जनरल बाजवा को नवंबर 2016 में पाक सेना प्रमुख के पद पर बैठाया गया था। यह नियुक्ति तत्कालीन पीएम नवाज शरीफ ने की थी। ऐसा माना जाता है कि बाजवा को कश्मीर मसले पर लंबा अनुभव है। उनके दोबारा चयन का भी ये ही आधार माना जा रहा है।
मोदी सरकार ने जब से जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाया है, पड़ोसी देश पाकिस्तान बौखलाया हुआ है। खबर है कि अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद से पाकिस्तानी सेना कोई खतरनाक साजिश रच रही है। इसका खुलासा सेटेलाइट से सामने आई कुछ तस्वीरों से हो रहा है।
जबरन इंटरव्यू रोके जाने से पहले आसिफ जरदारी बार-बार इमरान खान को सेलेक्टेड कह रहे थे। मतलब फौज की कठपुतली। इतना ही नहीं जरदारी के इस इंटरव्यू में एक और खुलासा होने वाला था।
अधिकारियों और स्वतंत्र समूहों के अनुसार, 2002 के बाद से आतंकी हिंसा पाकिस्तान के कारण उत्तर-पश्चिम में 50 लाख से अधिक लोग अपने घर छोड़ने के लिए मजबूर हुए और सरकार द्वारा चलाए जा रहे शरणार्थी शिविर या शांतिपूर्ण इलाकों में किराए के मकान में शरण लेने के लिए मजबूर हुए हैं।
भारत का कहना है कि पाकिस्तान के बालाकोट में जैश-ए-मोहम्मद के आतंकवादी शिविर पर हवाई हमले के अगले दिन 27 फरवरी को भारतीय वायुसेना के मिग-21 ने अमेरिका निर्मित एफ-16 को मार गिराया।
जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान में हुई एयर स्ट्राइक को लेकर एक बेहद चौंकाने वाला खुलासा हुआ है। इंडिया टीवी के पास वो दस्तावेज़ हैं जो साबित करते हैं कि बालाकोट में एयर स्ट्राइक के बाद पाकिस्तान में कैसे हड़कंप मच गया था।
सरकारी सूत्रों ने बताया कि पाकिस्तान ने 155 एमएम तोपों से नौशेरा सेक्टर में अग्रिम चौकियों को निशाना बनाया जिसका जवाब भारतीय सेना ने बोफोर्स तोप से दिया।
पाकिस्तान सिर्फ अपनी सेना को युद्ध के लिए एकत्र कर बदला ले सकता है, जिसे रात भर में नहीं किया जा सकता। इस तथ्य पर विचार करते हुए कि भारत में कोई आतंकवादी शिविर नहीं है, पाकिस्तान वायुसेना को जवाबी कार्रवाई के लिए काफी साहस की जरूरत होगी।
भारतीय वायुसेना (आईएएफ) के लड़ाकू विमानों ने मंगलवार तड़के पाकिस्तान में जैश-ए-मोहम्मद (जेईएम) के सबसे बड़े प्रशिक्षण शिविर पर हमला किया और बड़ी संख्या में आतंकवादियों व उनके प्रशिक्षकों को मार गिराया।
जैश-लश्कर और हिज्बुल के 20 आतंकियों ने एक साथ बैठकर कश्मीर में हमले की रणनीति तैयार की। पाकिस्तानी आर्मी का मेजर मीर कासिम भी आतंकियों की इस बैठक में शामिल था।
पुलवामा में हुए आत्मघाती हमले के बाद भारत की करवाई से डरे हुए पाकिस्तान ने लाइन ऑफ कंट्रोल (एलओसी) पर सेना और तोपखाने का जमावड़ा बढ़ा दिया है।
सभी को पता है कि पुलवामा हमले का मास्टरमाइंड मौलाना मसूद अजहर पाकिस्तानी सेना और उसकी खुफिया एजेंसी का बच्चा है। सिर्फ मसूद ही नहीं, हाफिज सईद, सलाउद्दीन समेत तमाम दहशतगर्दों को पाकिस्तानी आर्मी और वहां की हुकूमत की सरपस्ती हासिल है।
सर्वोच्च न्यायिक परिषद (एसजेसी) ने इस्लामाबाद हाईकोर्ट के न्यायमूर्ति शौकत अजीज सिद्दीकी को हटाने की सिफारिश की थी, जो आईएसआई को निशाना बनाने वाले अपने विवादित भाषण को लेकर कथित कदाचार के आरोप का सामना कर रहे थे।
घटना के बाद सुरक्षा बलों ने पूरी अंतरराष्ट्रीय सीमा पर तथा नियंत्रण रेखा पर ‘हाई अलर्ट’ जारी कर दिया। सीमा सुरक्षा बल ने अपने समकक्ष पाकिस्तान रेंजर्स के समक्ष कड़ाई के साथ यह मुद्दा उठाया है।
इससे पहले सोमवार को जम्मू-कश्मीर में नियंत्रण रेखा के नजदीक अलग-अलग विस्फोटों में सेना के दो जवानों की मौत हो गई थी। पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि कुपवाड़ा जिले में नियंत्रण रेखा के नजदीक एक विस्फोट में सिपाही पुष्पेंद्र कुमार गंभीर रूप से जख्मी हो गए।
करगिल सेक्टर में 1999 में भारतीय और पाकिस्तानी सैनिकों के बीच लड़ाई शुरू होने से कुछ सप्ताह पहले जनरल परवेज मुशर्रफ ने एक हेलिकॉप्टर से नियंत्रण रेखा पार की थी और भारतीय भूभाग में करीब 11 किमी अंदर एक स्थान पर रात भी बिताई थी।
पाकिस्तान में जो हो रहा है वो भारत के लिए सिर्फ एक सियासी घटना नहीं है। इमरान पीएम बने तो भारत-पाकिस्तान में तल्खी बढ़ सकती है। इमरान खान भारत को लेकर आक्रामक रवैया अपनाते रहे हैं और खराब रिश्तों के लिए मोदी सरकार को जिम्मेदार ठहराया था।
पाक सेना के प्रवक्ता भारत द्वारा अचानक हमले की स्थिति में तैयारियों के बारे में सवाल का जवाब दे रहे थे...
पाक सेना के साथ आतंकी संगठन लश्कर, जैश और हिजबुल के आतंकियों को स्नाइपर के तौर पर भर्ती किया गया है। इन स्नाइपर्स को पाकिस्तान की मुजाहिद बटालियन के साथ कई जगहों पर तैनात किया गया है।
जम्मू एवं कश्मीर के बारामूला जिले में नियंत्रण रेखा (एलओसी) पर भारत व पाकिस्तान के सैनिकों के बीच सोमवार को भारी गोलीबारी हुई।
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