दिल्ली में शुक्रवार को कोविड-19 के 366 नये मामले सामने आये, जबकि संक्रमण दर बढ़ कर 3.95 प्रतिशत पर पहुंच गई।
पिछले साल 28 दिसंबर को ओमिक्रॉन वेरिएंट से संक्रमण की तीसरी लहर को देखते हुए शहर के स्कूलों को फिर से बंद करने से पहले कुछ समय के लिए फिर से खोल दिया गया था।
कोविड की तीसरे लहर के बाद स्कूलों को दिसंबर में बंद कर दिया गया था और करीब सवा महीने के बाद स्कूल फिर से खुले हैं। स्कूल फिलहाल 9वीं से 12वीं कक्षा के लिए खुले हैं।
आपको बता दें कि कोरोना वायरस के मामले बढ़ने के बाद दिल्ली में कोविड की पाबंदियां लागू की गई थी।
दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (डीडीएमए) ने कोविड-19 की स्थिति में सुधार के मद्देनजर राष्ट्रीय राजधानी में प्रतिबंधों में ढील देने पर विचार-विमर्श के लिए कल बैठक बुलाई है।
जहां देश में कोरोना के नए वेरिएंट ओमिक्रॉन के मरीज तेजी से बढ़ रहे हैं वहीं दूसरी ओर आज दिल्ली में 5वीं क्लास से ऊपर के सभी स्कूल खुल गए हैं। शनिवार को शिक्षा निदेशालय ने सभी स्कूलों के लिए यह आदेश जारी किया।
शिक्षा निदेशालय ने निर्देश दिया है कि नर्सरी के लिए सीटों की संख्या पिछले तीन शैक्षणिक वर्षों – 2019-20, 2020-21 और 2021-22 के दौरान प्रवेश स्तर की कक्षाओं में सबसे अधिक सीटों से कम नहीं होगी।
गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट में दिल्ली की प्रदूषित हवा के मुद्दे पर सुनवाई हुई है जिसमें सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली सरकार को लताड़ लगाई है। कोर्ट ने 24 घंटे के अंदर दिल्ली सरकार को प्रदूषण की समस्या का हल लाने के लिए कहा है।
पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने बताया कि दिल्ली सरकार ने सीएनजी तथा इलेक्ट्रिक गाड़ियों की एंट्री पर लगाई रोक को हटाने का फैसला किया है और 27 नवंबर शनिवार से सीएनजी तथा इलेक्ट्रिक गाड़ियों पर लगी रोक हट जाएगी
स्कूलों को फिर से खोलने के लिए डीडीएमए द्वारा घोषित दिशानिर्देशों में प्रति कक्षा केवल 50 प्रतिशत छात्रों को अनुमति देना, अनिवार्य थर्मल स्क्रीनिंग, लंच ब्रेक, बैठने की वैकल्पिक व्यवस्था और आगंतुकों को बार-बार स्कूल में आने की मनाही शामिल है।
दिल्ली के सभी प्राइवेट और सरकारी स्कूल अब एक नवंबर से 50 फीसदी उपस्थिति के साथ खुल जाएंगे। डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने आज यह ऐलान किया।
इस सर्वे में यह भी बताया गया है कि 30 प्रतिशत बच्चे स्कूल जाते समय सड़क दुर्घटना के शिकार हुए हैं। सर्वेक्षण किए गए शहरों में अहमदाबाद, बेंगलुरु, भोपाल, चेन्नई, दिल्ली, जयपुर, जमशेदपुर, कानपुर, कोलकाता, लखनऊ, मुंबई, पटना, पुणे और विजयवाड़ा शामिल हैं।
अभिभावकों का कहना है कि पहले ही कोविड-19 महामारी ने कई परिवारों को आर्थिक रूप से बर्बाद कर दिया है।
सूत्रों ने बताया है कि दिल्ली पुलिस और जिला प्रशासन के अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश हैं कि कोविड उपयुक्त व्यवहार का सख्ती से पालन सुनिश्चित करें।
दिल्ली आपदा प्रबंधन अथॉरिटी (डीडीएमए) ने दिल्ली में स्कूल खोलने को लेकर बुधवार को बड़ा फैसला लिया है। डीडीएमए ने बुधवार को कहा कि दिल्ली में नर्सरी से कक्षा 8 तक के लिए स्कूल चरणबद्ध तरीके से 1 नवंबर से फिर से खुलेंगे।
पुलिस ने मामले की जानकारी देते हुए बताया कि आरोपी छात्रा का नाम ललित है और वो 21 साल का है। ललित दो बार फेल हो चुका है और दोबारा से ग्यारवीं क्लास की पढ़ाई कर रहा है।
शिक्षा निदेशालय के आदेश में कहा गया है, 'अकादमिक सत्र दो बार परीक्षाओं वाला होगा, यानी मध्यावधि परीक्षा (पहला टर्म टेस्ट) और वार्षिक परीक्षा (दूसरा टर्म टेस्ट) और दोनों के लिए 50-50 फीसद पाठ्यक्रम होगा।'
दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (डीडीएमए) के दिशा-निर्देशों में कहा गया है कि दिल्ली के स्कूलों में भोजनावकाश चरणबद्ध तरीके से हो ताकि एक समय पर अधिक भीड़ ना हो, भोजनावकाश के लिए छात्रों को खुली जगह में भेजा जाए।
कमेटी की सिफारिशों को दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के पास भेजा जाएगा और उसी के बाद फैसला होगा कि बच्चों के लिए स्कूल खोले जाएं या अभी बंद रहें।
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने नवगठित दिल्ली स्कूल शिक्षा बोर्ड और इंटरनेशनल बैकलॉरिएट बोर्ड के बीच सहमति पत्र (एमओयू) पर हस्ताक्षर करने की बुधवार को घोषणा की जिससे सरकारी विद्यालयों के छात्र-छात्राओं के लिए उच्चतम स्तर की शिक्षा सुविधाओं तक पहुंच का मार्ग प्रशस्त हो गया है।
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