गढ़चिरौलीः महाराष्ट्र के गढ़चिरौली जिले में 60 नक्सलियों के सरेंडर से मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस बेहद खुश हैं। सीएम फडणवीस ने गढ़चिरौली पुलिस को एक करोड़ रुपये इनाम देने की घोषणा की है। मुख्यमंत्री ने कहा गढ़चिरौली में माववाद समाप्त हो चुका है और नक्सलवाद की रीढ़ की हड्डी टूट चुकी है।
मुख्यमंत्री ने की पुलिस की तारीफ
मुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के नेतृत्व में मार्च 2026 तक इस देश में माववाद को समाप्त करने का जो संकल्प लिया गया था। उसमें महाराष्ट्र ने बड़ी पहल की है। गढ़चिरौली पुलिस के C-60 ने घने जंगलों में जाकर उनके साथ मुठभेड़ करना, उन्हें आत्मसमर्पण के लिए मजबूर करने के लिए बाध्य किया।
सीएम ने कहा कि सोनू उर्फ भूपति ने आत्मसमर्पण किया है। उनके साथ-60 लोगों ने आत्मसमर्पण किया। यह सारे नक्सलवाद, माववाद में बड़े कैडर थे। एक माह से पुलिस इन्हें आत्मसमर्पण कराने के लिए संपर्क में थी। माववाद की रीढ की हड्डी टूट गई है, माववाद समाप्त हो चुका है। केवल एक कंपनी 10 बची है। उसमें सिर्फ 8 से 10 लोग बच्चे हैं। आने वाले दिनों में वह भी लीडरलेस है। उनके पास लीडर नहीं है।
भूपति का आत्मसमर्पण महाराष्ट्र में ‘नक्सल आंदोलन के अंत की शुरुआत
मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने बुधवार को कहा कि शीर्ष नक्सली भूपति और 60 अन्य नक्सलियों का आत्मसमर्पण महाराष्ट्र में नक्सली आंदोलन के अंत की शुरुआत है। फडणवीस ने कहा कि आने वाले दिनों में छत्तीसगढ़ और तेलंगाना का पूरा ‘‘लाल गलियारा’’ नक्सलवाद से मुक्त हो जाएगा। उन्होंने कहा कि उन्हें गर्व है कि महाराष्ट्र का गढ़चिरौली प्रतिबंधित भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (माओवादी) के खिलाफ लड़ाई का नेतृत्व कर रहा है। मुख्यमंत्री ने गढ़चिरौली जिले में शीर्ष नक्सली मल्लोजुला वेणुगोपाल राव उर्फ भूपति और 60 अन्य नक्सलियों के उनके समक्ष आत्मसमर्पण करने के बाद एक जनसभा को संबोधित किया।
एक अधिकारी ने बताया कि भूपति पर छह करोड़ रुपये का इनाम था। अधिकारी ने बताया कि नक्सलियों ने आत्मसमर्पण के समय अपने 54 हथियार भी सौंपे, जिनमें सात एके-47 और नौ इंसास राइफल शामिल हैं। भूपति उर्फ सोनू को माओवादी संगठन के सबसे प्रभावशाली रणनीतिकारों में से एक माना जाता है और उसने लंबे समय तक महाराष्ट्र-छत्तीसगढ़ सीमा पर प्लाटून अभियानों की निगरानी की थी।