उत्तर पूर्वी दिल्ली लोकसभा चुनाव के नतीजों पर सबकी निगाहें टिकी हैं। इस सीट से कन्हैया कुमार और मनोज तिवारी के बीच कड़ा मुकाबला है। किसकी होगी जीत और कौन हारेगा, जानिए-
सोशल मीडिया पर वायरल हो रही एक तस्वीर में दावा किया जा रहा है कि कन्हैया कुमार अस्पताल में भर्ती हैं। ये भी दावा किया जा रहा है कि हाल ही में उनपर हमला किया गया था, जिसके बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
आप ऑफिस के बाहर कन्हैया कुमार पर स्याही फेंकी गई थी और थप्पड़ मारने की भी कोशिश हुई थी। इस मामले में दिल्ली पुलिस ने कार्रवाई की है और एक आरोपी को गिरफ्तार किया है।
उत्तर पूर्वी दिल्ली से कांग्रेस उम्मीदवार कन्हैया कुमार पर शुक्रवार को हमला किया गया। उनके साथ मारपीट की गई और उनपर स्याही फेंकी गई। ऐसे में लोग यह जानने को उत्सुक हैं कि आखिर कन्हैया पर किसने हमला किया। दरअसल हमलावर ने वीडियो बनाकर इसकी जानकारी खुद साझा की है।
उत्तर पूर्वी दिल्ली से कांग्रेस प्रत्याशी कन्हैया कुमार के साथ चुनाव प्रचार के दौरान मारपीट का मामला सामने आया है। इस घटना का वीडियो सामने आया है जिसमें दिख रहा है कि कुछ लोग कन्हैया कुमार के पास माला लेकर आते हैं। वे लोग माला पहनाने जाते हैं और उससे पहले ही उन पर हमला हो जाता है।
कांग्रेस पार्टी ने कन्हैया कुमार को उत्तर पूर्वी दिल्ली सीट से अपना उम्मीदवार बनाया है। उनका मुकाबला भाजपा नेता मनोज तिवारी से है। कन्हैया कुमार ने चुनाव आयोग के समक्ष अपनी चल और अचल संपत्ति का ब्यौरा प्रस्तुत किया है।
दिल्ली कांग्रेस में बड़ी कलह सामने आई है। अरविंदर सिंह लवली के इस्तीफा देने की वजह कहीं कन्हैया कुमार, उदित राज और दीपक बाबरिया या आम आदमी पार्टी। 10 प्वाइंट्स में जानें सबकुछ-
भारतीय जनता पार्टी के नेता एवं लोकसभा सांसद मनोज तिवारी ने अपने खिलाफ चुनाव में ताल ठोक रहे कन्हैया कुमार पर निशाना साधते हुए उन्हें 40 दिन का टूरिस्ट बताया और कहा कि उनका दिल्ली से कोई लेना देना नहीं है।
Hot seats in Lok Sabha Elections 2024: उत्तर पूर्वी दिल्ली लोकसभा सीट में पूर्वांचल के लोगों की भरमार है। इसी वजह से दोनों पार्टियों ने बिहार के नेताओं को टिकट दिया है। कांग्रेस की जीत भले ही मुश्किल हो, लेकिन कन्हैया यह मुकाबला रोचक जरूर बना देंगे।
कांग्रेस नेता कन्हैया कुमार ने एक सवाल के जवाब में कहा कि बीजेपी इस काम में लगी है कि राम को मानने वाले लोगों को कैसे ठगा जाए, इसलिए नाम तो राम का लेते हैं लेकिन काम नाथूराम के करते हैं।
कांग्रेस को दिल्ली की 7 लोकसभा सीटों में से 3 पर अपने कैंडिडेट घोषित करने हैं। इन उम्मीदवारों के नामों पर आज सीईसी ने चर्चा की है। बताया जा रहा है कि इस दौरान कन्हैया कुमार का नाम भी आया था।
कन्हैया कुमार दिल्ली की किसी लोकसभा सीट से चुनाव लड़ सकते हैं। सीईसी की बैठक जारी है। इस बीच संभावना जताई जा रही है कि कन्हैया कुमार के नाम पर मुहर लगाई जा सकती है। ऐसे कयास लगाए जा रहे हैं कि कन्हैया कुमार को मनोज तिवारी के खिलाफ उत्तर पूर्व दिल्ली सीट से मैदान में उतारा जा सकता है।
मध्य प्रदेश के ग्वालियर में कन्हैया कुमार ने उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया पर बड़ा हमला बोला। उन्होंने कहा कि जो लोग कांग्रेस को गाली दे रहे हैं वो अपने पिताजी को गाली दे रहे हैं।
Kanhaiya Kumar: कांग्रेस नेता कन्हैया कुमार ने पार्टी की 'भारत जोड़ो' यात्रा को लेकर बुधवार को दावा किया कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी द्वारा 1990 में की गई रथ यात्रा सत्ता के लिए थी, लेकिन उनकी पार्टी की यह (भारत जोड़ो) यात्रा सत्य के लिए है।
Congress Bharat Jodo Yatra: कन्याकुमारी से कश्मीर तक की इस यात्रा में चलने वाले इन 100 से ज्यादा नेताओं को ‘भारत यात्री’ नाम दिया गया है और इनमें लगभग सभी वर्गों और प्रदेशों का प्रतिनिधित्व होगा।
बिहार में दो विधानसभा सीटों पर हो रहे उपचुनाव में विपक्षी दल कांग्रेस और राज्य की सबसे बड़ी पार्टी राष्ट्रीय जनता दल (राजद) में दोस्ती टूट गई है। दोनों पार्टियां दोनों सीटों पर अपने-अपने प्रत्याशी की घोषणा कर दी है और ये 'योद्घा' अब चुनावी समर में ताल ठोकने के लिए उतरने वाले हैं।
वामपंथ की पाठशाला से निकलकर कांग्रेस के हाथ को थामने वाले 34 वर्षीय कन्हैया कोई पहले नेता नहीं हैं और शायद आखिरी भी नहीं होंगे, लेकिन चर्चा एवं विवादों से घिरे उनके पिछले कुछ वर्षों के सफर की वजह से उनका यह वैचारिक बदलाव सुर्खियों में रहा।
RJD सूत्रों का कहना है कि पार्टी इस बात से नाखुश है कि तेजस्वी यादव से सलाह किए बिना कन्हैया कुमार को कांग्रेस में शामिल कर लिया गया। आपको बता दें कि कांग्रेस RJD के नेतृत्व वाले विपक्षी गठबंधन 'महागठबंधन' का हिस्सा है जिसने 2020 के बिहार विधानसभा चुनाव में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) के खिलाफ चुनाव लड़ा था।
नरोत्तम मिश्रा ने पंजाब, राजस्थान और छत्तीसगढ़ में कांग्रेस पार्टी की कलह के लिए राहुल गांधी और प्रियंका गांधी को जिम्मेदार ठहराया।
वामपंथी विचारधारा छोड़कर छात्र नेता कन्हैया कुमार के कांग्रेस पार्टी में शामिल होने के बाद से ही यह कयास लगाए जाने लगे हैं कि कांग्रेस बिहार में कन्हैया को चेहरा बनाएगी।
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