चालू वित्त वर्ष 2017-18 में अप्रैल से लेकर नवंबर तक की अवधि में देश के डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन में 14.4 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई है। इससे पिछले साल नवंबर में की गई नोटबंदी का असर अब पूरी तरह से खत्म होने का संकेत मिलता है।
देश में जीएसटी नामक नई इनडायरेक्ट टैक्स व्यवस्था लागू करने के बाद नरेंद्र मोदी सरकार अब दशकों पुरानी डायरेक्ट टैक्स व्यवस्था को बदलने जा रही है।
चालू वित्त वर्ष के पहले सात महीनों में डायरेक्ट टैक्स के रूप में 4.39 लाख करोड़ रुपए प्राप्त हुए, जो पिछले साल की समान अवधि की तुलना में 15.2% अधिक है।
इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने करदाताओं के लिए ऑनलाइन चैट की सुविधा शुरू की है ताकि वे डायरेक्ट टैक्स से जुड़े मुद्दों को लेकर शंकाएं दूर कर सकें।
2017-18 की पहली छमाही के दौरान डायरेक्ट टैक्स उगाही 15.8 फीसदी बढ़कर 3.86 लाख करोड़ रुपए दर्ज की गई है
अप्रैल से जुलाई के दौरान कुल 1.90 लाख करोड़ रुपए का डायरेक्ट टैक्स इकट्टा हुआ है जो वित्तवर्ष 2017-18 के लिए तय हुए डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन का 19.5 फीसदी है
देश में आयकर संग्रह (इनकम टैक्स क्लेक्शन) 15 जून तक 26.2 प्रतिशत बढ़कर 1,01,024 करोड़ रुपए रहा जो एक वर्ष पूर्व इस अवधि में 80,075 करोड़ रुपए था।
सरकार ने 2016-17 के दौरान टैक्स कलेक्शन के प्रोविजनल आंकड़े जारी किए हैं। इस अवधि में कुल नेट टैक्स रेवेन्यू 18 फीसदी बढ़कर 17.10 लाख करोड़ रुपए हो गया।
सरकार की महत्वकांक्षी टैक्स विवाद समाधान योजना को लेकर कंपनियों का रूख एक तरह से ठंडा रहा। इसके तहत केवल 1,200 करोड़ रुपए की वसूली हो सकी है।
इनडायरेक्ट टैक्स कलेक्शन चालू वित्त वर्ष में अप्रैल-फरवरी में 22.2 प्रतिशत बढ़ गया, जबकि डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन में 10.7 प्रतिशत वृद्धि दर्ज की गई।
अप्रैल से जनवरी के बीच सरकार को इनडायरेक्ट टैक्स से मिलने वाला रेवेन्यू 23.9 प्रतिशत बढ़ा है, जबकि डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन 10.79 प्रतिशत अधिक हुआ है।
सरकार नोटबंदी के बाद बने हालात को देखते हुए अर्थव्यवस्था को प्रोत्साहन देने के लिए आगामी बजट में डायरेक्ट टैक्स में व्यापक फेरबदल कर सकती है।
केंद्र सरकार ने शुक्रवार को डायरेक्ट टैक्स विवाद समाधान योजना की समयसीमा एक माह और बढ़ाने की घोषणा की है। अब 31 जनवरी 2017 तक योजना खुली रहेगी।
चालू वित्त वर्ष में अप्रैल से नवंबर के दौरान इनडायरेक्ट टैक्स संग्रहण में 26.2 प्रतिशत का उल्लेखनीय इजाफा हुआ है। डायरेक्ट टैक्स 15.12 प्रतिशत बढ़ा।
सरकार को टैक्स कलेक्शन में बड़ी सफलता हाथ लगी है।अप्रैल-जुलाई अवधि में डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन 24.01 प्रतिशत बढ़कर 1.59 लाख करोड़ रुपए रहा।
सरकार ने कहा कि डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन चालू वित्त वर्ष के पहले दो महीनों में शुद्ध रूप से 18 फीसदी उछलकर 43,391 करोड़ रुपए रहा।
डायरेक्ट टैक्स विवाद समाधान योजना एक जून से लागू हो रही है। इसके तहत विभिन्न अदालतों में लटके मामलों के समाधान पर जोर दिया जाएगा।
देश की कुल आबादी में करदाताओं की संख्या सिर्फ एक प्रतिशत हैं। हालांकि, 5,430 लोग ऐसे हैं जो सालाना एक करोड़ रुपए से अधिक का Tax देते हैं।
इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने देश में टैक्सपेयर्स की कुल संख्या, विभिन्न श्रेणी के टैक्सपेयर्स द्वारा आयकर रिटर्न में घोषित कमाई के बार में पहली बार जारी किए।
टैक्स कलेक्शन में कमी देखते हुए सरकार ने आयकर विभाग से टैक्स कलेक्शन के अभियान में तेजी लाने और टैक्स चोरी करने वालों के खिलाफ सख्ती बरतने को कहा।
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