श्रीनगरः जम्मू-कश्मीर पुलिस की काउंटर-इंटेलिजेंस कश्मीर की टीम ने आतंकवाद से जुड़े एक मामले में कश्मीर डिवीजन में कई जगहों पर छापेमारी की। जानकारी के मुताबिक, आतंकवाद से जुड़ी गतिविधियों की चल रही जांच के सिलसिले में घाटी के सात जिलों में छापे मारे गए। ये छापेमारी ऐसे लोगों के ठिकानों पर मारे गए जो आतंकवाद का ऑनलाइन महिमामंडन करते थे और युवाओं को कट्टरपंथी बनाकर आतंकवादी संगठनों में भर्ती करने की कोशिशें कर रहे थे।
इन जिलों में मारे गए छापे
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि आज सुबह CIK ने पुलिस और CRPF के साथ मिलकर आतंकवाद से जुड़ी गतिविधियों की चल रही जांच के सिलसिले में घाटी के सात जिलों में छापे मारे। ये छापे पुलवामा, बडगाम, कुलगाम, श्रीनगर, बारामूला, अनंतनाग, कुपवाड़ा में मारे गए।
पुलिस ने बताया कि आतंकवादी अपराधों जैसी गतिविधियों के खिलाफ जांच शुरू की गई है, जिसमें आतंकवाद का ऑनलाइन महिमामंडन और लोगों को कट्टरपंथी बनाने और आतंकवादी संगठनों में भर्ती करने की कोशिशें शामिल हैं। यह मामला IPC की धारा 153-A और 505 और गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (UAPA) की धारा 13 और 18 के तहत दर्ज किया गया है।
मुठभेड़ में एक जवान शहीद
वहीं, उधमपुर जिले के जंगल से सटे एक दूरदराज के गांव में सोमवार शाम हुई मुठभेड़ में एक पुलिसकर्मी शहीद हो गया, जबकि माना जा रहा है कि एक आतंकवादी घायल हुआ है। शहीद पुलिसकर्मी की पहचान अमजद अली खान के तौर पर हुई है। वह पठानतीर के रहने वाला थे और JKP स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप (SOG) के कमांडो थे। अधिकारियों ने बताया कि यह मुठभेड़ पहाड़ी जिले के मजालता इलाके के सोअन गांव में तब शुरू हुई जब सुरक्षाबलों ने यहां तीन आतंकवादियों की मौजूदगी की सूचना पर तलाशी अभियान संचालित किया। माना जाता है कि ये आतंकी पाकिस्तान स्थित जैश-ए-मोहम्मद संगठन से जुड़े हैं।
जम्मू के पुलिस महानिरीक्षक (आईजीपी) भीम सेन टूटी ने बताया कि दूरदराज के गांव में आतंकवादियों के बारे में सटीक सूचना मिलने के बाद सुरक्षा बलों और आतंकवादियों का आमना-सामना हुआ। अधिकारी ने कहा, ‘‘पुलिस के विशेष अभियान समूह (एसओजी) का संयुक्त दल, सेना और केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) साथ मिलकर काम कर रहे हैं।