 22 मई को रात 11 बजकर 18 मिनट से 
  • ज्येष्ठ माह के शुक्ल पक्ष की विनायक चतुर्थी समाप्त -  24 मई  को प्रातः 12 बजकर  57 मिनट पर

विनायक चतुर्थी पर बन रहा है ये 3 खास संयोग

  • रवि योग - आज प्रात: 05 बजकर 27 मिनट से दोपहर 12 बजकर 39 मिनट तक
  • ज्येष्ठ माह का तीसरा बड़ा मंगलवार आज
  • ज्येष्ठ विनायक चतुर्थी आज

विनायक चतुर्थी 2023 पूजा विधि

  • विनायक चतुर्थी का व्रत रखने वाले लोग सुबह उठकर स्नानादि करके लाला रंग का साफ सुथरा कपड़ा पहनें।
  • फिर भगवान गणेश जी को पीले फूलों की माला अर्पित करें। 
  • उसके बाद गणेश भगवान की प्रतिमा के सामने धूप दीप प्रज्वलित करके नैवेद्य, अक्षत उनका प्रिय दूर्वा घास, रोली अक्षत चढ़ाएं।  
  • इसके बाद भगवान गणेश को भोग लगाएं। 
  • आखिरी में व्रत कथा पढ़कर गणेश जी की आरती करें। 
  • फिर शाम को व्रत कथा पढ़कर चंद्रदर्शन करने के बाद व्रत को खोलें।

विनायक चतुर्थी का महत्व 

विनायक चतुर्थी के दिन भगवान गणपति की पूजा करने से वे प्रसन्न होते हैं। भक्तों के कार्यों में आने वाले संकटों को दूर करते हैं। उनकी कृपा से व्यक्ति के कार्य बिना विघ्न बाधा के पूर्ण होते हैं। वे शुभता के प्रतीक हैं और प्रथम पूज्य भी हैं, इसलिए कोई भी कार्य करने से पूर्व श्री गणेश जी की पूजा की जाती है। 

(आचार्य इंदु प्रकाश देश के जाने-माने ज्योतिषी हैं, जिन्हें वास्तु, सामुद्रिक शास्त्र और ज्योतिष शास्त्र का लंबा अनुभव है। इंडिया टीवी पर आप इन्हें हर सुबह 7.30 बजे भविष्यवाणी में देखते हैं।)

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