Sunday, April 28, 2024
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टूलकिट के तार कहां तक, साज़िश कितनी बड़ी? हर कनेक्शन हो रहा बेपर्दा

टूलकिट के तार कहां तक हैं, साज़िश कितनी बड़ी थी। हर कनेक्शन अब बेपर्दा हो रहा है और खालिस्तानी लिंक सामने आ रहा है। दिल्ली दंगों की टूल किट में एक के बाद एक कई खुलासे हो रहे हैं।

IndiaTV Hindi Desk Edited by: IndiaTV Hindi Desk
Updated on: February 15, 2021 17:23 IST
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Image Source : PTI टूलकिट के तार कहां तक हैं, साज़िश कितनी बड़ी थी। हर कनेक्शन अब बेपर्दा हो रहा है।

नई दिल्ली: टूलकिट के तार कहां तक हैं, साज़िश कितनी बड़ी थी। हर कनेक्शन अब बेपर्दा हो रहा है और खालिस्तानी लिंक सामने आ रहा है। दिल्ली दंगों की टूल किट में एक के बाद एक कई खुलासे हो रहे हैं। दिशा रवि की गिरफ्तारी के बाद दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल को निकिता जैकब और शांतनु की तलाश है। दिल्ली की कोर्ट ने निकिता जैकब और शांतनु के खिलाफ गैरजमानती वारंट भी जारी कर दिया है। खुलासा हुआ है कि खालिस्तान संगठन से जुड़े एमओ धालीवाल ने कनाडा में रह रहे अपने सहयोगी पुनीत के जरिये निकिता जैकब से संपर्क किया था। रिपब्लिक डे के पहले एक ज़ूम मीटिंग भी हुई थी जिसमें धालीवाल, निकिता और दिशा के अलावा अन्य लोग शामिल हुए थे।

निकिता के घर जाकर उसके इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स की जांच की गई

4 दिन पहले स्पेशल सेल ने पेशे से वकील निकिता के घर जाकर उसके इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स की भी जांच की थी और अगले दिन फिर आने को कहा लेकिन अगले दिन निकिता जैकब फरार हो गई। खुलासा हुआ है कि भारत में माहौल बिगाड़ने के लिए खालिस्तानी समर्थक एमओ धालीवाल ने पहली मीटिंग 11 जनवरी को की थी। ये मीटिंग ज़ूम पर हुई थी और इसमें क़रीब 70 लोग शामिल हुए थे। इनका प्लान रिपब्लिक डे के पहले ट्विटर पर सनसनी मचाने और गलत जानकारी के ज़रिए किसानों को भड़काने का था। 

हिंसा के बाद सेलिब्रिटी से संपर्क किया गया
26 जनवरी को हिंसा के बाद सेलिब्रिटी से संपर्क किया गया क्योंकि दिशा रवि ग्रेटा थनबर्ग को क़रीब 3 साल से जानती थी इसीलिए उसने ग्रेटा से संपर्क किया। पहली बार ये खुलासा हुआ कि टूल किट के लीक होने के बाद दिशा और ग्रेटा थनबर्ग के बीच बातचीत हुई। टूल किट लीक होने के बाद दिशा रवि ने ग्रेटा थनबर्ग को मैसेज किया था। दिशा ने कहा था कुछ दिन इस पर बात नहीं करनी है और वो अपने वकीलों से संपर्क करने की तैयारी कर रही थी। इस चैट में दिशा ने यूएपीए (UAPA) एक्ट के तहत एक्शन की आशंका भी ज़ाहिर कर दी थी।

इस बीच दिल्ली पुलिस की साइबर सेल के ज्वाइंट कमिश्नर प्रेम नाथ ने कहा, "जैसा आपको पता है कि 27 नवंबर 2020 से दिल्ली के बॉर्डर पर किसान आंदोलन चल रहा है। उस आंदोलन के दौरान कई प्रकार की गतिविधियां हुईं। 4 फरवरी 2021 को सोशल मीडिया मॉनिटरिंग के दौरान एक गूगल डॉक्यूमेंट टूलकिट के बारे में पता लगा, जो ट्विटर पर शेयर किया गया था।

साइबर सेल के ज्वाइंट कमिश्नर प्रेम नाथ ने कहा, "इस टूलकिट के एक भाग में Prior Action के नाम से कुछ एक्शन प्वाइंट लिखे थे। जैसे- 26 जनवरी और उससे पहले हैशटैग के द्वारा डिजिटल स्ट्राइक करना, 23 जनवरी से ट्वीट स्ट्रोम शुरू करना, 26 जनवरी को फिजिकल एक्शन। इसी डॉक्यूमेंट के दूसरे भाग में भारत के सांस्कृतिक धरोहर जैसे योग और चाय को हानि पहुंचाना और भारतीय दूतावास को टारगेट करने जैसे कार्य उल्लेखित हैं।

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