Saturday, April 27, 2024
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रूस के NSA से मिलेंगे अजित डोभाल, अफगानिस्तान के हालातों पर होगी चर्चा

भारत में रूस के राजदूत निकोलाय कुदाशेव ने कहा कि अफगानिस्तान के संपूर्ण हालात पर रूस तथा भारत के रुख के बीच बहुत अंतर नहीं है और तालिबान के शासन को मान्यता देने में मॉस्को की सोच तालिबान की कार्रवाइयों पर निर्भर करेगी।

IndiaTV Hindi Desk Written by: IndiaTV Hindi Desk
Published on: September 07, 2021 12:27 IST
NSA Ajit Doval to meet Russia's NSA Nikolai Patrushev to discuss Afghanistan Taliban रूस के NSA से म- India TV Hindi
Image Source : ANI रूस के NSA से मिलेंगे अजित डोभाल, अफगानिस्तान के हालातों पर होगी चर्चा

नई दिल्ली. भारत के नेशनल सिक्योरिटी एडवाइजर अजित डोभाल कल बुधवार को रूस के NSA Nikolai Patrushev से राजधानी नई दिल्ली में मुलाकात करेंगे। दोनों की इस मुलाकात में अफगानिस्तान में हुए बदलाव और तालिबान को लेकर चर्चा भी होने की उम्मीद है। इससे पहले कल भारत में रूस के राजदूत निकोलाय कुदाशेव ने सोमवार को कहा कि रूस और भारत की समान चिंता है कि अफगानिस्तान की भूमि का उपयोग दूसरे देशों में आतंकवाद फैलाने के लिए नहीं होना चाहिए तथा रूसी सरजमीं तथा कश्मीर में आतंकवाद फैलने का ‘खतरा’ है। 

'अफगानिस्तान पर रूस और भारत की समान चिंताएं'

भारत में रूस के राजदूत निकोलाय कुदाशेव ने कहा कि अफगानिस्तान के संपूर्ण हालात पर रूस तथा भारत के रुख के बीच बहुत अंतर नहीं है और तालिबान के शासन को मान्यता देने में मॉस्को की सोच तालिबान की कार्रवाइयों पर निर्भर करेगी। कुदाशेव ने एक साक्षात्कार में ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा कि रूस चाहेगा कि अफगानिस्तान में समावेशी सरकार हो जो सुरक्षा, स्थिरता सुनिश्चत कर सके।

रूसी राजदूत ने कहा कि अफगानिस्तान पर भारत और रूस के बीच सहयोग की अपार संभावनाएं हैं और दोनों पक्षों ने वहां के घटनाक्रम पर एक दूसरे से संपर्क साध रखा है। कुदाशेव ने कहा कि भारत और रूस दोनों अफगानिस्तान के हालात को लेकर चिंतित हैं। हम समावेशी सरकार चाहते हैं। हम चाहते हैं कि अफगानिस्तान की भूमि का क्षेत्र के अन्य देशों में आतंकवाद फैलाने के लिए उपयोग नहीं होना चाहिए। उन्होंने कहा, "ये बहुत बुनियादी मूल्य हैं जो रूस तथा भारत को साथ लाते हैं। मैं अफगानिस्तान पर हमारे रुख में ज्यादा अंतर नहीं देखता।"

तालिबान के कब्जे वाले अफगानिस्तान से लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद जैसे अनेक आतंकवादी संगठनों की गतिविधियों में वृद्धि की आशंका को लेकर भारत में चिंताएं बढ़ रही हैं। कतर में भारतीय राजदूत दीपक मित्तल ने वरिष्ठ तालिबान नेता शेर मोहम्मद अब्बास स्तानेकजई से बीते मंगलवार को दोहा में मुलाकात की थी। बैठक में मित्तल ने स्तानेकजई से कहा कि अफगानिस्तान की भूमि का उपयोग भारत विरोधी गतिविधियों और आतंकवाद के लिए नहीं होना चाहिए। कुदाशेव ने कहा कि आतंकवाद के खतरे से निपटना रूस और भारत के बीच विभिन्न रूपरेखाओं के तहत सतत संवाद का विषय रहा है। इसमें आतंकवाद निरोधक कार्यसमूह की द्विपक्षीय प्रणाली शामिल है।

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