Sunday, April 28, 2024
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शिक्षा मंत्री 6.96 करोड़ रुपये जुर्माना भरे या फिर जाए जेल, बेंगलुरु कोर्ट ने ऐसा क्यों कहा?

कोर्ट ने मामले को खींचने के लिए शिक्षा मंत्री के रवैये की भी आलोचना की। मंत्री ने मामले को रद्द करने के लिए उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया था, लेकिन उनकी याचिका खारिज कर दी गई थी।

Khushbu Rawal Edited By: Khushbu Rawal @khushburawal2
Published on: December 30, 2023 17:58 IST
प्रतीकात्मक तस्वीर- India TV Hindi
Image Source : FILE PHOTO प्रतीकात्मक तस्वीर

बेंगलुरु जन प्रतिनिधियों के लिए विशेष अदालत ने 2011 के चेक बाउंस मामले में कर्नाटक के शिक्षा मंत्री मधु बंगारप्पा को दोषी ठहराते हुए 6.96 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाने का आदेश जारी किया है। कोर्ट ने कहा है कि जुर्माना न भरने की स्थिति में मंत्री मधु बंगारप्पा को 6 महीने की साधारण कैद भुगतनी होगी। यह आदेश शुक्रवार को दिया गया। इस घटनाक्रम के बाद बीजेपी ने उनके इस्तीफे की मांग की है।

बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष ने क्या कहा?

बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष बी.वाई. विजयेंद्र ने कहा कि चेक बाउंस मामले में कांग्रेस सरकार के मंत्री को अपराधी घोषित किया गया है। उन्होंने कहा, “यह सरकार की गरिमा और शिक्षा की पवित्रता पर एक काला धब्बा है। बंगारप्पा को नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए अपना इस्तीफा दे देना चाहिए। अन्यथा, मुख्यमंत्री सिद्धारमैया को उनका इस्तीफा मांगना चाहिए।” उन्होंने कहा कि अगर कांग्रेस सरकार अहंकारी हुई और इस मामले में हीलाहवाली की तो राज्य के शिक्षा क्षेत्र को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बड़ा झटका लगेगा।

भाजपा विधायक बसनगौड़ा पाटिल यतनाल ने कहा कि जिनसे शिक्षा क्षेत्र में व्यापक बदलाव लाने की उम्मीद की जाती है, वे धोखाधड़ी में लिप्त हैं और उन्हें अपराधी घोषित कर दिया गया है। उन्होंने कहा, “वह शिक्षा विभाग कहां ले जायेंगे? सूत्रों के अनुसार, वह कन्नड़ पढ़ या लिख ​​नहीं सकते। ”

6.96 करोड़ रुपये का चेक हुआ बाउंस

मंत्री मधु बंगारप्पा को राजेश एक्सपोर्ट्स को 6.96 करोड़ रुपये की लंबित राशि का भुगतान करना था और उन्होंने एक चेक जारी किया था, जो बाउंस हो गया था। कोर्ट ने आदेश दिया था कि जुर्माने की रकम में से 6.96 लाख रुपये शिकायतकर्ता को मुआवजे के तौर पर और 10 हजार रुपये सरकार को दिए जाएं।

कोर्ट ने मंत्री के रवैये की भी आलोचना की

आकाश ऑडियो-वीडियो प्राइवेट लिमिटेड के निदेशक के रूप में बंगारप्पा चेक बाउंस मामले में दूसरे आरोपी थे। विशेष अदालत की न्यायाधीश प्रीत जे ने आदेश पारित किया था। कोर्ट ने मामले को खींचने के लिए मंत्री के रवैये की भी आलोचना की थी। बंगारप्पा ने मामले को रद्द करने के लिए उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया था, लेकिन उनकी याचिका खारिज कर दी गई थी। (इनपुट- IANS)

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