
24 जनवरी 2025 को उत्तर प्रदेश का स्थापना दिवस मनाया जा रहा है। वैसे तो उत्तर प्रदेश का गठन 24 जनवरी 1950 को हुआ था लेकिन यूपी का स्थापना दिवस 2017 से मनाया जाने लगा। योगी आदित्यनाथ सरकार ने 2017 से हर साल 24 जनवरी को उत्तर प्रदेश दिवस मनाने का ऐलान किया था। आज के उत्तर प्रदेश की नींव साल 1902 में यूनाइटेड प्रॉविंस ऑफ आगरा एंड अवध के रूप में पड़ गई थी। तभी से ही इसे शॉर्टकट में यूपी कहा जाने लगा था। आज के समय में उत्तर प्रदेश आर्थिक, राजनैतिक और सांस्क़तिक सभी रूप से भारत के सबसे अहम राज्यों में से एक है। यूपी दिवस के मौके पर आइए जनसंख्या के लिहाज से देश के सबसे बड़े सूबे से जुड़े कुछ दिलचस्प फैक्टस के बारे में जानते हैं।
1950 में मिला उत्तर प्रदेश नाम
आजादी से पहले अंग्रेजी शासन के दौर में 1902 में नार्थ वेस्ट प्रोविंस का नाम बदल कर यूनाइटेड प्रॉविंस (संयुक्त प्रांत) ऑफ आगरा एंड अवध रखा गया था। साल 1920 में यहां की राजधानी इलाहाबाद से बदलकर लखनऊ ट्रांसफर की गई। साल 1947 में यूनाइटेड प्रॉविंस को एक प्रशासनिक इकाई बनाया गया और 2 साल बाद टिहरी गढ़वाल और रामपुर की रियासतों को भी इसमें शामिल कर लिया गया। इसके बाद साल 1950 में यूनाइटेड प्रॉविंस का नाम बदल कर उत्तर प्रदेश रखा गया। 1989 में पहली बार यूपी दिवस मनाया गया था। अमरजीत मिश्र हर साल 24 जनवरी को यूपी दिवस का आयोजन करते थे। हालांकि बाद में समाजवादी पार्टी ने यूपी दिवस मनाने के प्रस्ताव को खारिज कर दिया था।
यूपी ने देश को दिए 9 प्रधानमंत्री
उत्तर प्रदेश से ही देश के कुल 9 पीएम निकले हैं। इनमें पंडित जवाहर लाल नेहरू, लाल बहादुर शास्त्री, चौधरी चरण सिंह, इंदिरा गांधी, राजीव गांधी, विश्वनाथ प्रताप सिंह, चंद्रशेखर, अटल बिहारी वाजपेयी (लखनऊ सीट) और वर्तमान में पीएम नरेंद्र मोदी (वाराणसी सीट) का नाम शामिल है। बता दें कि सुचेता कृपलानी के रूप में भारत को पहली महिला सीएम भी यूपी से ही मिली थीं। 1995 में मायावती ने पहली दलित सीएम के रूप में राज्य की बागडोर संभाली थी।
यूपी का विभाजन
वैसे तो यूपी आज भी जनसंख्या के लिहाज से देश का सबसे बड़ा राज्य है लेकिन 2000 तक उत्तराखंड भी यूपी का ही हिस्सा था। 2000 में यूपी के पहाड़ी क्षेत्रों को अलग करके नए राज्य का दर्जा दे दिया गया था। कुमाऊं और गढ़वाल के इस इलाके को उत्तरांचल कहा गया, जो बाद में उत्तराखंड कहलाया। क्षेत्रफल की दृष्टि से भी उत्तर प्रदेश देश के सबसे बड़े राज्यों में शामिल है।
राजनीतिक रूप से सबसे अहम राज्य
उत्तर प्रदेश राजनीतिक रूप से भी भारत का सबसे अहम राज्य है। राज्य में देश की सबसे ज्यादा 80 लोकसभा सीटें आती हैं। राज्य में 403 विधानसभा सीटें और राज्यसभा की भी कुल 31 सीटें हैं जो सबसे अधिक हैं।
क्या है राज्य की आर्थिक ताकत?
उत्तर प्रदेश आर्थिक, क्षेत्रफल, जनसंख्या और संस्कृति सभी मामलों में काफी ताकतवर राज्य माना जाता है। राज्य में करीब 23 करोड़ लोग निवास करते हैं जो कि एक बड़ी वर्क फोर्स हैं। उत्तर प्रदेश देश की राजधानी नई दिल्ली से सटा हुआ है। इस कारण यहां पर अनेत उद्योग और निवेश की भरमार है। राज्य में कई मल्टी नेशनल कंपनियां हैं। वहीं, क्षेत्रफल के मामले में भी यूपी बारत का चौथा सबसे बड़ा राज्य है। राज्य में गंगा, यमुना, घघ्घर जैसी अनेक नदियां हैं जो भूमि को उपजाऊ बनाती है और इसे कई फसलों के मामले में अव्वल बनाती हैं।