Sunday, April 28, 2024
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पाकिस्तान में ब्रिटिश दूत के POK दौरे पर उबला भारत, कहा-"संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता का उल्लंघन नहीं होगा बर्दाश्त"

भारत ने पाकिस्तान में ब्रिटिश दूत के पीओके दौरे को सबसे घोर आपत्तिजनक करार दिया है। भारत ने कहा कि यह स्पष्ट रूप से देश की संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता का उल्लंघन है, जिसे बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। बता दें कि ब्रिटिश दूत जेन मैरियट ने 10 जून को पीओके की यात्रा की थी।

Dharmendra Kumar Mishra Edited By: Dharmendra Kumar Mishra @dharmendramedia
Updated on: January 13, 2024 17:55 IST
ब्रिटिश राजदूत मैरिएट ने किया पीओके का दौरा। - India TV Hindi
Image Source : FILE ब्रिटिश राजदूत मैरिएट ने किया पीओके का दौरा।

भारत ने पाकिस्तान में ब्रिटिश दूत के पीओके दौरे को बेहद गंभीरता से लिया है। केंद्र सरकार ने ब्रिटिश दूत के पीओके दौरे का कड़ा विरोध करते कहा कि यह 'बेहद आपत्तिजनक' है। बता दें कि इस्लामाबाद में ब्रिटिश दूत जेन मैरियट ने पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (पीओके) की 10 जनवरी को यात्रा की थी। भारत ने इस पर कड़ी आपत्ति व्यक्त की है। भारतीय विदेश मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि मैरियट की यात्रा "अत्यधिक आपत्तिजनक" है और यह "भारत की संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता का उल्लंघन" करने वाला कृत्य था। इसे कतई बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। 

विदेश सचिव विनय मोहन क्वात्रा ने इस उल्लंघन को लेकर भारत में ब्रिटिश उच्चायुक्त के समक्ष कड़ा विरोध दर्ज कराया है। विदेश मंत्रालय ने कहा, केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर और लद्दाख भारत का अभिन्न अंग हैं, हैं और हमेशा रहेंगे। उल्लेखनीय है कि पीओके की यात्रा के बाद जेन मैरियट ने एक्स पर तस्वीरें साझा की थीं और कहा था कि 70 प्रतिशत ब्रिटिश पाकिस्तानी जड़ें मीरपुर से हैं।  ब्रिटिश दूत ने कहा। "सलाम मीरपुर से है, जो ब्रिटेन और पाकिस्तान के लोगों के बीच संबंधों का केंद्र है! 70% ब्रिटिश पाकिस्तानी मूल मीरपुर से हैं, जिससे हमारा एक साथ काम करना प्रवासी हितों के लिए महत्वपूर्ण हो गया है। आपके आतिथ्य के लिए धन्यवाद!" उनकी यात्रा के कारण सोशल मीडिया उपयोगकर्ताओं ने भी ब्रिटिश दूत की जमकर आलोचना की और उनके इस कृत्य को "शर्मनाक" कहा।

ऋषि सुनक से कार्रवाई की मांग

सोशल मीडिया पर ब्रिटिश राजदूत के खिलाफ भारतीयों में जमकर गुस्सा फूटा। काफी संख्या में यूजर्स ने ब्रिटिश प्रधानमंत्री ऋषि सुनक से जेन मैरियट के खिलाफ कार्रवाई करने की भी मांग की। वहीं इस मामले पर भारत ने ब्रिटेन के सामने इस मुद्दे पर कड़ी आपत्ति जाहिर करते हुए इसे भारत की संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता के खिलाफ घोर उल्लंघन करार दिया है। आपको बता दें कि इसी तरह की एक घटना अक्टूबर 2023 में हुई थी, जब पाकिस्तान में अमेरिकी दूत डेविड ब्लोम ने पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में गिलगित-बाल्टिस्तान का दौरा किया था। तब भी, केंद्र सरकार ने इस मुद्दे को अमेरिकी अधिकारियों के सामने उठाया और दोहराया कि जम्मू और कश्मीर का पूरा क्षेत्र "भारत का अभिन्न अंग" है।

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