पंजाब में 26 नवंबर को किसानों के अलावा छात्र, इंजीनियर और पेंशनधारी भी विरोध प्रदर्शन करेंगे। इस वजह से लोगों को खासी परेशानी हो सकती है।
कंगना रनौत एक बार फिर मुश्किलों में घिर गई हैं। एक्ट्रेस के खिलाफ उत्तर प्रदेश के आगरा में केस दर्ज किया गया है और ये मामला राष्ट्रद्रोह का है। किसान आंदोलन वाली टिप्पणी के चलते कंगना इस बार घिरी हैं।
कंगना रनौत ने किसान आंदोलन के दौरान ऐसे एक्स पोस्ट किए थे, जिससे बवाल मच गया था। ये पूरा मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा, जहां कंगना को बड़ा झटका मिला है। कोर्ट ने उनकी याचिका सुनने से साफ मना कर दिया है। ऐसे में याचिका वापस लेनी पड़ी है।
भाजपा सांसद कंगना रनौत की याचिका को हाईकोर्ट ने खारिज कर दिया है। दरअसल साल 2021 में कंगना रनौत के खिलाफ मानहानि का केस दर्ज किया गया था। इसी मामले को खारिज करने के लिए कंगना रनौत ने कोर्ट में याचिका दायर की थी।
किसान नेता डल्लेवाल ने कहा है कि एमएसपी की मांग पूरी न होने तक किसानों का प्रदर्शन जारी रहेगा। इसके साथ ही आगामी 4 मई को केंद्र सरकार के साथ होने वाली बैठक में भी वह शामिल रहेंगे।
पंजाब के किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल ने अपनी अनिश्चितकालीन अनशन को समाप्त कर दिया है। बता दें कि इससे पहले भाजपा नेता रवनीत सिंह बिट्टू ने उनसे अनशन को खत्म करने की अपील की थी।
पुलिस ने कहा कि किसान अपने ट्रैक्टर-ट्रॉली लेकर जा सकते हैं, लेकिन उन्हें पहले अपना पहचान पत्र दिखाना होगा और इसके साथ ही दो गवाह भी साथ लाने होंगे। ट्रैक्टर ले जाने के लिए उसके डॉक्यूमेंट दिखाना जरूरी होगा।
पंजाब पुलिस ने एक साल से अधिक समय से डेरा डाले किसानों को शंभू और खनौरी सीमा से हटा दिया है। शंभू बॉर्डर आम लोगों की आवाजाही के लिए खोल दिया गया है। सड़क की मरम्मत का काम जारी है।
रातो रात दोनों बॉर्डर कराई गई खाली. 13 महीने से आंदोलन कर रहे किसानों के शेड और मंच को पुलिस ने तोड़ा. इंटरनेट सेवा की गयी बंद.
पंजाब में हो रहे किसान आंदोलन के खिलाफ पंजाब सरकार ने कार्रवाई शुरू कर दी है। इसी कड़ी में बुधवार को सरवण सिंह पंधेर और जगजीत सिंह डल्लेवाल को पुलिस ने हिरासत में ले लिया। इस घटना की कांग्रेस ने निंदा की है।
पंजाब पुलिस ने शंभू और खनौरी बॉर्डर से 13 महीने बाद किसानों को हटा दिया, और 200 से अधिक किसानों को हिरासत में लिया। पुलिस ने टेंट, शेड और मंच बुलडोज़र से हटा दिए हैं।
पंजाब सरकार ने 5 मार्च के प्रस्तावित किसान धरने से पहले कई किसान नेताओं को हिरासत में लिया है और पुलिस ने कई जगहों पर छापेमारी की है। सीएम के साथ बैठक में तल्खी के बाद किसान नेताओं ने चंडीगढ़ में विरोध प्रदर्शन की घोषणा की थी।
मंडी व्यवस्था को लेकर राकेश टिकैत ने केंद्र सरकार पर गंभीर आरोप लगाए। साथ ही उन्होंने कहा कि न्यूनतम समर्थन मूल्य के नाम पर किसानों के साथ धोखा हो रहा है।
अपनी मांगों को लेकर किसानों ने एक बार फिर से दिल्ली कूच करने का ऐलान किया है। किसानों का कहना है कि अगर 14 फरवरी की बैठक में उनकी बात विफल होती है तो वह 25 फरवरी को दिल्ली कूच करेंगे।
किसानों का विरोध प्रदर्शन तबतक जारी रहेगा, जबतक मांगें पूरी नहीं हो जातीं। डल्लेवाल बोले-अनिश्चितकालीन अनशन जारी रहेगा। जानें और क्या कहा?
पंजाब के बठिंडा जिले में कृषि भूमि के सीमांकन को लेकर किसानों और सुरक्षाकर्मियों के बीच झड़प हुई, जिसमें एक DSP की हड्डी टूट गई और उनका बॉडीगार्ड घायल हो गया। झड़प ट्रैक्टर-ट्रॉलियों की जब्ती के बाद हुई।
एसकेएम किसान संगठनों ने बैठक के बाद एकजुट होकर लड़ने पर जोर दिया। इस बैठक में तय किया गया कि एकजुट लड़ाई की रूपरेखा तैयार करने के लिए 18 जनवरी को एक और बैठक आयोजित की जाएगी।
भगवंत मान ने केंद्र पर आरोप लगाया कि वह किसानों की वास्तविक समस्याओं और उनकी मांगों पर ध्यान नहीं दे रहा। उन्होंने पूछा, केंद्र किसानों को बातचीत के लिए क्यों नहीं आमंत्रित करता है?
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि अगर प्रदर्शनकारी किसानों के चलते डल्लेवाल को सहायता नहीं मिल पा रही है तो इससे सख्ती से निपटना चाहिए। कुछ लोग किसान नेता को इस तरह से बंधक बना कर नहीं रख सकते।
सुप्रीम कोर्ट ने किसान नेता डल्लेवाल को अस्थायी अस्पताल में शिफ्ट करने का निर्देश दिया है। कोर्ट ने ये पंजाब सरकार से कहा है कि डल्लेवाल के स्वास्थ्य की निगरानी की जा सके, इसलिए उन्हें खनौरी बॉर्डर के पास मौजूद अस्थायी अस्पताल में शिफ्ट करें।
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