Tuesday, May 14, 2024
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रेप के आरोपी टीचर की जमानत याचिका खारिज, फैसले के बाद हाई कोर्ट ने सुना दिया ये संस्कृत श्लोक

कोर्ट ने आगे कहा, यह एक ऐसा मामला है, जहां विश्वासघात किया गया है और सामाजिक मूल्यों को नुकसान पहुंचाया गया है। ऐसे में, आरोपी किसी सहानुभूति या किसी भी उदारता के लायक नहीं हैं।

India TV News Desk Edited By: India TV News Desk
Published on: December 13, 2022 23:29 IST
gujarat high court- India TV Hindi
Image Source : FILE PHOTO गुजरात हाईकोर्ट

गुजरात हाई कोर्ट के जज समीर दवे की एकल जज की पीठ ने जमानत से इनकार करते हुए एक संस्कृत श्लोक सुनाया। दरअसल, टीचर पर 12 वर्षीय छात्रा का यौन शोषण करने का आरोप है। इस मामले में टीचर की जमानत पर सुनवाई करते हुए पीठ ने श्लोक सुनाया, गुरू ब्रह्मा गुरू विष्णु, गुरु देवो महेश्वरा गुरु साक्षात परब्रह्म, तस्मै श्री गुरुवे नम: अदालत ने पक्षकारों के बीच अदालत के बाहर समझौते को भी खारिज कर दिया।

जज दवे ने स्कूल टीचर की जमानत को खारिज करते हुए कहा, टीचर से रक्षक के रूप में कार्य करने की अपेक्षा की जाती है। आरोपी द्वारा इस तरह के जघन्य कृत्यों का पीड़िता पर आजीवन मनोवैज्ञानिक और भावनात्मक प्रभाव पड़ेगा। आरोपी ने 12 साल की छोटी सी उम्र में बच्ची के जीवन पर हमेशा के लिए कभी न मिटने वाला निशान छोड़ दिया है। अदालत ने यह आदेश 30 नवंबर को पारित किया था और सोमवार को इसे सार्वजनिक किया गया।

इस मामले में विश्वासघात किया गया है

कोर्ट ने आगे कहा, यह एक ऐसा मामला है, जहां विश्वासघात किया गया है और सामाजिक मूल्यों को नुकसान पहुंचाया गया है। ऐसे में, आरोपी किसी सहानुभूति या किसी भी उदारता के लायक नहीं हैं। जुलाई 2022 में, स्कूल से लौटने के बाद, बच्ची ने अपने माता-पिता से शिकायत की, कि उसके टीचर निहार बराड़ ने उसके प्राइवेट पार्ट्स को गलत तरीके से छुआ है और इसलिए वह अगले दिन से स्कूल नहीं जाएगी। अभिभावकों ने पहले स्कूल प्रबंधन से मामले की शिकायत की और बाद में गिर सोमनाथ जिले के गिर गढ़ाडा पुलिस थाने में शिकायत दर्ज कराई।

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