नई दिल्ली: उपराज्यपाल अनिल बैजल के आदेश पर दिल्ली सरकार के सूचना एवं प्रचार निदेशालय ने आप संयोजक अरविंद केजरीवाल को दिल्ली सरकार की तरफ से विज्ञापन पर खर्च की गई राशि वसूली का नोटिस जारी किया है। निदेशालय ने केजरीवाल को 97 करोड़ 14 लाख 69 हजार 137 रपए का रिकवरी नोटिस जारी किया। (‘बेगम जान’ की जमीन की कहानी जहां टके में बिकती है बच्चियां...)
देश में ऐसा पहली बार हुआ है, जब किसी मुख्यमंत्री को उसी के सरकारी विभाग ने पैसा देने के लिए रिकवरी नोटिस जारी किया है। विभाग ने दिल्ली प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अजय माकन द्वारा दायर याचिका पर हाई कोर्ट में फैसले का हवाला देते हुए यह कार्रवाई की है। आरोप है कि केजरीवाल सरकार ने सुप्रीम कोर्ट द्वारा निर्धारित विज्ञापन नीति का उल्लंघन किया है।
अदालत के अगस्त 2016 के आदेश पर उपराज्यपाल ने विज्ञापन नीति का अनुपालन सुनिश्चित करने के लिए सुप्रीम कोर्ट द्वारा गठित तीन सदस्यीय निगरानी समिति को जांच में गलत पाए विज्ञापनों पर खर्च की गई राशि का आकलन करने को कहा था।
सुप्रीम कोर्ट के निर्देशों का उल्लंघन बताकर सरकारी विज्ञापन सामग्री विनियमन पर गठित समिति ने ये राशि वसूली के निर्देश सरकार को दिए थे। इसमें सरकारी धन का दुरुपयोग करके पार्टी को फायदा पहुंचाने की बात कही गई थी।
एमसीडी चुनाव के बीच में जारी इस नोटिस से सरकार और राजनिवास के बीच टकराव की संभावना और बढ़ गई है। अनिल बैजल ने इससे पहले नियमों को दरकिनार करके आप को आवंटित ऑफिस रद्द किया था। इससे पूर्व वन रैंक वन पेंशन मामले में आत्महत्या करने वाले पूर्व सैनिक को एक करोड़ रुपये का मुआवजा देने के कैबिनेट फैसला भी उपराज्यपाल ने नामंजूर कर दिया था।
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