Thursday, December 18, 2025
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Switzerland Glacier collapse: स्विट्जरलैंड ग्लेशियर ढहने से मची तबाही, कई और गांवों के खत्म होने का मंडराया खतरा

Switzerland Glacier collapse: स्विट्जरलैंड में ग्लोबल वार्मिंग का स्तर बढ़ने से ग्लेशियर पिघलने लगे हैं। इससे एक गांव लगभग पूरी तरह तहस-नहस हो चुका है। आसपास के 2 और बड़े गांव इसकी चपेट में आ गए हैं। लोगों को सुरक्षित स्थान पर शिफ्ट कराया जा रहा है।

Edited By: Dharmendra Kumar Mishra @dharmendramedia
Published : May 29, 2025 10:32 pm IST, Updated : May 29, 2025 10:32 pm IST
स्विट्जरलैंड में ढहा ग्लेशियर। - India TV Hindi
Image Source : PTI स्विट्जरलैंड में ढहा ग्लेशियर।

Switzerland Glacier collapse: स्विट्ज़रलैंड के आल्प्स क्षेत्र में जलवायु परिवर्तन के भयंकर प्रभाव ने एक बार बड़ी तबाही मचाई है। 28 मई 2025 को वालिस (Valais) क्षेत्र के ब्लैटन गांव में बर्च ग्लेशियर (Birch Glacier) के अचानक ढहने से भारी तबाही मच गई है। इस हादसे ने न केवल एक पूरे गांव को तबाह कर दिया, बल्कि अबह दो और गांवों के अस्तित्व पर भी संकट खड़ा कर दिया है। इससे पूरे इलाके में दहशत फैल गई है। ग्लेशियर पिघलते के स्थान पर राहत और बचाव कार्य जारी है। हालांकि अभी तक मौतों का कोई आंकड़ा जारी नहीं हुआ है।

ब्लैटन गांव में तबाही का मंजर

"द वेदर चैनल "की रिपोर्ट के अनुसार ग्लेशियर पिघलने के बाद ब्लैटन गांव में तबाही का मंजर साफ नजर आ रहा है। ग्लेशियर के टूटने से आई बर्फ, चट्टान और कीचड़ की भयावह लहरों ने ब्लैटन गांव का लगभग 90% हिस्सा नष्ट कर दिया। इस आपदा में एक 64 वर्षीय व्यक्ति लापता है, जबकि राहत की बात यह है कि करीब 300 लोगों को पहले ही सुरक्षित निकाला जा चुका था। इस ग्लेशियर के गिरने से लोंजा नदी अवरुद्ध हो गई, जिसके चलते एक विशाल कृत्रिम झील बन गई है। इससे बाढ़ का गंभीर खतरा पैदा हो गया है और हालात बेहद संवेदनशील बने हुए हैं। स्विस सेना और आपातकालीन टीमें लगातार बचाव और निगरानी कार्य में जुटी हुई हैं।

आसपास के गांवों में भी खतरे की घंटी

ग्लेशियर के मलबे ने न सिर्फ ब्लैटन, बल्कि आसपास के कई अन्य गांवों को भी खतरे में डाल दिया है। बाढ़ की आशंका को देखते हुए प्रशासन ने उन गांवों में भी सतर्कता बढ़ा दी है और संभावित निकासी की तैयारी कर ली गई है। निवासियों को किसी भी समय स्थानांतरण के लिए तैयार रहने की चेतावनी दी गई है।

ग्लोबल वॉर्मिंग की चेतावनी

विशेषज्ञों का कहना है कि यह घटना वैश्विक जलवायु परिवर्तन का प्रत्यक्ष परिणाम है। बढ़ते तापमान के कारण ग्लेशियर तेजी से पिघल रहे हैं, जिससे पहाड़ी क्षेत्रों में भू-स्खलन और हिमस्खलन जैसी आपदाओं का खतरा लगातार बढ़ता जा रहा है। पर्माफ्रॉस्ट की परतें भी अब स्थिर नहीं रहीं, जिससे ज़मीन की पकड़ कमजोर हो रही है।

वैज्ञानिक और प्रशासनिक रणनीति

स्थानीय प्रशासन और वैज्ञानिक संस्थाएं मिलकर ऐसी आपदाओं से निपटने की रणनीतियाँ बना रही हैं। सैटेलाइट मॉनिटरिंग, पूर्व चेतावनी प्रणाली और सुरक्षित निकासी मार्गों पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है।

वैश्विक चेतावनी का समय

स्विट्ज़रलैंड की यह घटना एक वैश्विक चेतावनी है कि यदि अब भी जलवायु परिवर्तन के खिलाफ ठोस कदम नहीं उठाए गए, तो ऐसी आपदाएं और अधिक तीव्र और विनाशकारी हो सकती हैं। यह समय है जब पूरी दुनिया को मिलकर पर्यावरण संरक्षण की दिशा में निर्णायक कार्यवाही करनी होगी। "द वेदर चैनल "की रिपोर्ट के अनुसार ब्लैटन के मेयर ने कहा,"अकल्पनीय हुआ है...दक्षिणी स्विटजरलैंड का एक अल्पाइन गांव जो अब एक विशाल ग्लेशियर के ढहने और भूस्खलन से हजारों टन बर्फ, चट्टानों और मलबे से ढका हुआ है। यह वीडियो देखें और जानें कि आपदा से पहले गांव को खाली कराने के बावजूद खोज और बचाव प्रयास क्यों जारी रहे।

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