![Supreme Court directive in the name of Sharad Pawar party said NCP can use Sharadchandra Pawar- India TV Hindi](https://resize.indiatv.in/resize/newbucket/1200_675/2024/02/mixcollage-19-feb-2024-06-27-pm-2299-1708347457.webp)
उच्चतम न्यायालय ने सोमवार को कहा कि शरद पवार के समूह को पार्टी का नाम ‘राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी-शरदचंद्र पवार’ देने का निर्वाचन आयोग का सात फरवरी का फैसला अगले आदेश तक जारी रहेगा। न्यायमूर्ति सूर्यकांत और न्यायमूर्ति के.वी.विश्वनाथन की पीठ ने महाराष्ट्र के उप मुख्यमंत्री अजित पवार के नेतृत्व वाले समूह को असली राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) घोषित करने के आयोग के सात फरवरी के आदेश के खिलाफ शरद पवार की याचिका पर अजित पवार के नेतृत्व वाले गुट से जवाब मांगा। पीठ ने शरद पवार को पार्टी चिन्ह के आवंटन के लिए निर्वाचन आयोग का रुख करने की अनुमति दी और आयोग को आवेदन के एक सप्ताह के अंदर समूह को चुनाव चिन्ह आवंटित करने का निर्देश दिया।
26 फरवरी को शुरू होगा महाराष्ट्र विधानसभा का सत्र
शरद पवार की ओर से पेश वरिष्ठ वकील अभिषेक सिंघवी ने कहा कि आयोग का सात फरवरी का फैसला 27 फरवरी को राज्यसभा चुनाव होने तक एक अंतरिम व्यवस्था है। उन्होंने कहा, "महाराष्ट्र विधानसभा का सत्र 26 फरवरी से शुरू होने वाला है और हमारे समूह के पास न कोई नाम और न चिन्ह होगा।” शरद पवार ने शीर्ष अदालत में अपनी याचिका पर तत्काल सुनवाई का अनुरोध किया था। उन्होंने महाराष्ट्र विधानसभा अध्यक्ष राहुल नार्वेकर के 15 फरवरी के आदेश के मद्देनजर तत्काल सुनवाई की अपील की थी। नार्वेकर ने अजित पवार के नेतृत्व वाले राकांपा के गुट ही असली राकांपा माना था। उन्होंने कहा था कि संविधान में निहित दलबदल रोधी प्रावधानों का इस्तेमाल आंतरिक असंतोष को दबाने के लिए नहीं किया जा सकता। इससे पहले, आयोग ने सात फरवरी को अजित पवार गुट को असली राकांपा मानते हुए उसे पार्टी का चिन्ह 'घड़ी' आवंटित किया था।
अजित पवार का हमला
इससे पहले अजित पवार ने बारामती में पार्टी सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा था कि ऐसा कहा जा रहा है कि हमने पार्टी चुराई है। अरे हमने कब पार्टी चुराई। चुनाव आयोग ने हमें मान्यता दी है। विधानसभा अध्यक्ष ने हमें मान्यता दी है। अनिल पाटिल जो की चीफ व्हिप हैं, वो हमारे साथ हैं। फिर भी हमारी बदनामी की जाती है। अगर मैं वरिष्ठों (शरद पवार) का सगा होता तो मुझे राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाया जाता और पूरी पार्टी मेरे हाथ में होती। लेकिन मैं उनके सगे भाई का बेटा हूं। मैं आपको ये सब इसलिए बता रहा हूं क्योंकि आप भावुक न हों।
(इनपुट-भाषा)