रिलायंस पावर पिछले कुछ महीनों में सक्रिय रूप से डीबीएस बैंक, आईसीआईसीआई बैंक और एक्सिस बैंक सहित विभिन्न बैंकों के साथ ऋण निपटान समझौतों पर हस्ताक्षर कर रही है।
मालदीव के राष्ट्रपति मो. मुइज्जू ने भारत के खिलाफ मोर्चा खोल रखा और वह चीन की गोद में खेलने लगे हैं। मगर आज भी मालदीव भारत के कर्ज और एहसान तले दबा है। मौजूदा वक्त में भी मालदीव में हनीमाधू अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के पुनर्विकास सहित महत्वपूर्ण बुनियादी ढांचा विकास परियोजनाएं भारत के सहयोग और कर्ज से चल रही हैं।
वोडाफोन आइडिया के शेयर में बीते एक साल में काफी तेजी आई है। यह उछाल 136 प्रतिशत का है। वोडाफोन-आइडिया इस साल अपनी 5G सर्विस लॉन्च कर सकती है।
भारत से पंगा लेना मालदीव को भारी पड़ा है। चीन के कर्ज में डूबे मालदीव के राष्ट्रपति ने कर्ज का रोना जनता के सामने रोया है। साथ ही कहा कि भारी कर्ज के कारण हम विकास के काम करने में असमर्थ हैं।
बैंक ऑफ बड़ौदा के मुख्य अर्थशास्त्री मदन सबनवीस ने कहा, पिछले दो वर्षों में पर्सनल लोन बढ़ रहे हैं। पिछले वर्ष 2022-23 में घरेलू वित्तीय देनदारियां काफी बढ़ गई हैं। इसका कारण होम लोन में उल्लेखनीय वृद्धि है। गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों और हाउसिंग फाइनेंस कंपनियों के लोन में भी उल्लेखनीय वृद्धि हुई।
Karj Mukti Ke Upay: अगर आपके सिर पर कर्ज का बोझ बढ़ गया है तो आज ही वास्तु के इन उपायों को आजमाएं। इन उपायों की मदद से आप कर्ज से जल्द से जल्द छुटकारा पा सकते हैं।
लोन लेने से पहले खुद से यह सवाल जरूर करें कि क्या यह जरूरी है? क्या इसके बिना आपका काम नहीं चल सकता? लोन के बजाय दूसरे विकल्पों से अगर आपकी आर्थिक जरूरत पूरी हो सके, तो उन पर जरूर विचार करें।
अमेरिका भले ही यूक्रेन से लेकर इजरायल जैसे देशों को बड़े-बड़े रक्षा सहायता पैकेज दे रहा हो। वह भले ही पाकिस्तान जैसे आतंक के समर्थक देशों को रक्षा और रखरखाव के नाम पर अरबों डॉलर की मदद देता है, लेकिन उसकी खुद की हालत नाजुक हो चुकी है। अमेरिका पर राष्ट्रीय कर्ज अब रिकॉर्ड 34 हजार अरब डॉलर के पार पहुंच गया है।
राज्यों को जल-आपूर्ति और स्वच्छता, शहरी विकास, सड़कों एवं सिंचाई जैसे ढांचागत क्षेत्रों पर पूंजीगत व्यय 18-20 प्रतिशत होने से कुल राजस्व घाटा बढ़ेगा। इसलिए राज्यों को अधिक कर्ज लेने की जरूरत पड़ेगी।
पाकिस्तान, श्रीलंका, चीन, मालदीव, वर्मा, नेपाल जैसे छोटे-छोटे और निम्न आय वाले देशों को चीन ने षड्यंत्रपूर्वक अपना आर्थिक गुलाम बना लिया है। पहले उन्हें ऋण जाल के दुष्चक्र में फंसाया, फिर उनकी संपत्तियों पर अपना कब्जा जमाने लगा। इस पर संयुक्त राष्ट्र भी खामोश है, मगर भारत ने यूएन में चीन की इस मुद्दे पर हवा निकाल दी।
गंभीर आर्थिक चुनौतियों से जूझ रहे श्रीलंका को अब अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष से मिले ऋण के जरिये उबरने की उम्मीद है। श्रीलंका की सरकार ने आईएमएफ की दूसरी किस्त का इस्तेमाल अपने बहुपक्षीय कर्जदाताओं का कर्ज देने में करने का फैसला किया है। श्रीलंका इससे धीरे-धीरे आर्थिक हालात को पटरी पर लाने का प्रयास करेगा।
आरबीआई ने कहा कि जून 2023 के आखिर में विदेशी ऋण और सकल घरेलू उत्पाद का अनुपात घटकर 18.6 प्रतिशत हो गया, जो मार्च 2023 के आखिर में 18.8 प्रतिशत था।
G20 शिखर सम्मेलन के दौरान चीन की निम्न सोच सामने आ गई है। चीन ने ऋण पुनर्गठन के हिस्से के रूप में जी-20 शिखर सम्मेलन के दौरान जलवायु प्रावधान जोड़ने के खिलाफ हो गया है। जबकि जी-20 के अन्य सदस्य देशों ने इससे पक्ष में अपनी सहमति दी है।
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने पूर्व में मदद करने वाले देशों की तारीफ की है। ताकि बाढ़ से जूझ रहे पाकिस्तान को फिर से दया की भीख मिल सके। पाकिस्तान में हजारों लोग बाढ़ से बेघर हो चुके हैं। दो वक्त की रोटी के भी गरीबों को लाले पड़े हैं।
आर्थिक तंगी से कराहते पाकिस्तान के कटोरे में सऊदी अरब ने आखिरकार 2 अरब डालर की अतिरिक्त भीख डाल दी है। इससे निश्चित रूप से भूख से तड़पते पाकिस्तान को कुछ ना कुछ राहत जरूर मिलेगी। मगर क्या अब इसके बाद अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) भी पाकिस्तान को कर्ज देने के लिए मेहरबान हो सकता है।
Karj Mukti Ke Upay: अगर आपके ऊपर पैसों का काफी बोझ है तो वास्तु के मुताबिक घर में कुछ जरूरी बदलाव कर के इससे छुटकारा पा सकते हैं। आचार्य इंदु प्रकाश से जानिए कर्ज से मुक्ति के उपाय।
जोखिम भरे शेयर बाजार और इसके उथल-पुथल से बचकर भी आप कई जगह निवेश कर इससे अच्छा रिटर्न ले सकते हैं। इनमें पीपीएफ, हाई ग्रेड कॉरपोरेट बॉन्ड, फिक्स्ड डिपॉजिट के अलावा शॉर्ट टर्म डेब्ट फंड्स शामिल हैं। इनमें प्रिंसिपल अमाउंट डूबने का खतरा कम रहता है।
श्रीलंका और पाकिस्तान जैसे देश तो कंगाल हैं ही, लेकिन इसके अलावा भी कई बड़े-बड़े देश कर्ज में डूबे हुए हैं। अगर उनका नाम सुनेंगे तो आप हैरत में पड़ जाएंगे। यह देश कोई और नहीं, बल्कि सुपर पॉवर अमेरिका है।
Debt Market: कहीं भी निवेश करने से पहले लोग बेहतर रिटर्न की उम्मीद करते हैं। इसके अलावा अगर प्रिंसिपल अमाउंट खोने का डर नहीं हो तो लोगों को इस निवेश के ऊपर और अधिक विश्वास होता है। डेट बाजार में निवेश करने का सही समय और कैसे इससे अधिक से अधिक मुनाफा कमा सकते हैं, यहां जाने इसके बारे में सब कुछ।
मौत से पहले प्रिंस ने बयान दिया था कि 'कर्ज देने वाला व्यक्ति उन्हें काफी परेशान कर रहा था, इस वजह से उन्होंने यह कदम उठाया।'
संपादक की पसंद