Sunday, April 28, 2024
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'वैगनर आर्मी' के खौफ से मॉस्को में सोमवार को 'छुट्टी'! गाड़ियों के इस्तेमाल से बचने को कहा गया

रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने वैगनर ग्रुप की बगावत को विश्वासघात करार देते हुए कहा है कि विद्रोह की साजिश रचने वाले सभी लोगों को कठोर सजा भुगतनी होगी।

Vineet Kumar Singh Edited By: Vineet Kumar Singh @JournoVineet
Updated on: June 24, 2023 23:50 IST
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Image Source : AP येवेनी प्रीगोजिन की आर्मी ने रूस के एक प्रमुख शहर पर कब्जे का दावा किया है।

मॉस्को: रूस की प्राइवेट आर्मी 'वैगनर ग्रुप' के विद्रोह के बाद अब राजधानी मॉस्को में हालात तेजी से बदलने लगे हैं। रिपोर्ट्स के मुताबिक, मॉस्को के मेयर ने शहर के निवासियों से कारों का इस्तेमाल न करने का आग्रह किया है। लोगों को एक जुलाई तक आउटडोर एक्टिविटी से परहेज को कहा गया है। इसके साथ ही अधिकांश लोगों के लिए सोमवार को गैर-कामकाजी दिन घोषित किया गया है यानी कि एक तरह से छुट्टी कर दी गई है। बता दें कि इससे पहले रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने शनिवार को ‘वैगनर ग्रुप’ के प्रमुख येवेनी प्रीगोजिन द्वारा सशस्त्र विद्रोह की घोषणा को ‘विश्वासघात’ और रूस की ‘पीठ में छुरा घोंपने’ वाला कदम करार दिया।

गाड़ियों के इस्तेमाल से परहेज करें: मेयर

मॉस्को के मेयर सर्गेई सोबयानिन ने आगाह किया है कि ‘वैग्नर ग्रुप’ की बगावत के कारण कड़ी सुरक्षा के तहत रूस की राजधानी के कुछ हिस्सों में ट्रैफिक रोका जा सकता है। मेयर सर्गेई सोबयानिन ने शहर के निवासियों से मॉस्को और आसपास के क्षेत्र में आतंकवाद रोधी अभियान के बीच अपनी गाड़ियों का इस्तेमाल करने और एक जुलाई तक आउटडोर एक्टिविटी से परहेज को कहा गया है। उन्होंने लोकसेवकों और कुछ इंडस्ट्रियों के कर्मचारियों को छोड़कर अधिकांश लोगों के लिए सोमवार को छुट्टी घोषित कर दी है। सोबयानिन ने कहा कि शहर की सभी प्रमुख सेवाओं को पूरी तरह तैयार रहने को कहा गया है और निवासियों को किसी भी इमर्जेंसी की सूचना देने को कहा गया है।

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Image Source : AP
व्लादिमीर पुतिन ने प्रीगोजिन की बगावत को विश्वासघात करार दिया है।

पुतिन के लिए सबसे बड़ा खतरा है वैग्नर आर्मी!
प्रीगोजिन के लड़ाके यूक्रेन की सीमा पार कर रूस के दक्षिण में महत्वपूर्ण शहर में दाखिल हो चुके हैं। उनकी इस बगावत को सत्ता में 2 दशकों से अधिक समय में पुतिन के नेतृत्व के लिए सबसे बड़ा खतरा बताया जा रहा है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, प्रिगोजिन के नेतृत्व वाली प्राइवेट आर्मी मॉस्को से करीब 1000 किलोमीटर से अधिक दूर दक्षिण में रोस्तोव-ओन-दोन शहर पहुंच चुकी है। बता दें कि इसी शहर से रूस यूक्रेन में अपने सैन्य अभियान को ऑपरेट कर रहा है। ‘वैगनर ग्रुप’ के लड़ाके अपने साजो सामान के साथ रूस के लिपेत्सक प्रांत में भी दाखिल हो चुके हैं जो मॉस्को के दक्षिण में सिर्फ 360 की दूरी पर स्थित है।

‘मॉस्को अब पूरी तरह से कमजोर हो चुका है’
रूस में तेजी से बदल रहे घटनाक्रम के बीच यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की ने कहा कि मॉस्को पूरी तरह कमजोर हो चुका है। अपने संबोधन में पुतिन ने प्रीगोजिन का नाम लिए बिना उसके विद्रोह को ‘विश्वासघात’ और ‘देशद्रोह’ करार दिया। उन्होंने यह भी कहा, ‘विद्रोह की साजिश रचने वाले सभी लोगों को कठोर सजा भुगतनी होगी।’ वहीं, प्रीगोजिन ने कहा कि उनके लड़ाके आत्मसमर्पण नहीं करेंगे, क्योंकि ‘हम नहीं चाहते कि देश भ्रष्टाचार, धोखा और नौकरशाही के चंगुल में फंसा रहे। जहां तक मातृभूमि से विश्वासघात की बात है, तो राष्ट्रपति गलत समझ रहे हैं। हम अपनी मातृभूमि के देशभक्त हैं।’

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Image Source : AP
तस्वीर में रोस्तोव-ओन-दोन शहर की गली में फंसा एक टैंक दिख रहा है।

रमजान कादिरोव ने पुतिन के प्रति जताया समर्थन
इस बीच, चेचन्या क्षेत्र के नेता रमजान कादिरोव ने पुतिन के प्रति अपना पूर्ण समर्थन व्यक्त किया है। कादिरोव ने सेना की आलोचना में प्रीगोझिन का पक्ष लिया था। कादिरोव ने कहा, ‘हमारे पास लोगों द्वारा चुना गया प्रमुख कमांडर है, जो स्थिति को किसी भी रणनीतिकार और व्यवसायी से बेहतर जानता है। विद्रोह को कुचलने की जरूरत है।’ प्रीगोजिन की बगावत की वजह से यूक्रेन में रूस का अभियान और प्रभावित होने की आशंका है। ‘वैगनर ग्रुप’ के लड़ाकों ने यूक्रेन युद्ध में अहम भूमिका निभाते हुए बखमूत शहर पर कब्जा करने में कामयाबी हासिल की थी, जो लंबी और भीषण लड़ाई का गवाह रहा था।

मॉस्को की ओर बढ़ रही है वैगनर आर्मी
प्रीगोजिन की सेना अब राजधानी मॉस्को की तरफ बढ़ रही है। 'वैगनर आर्मी' के राजधानी की ओर बढ़ने के बीच मॉस्को के कई हिस्सों में सैन्य ट्रक और बख्तरबंद वाहन देखे गए हैं। इसके दक्षिणी हिस्से में सैनिकों ने चौकियां बनाईं, रेत की बोरियां लगाने के साथ मशीनगन तैनात कर दी हैं। अधिकारियों ने मॉस्को और उसके आसपास के क्षेत्रों में ‘आतंकवाद विरोधी शासन’ लागू करने की घोषणा की है, जिसके तहत वहां नागरिकों को हासिल कई अधिकारों को सीमित कर दिया गया है और सुरक्षा व्यवस्था भी बढ़ा दी गई है। वैगनर आर्मी को आगे बढ़ने से रोकने के लिए हाइवे के कुछ हिस्सों को भी खोद डाला गया है।

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Image Source : AP
प्रीगोजिन कभी व्लादिमीर पुतिन के करीबियों में गिने जाते थे।

आखिर पुतिन से क्यों खफा हो गए ‘शेफ’ प्रिगोजिन
यूक्रेन युद्ध में रूस की तरफ से लड़ने के बावजूद प्रीगोझिन ने देश के वरिष्ठ सैन्य अधिकारियों की आलोचना की है। उन्होंने अधिकारियों पर अक्षम होने और ‘वैग्नर’ बलों को हथियार व गोला-बारूद की सप्लाई नहीं करने का आरोप लगाया है। बता दें कि 62 साल के प्रीगोजिन का पुतिन के साथ पुराना रिश्ता है और उन्हें ‘क्रेमलिन’ में खानपान का कॉन्ट्रैक्ट दिया गया था जिसकी वजह से उन्हें ‘पुतिन का शेफ’ भी कहा जाता है। प्रीगोजिन ने ही भाड़े के लड़ाकों के समूह ‘वैगनर ग्रुप’ का गठन किया। उन्होंने लीबिया, सीरिया, कई अफ्रीकी देशों और यूक्रेन में अपने लड़ाकों को लड़ाई में शामिल होने के लिए भेजा।

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