Sunday, April 28, 2024
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इस मुसलमान देश को सामान बेचना भारत के लिए हुआ मुश्किल, जानिए क्यों कम होता जा रहा एक्सपोर्ट?

भारत अपने पारंपरिक दोस्त के साथ कई वर्षों से कारोबार कर रहा है। लेकिन हाल के समय में इसमें कमी आई है। इजराइल हमास की जंग और मिडिल ईस्ट के देशों को रूस और चीन जैसे देशों द्वारा सपोर्ट करना भारत के लिए मुश्किलें खड़ी कर रहा है।

Deepak Vyas Written By: Deepak Vyas @deepakvyas9826
Published on: January 02, 2024 19:07 IST
ईरान को कम हुआ बासमती चावल का निर्यात- India TV Hindi
Image Source : FILE ईरान को कम हुआ बासमती चावल का निर्यात

India Iran Trade: भारत मिडिल ईस्ट के देशों के साथ बड़े पैमाने पर कारोबार करता है। कारोबार के साथ ही कूटनीतिक रिश्तों को भी काफी अहमियत देता है। चाहे वो सुन्नी देश सउदी अरब हो या ईरान। लेकिन हाल के समय में ईरान को होने वाले निर्यात में लगातार कमी देखी जा रही है। पिछले एक साल से निर्यात लगातार गिर रहा है। इसकी कई वजहें हो सकती हैं। विशेषज्ञों के अनुसार आने वाले समय में रुपए के मिडिल ईस्ट में जिओ पॉलिटिकल तनाव को देखते हुए यानी इजराइल हमास की जंग और मिडिल ईस्ट के देशों को रूस और चीन जैसे देशों द्वारा सपोर्ट करना भारत के लिए मुश्किलें खड़ी कर रहा है। रूस और ईरान खुलकर हमास का समर्थन करते हैं। वहीं भारत संतुलित रुख अपना रहा है। 

बासमती चावल के निर्यात में आई कमी

ईरान को भारत से होने वाले निर्यात में पिछले साल नवंबर से गिरावट देखी गई। साल 2023 में, जनवरी-अक्टूबर के दौरान ईरान की तरफ जाने वाला शिपमेंट लगभग 44 प्रतिशत घटकर 88.8 करोड़ डॉलर हो गया। निर्यात में इतनी बड़ी गिरावट का मुख्य कारण बासमती चावल के साथ-साथ हाई क्वालिटी वाली चाय और चीनी, ताजे फल और बिना हड्डी वाले गौमांस जैसे अन्य खाद्य पदार्थों के निर्यात में कमी है। साल 2023 के पहले 10 महीनों के दौरान बासमती चावल के निर्यात में 42 प्रतिशत की गिरावट देखी गई और यह गिरकर 55.3 करोड़ डॉलर हो गया

शिया देश ईरान को क्यों कम हो गया निर्यात?

दरअसल, भारत बड़े पैमाने पर ईरान को बासमती चावल का एक्सपोर्ट करता है। कुल निर्यात का 62 फीसदी हिस्सा ईरान को जाता है। वित्त वर्ष 2023 में भारत ने कुल बासमती चावल का पांचवा भाग ईरान को बेचा था। 

ईरान को सामान बेचने वाले कारोबारियों ने कहा कि मिडिल ईस्ट के देशों पर अमेरिका ने प्रतिबंध लगा रखे हैं। खासकर ईरान अमेरिका का पारंपरिक दुश्मन है। भारत और ईरान की दोस्ती काफी अच्छी है, लेकिन अमेरिका भी भारत का दोस्त है, इसलिए भारत अमेरिका और ईरान की दुश्मनी के बीच में फंसा हुआ है।

इन सबके बीच ईरान को सामान बेचने वाले व्यापारियों ने कहा कि मध्य-पूर्वी देश पर अमेरिकी प्रतिबंधों के कारण भारत ने ईरान से कच्चा तेल खरीदना बंद कर दिया था। इस वजह से ईरान के रुपये के भंडार में कमी आ गई है। ईरान पर लगे अमेरिकी प्रतिबंधों के कारण भारत का उससे खुलकर व्यापार करने में कई दिक्कतें पेश आ रही हैं और इसलिए निर्यात गिरता जा रहा है।

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